Chhapra: छपरा नगर निगम में सोमवार को निगम की महापौर राखी गुप्ता एवं नगर आयुक्त सुमित कुमार के द्वारा फिता काटकर नये जे सी बी वाहन का लोकार्पण किया गया।

निगम के अधिकारियों ने बताया कि इन नए वाहनों के आने से सफाई कार्यों में और तेजी लाई जाएगी। कम समय में ज्यादा काम हो पाएगा। नई तकनीक से सफाई कार्यों में बढ़ोतरी होगी।

लोकार्पण समारोह में सशक्त स्थाई समिति के सदस्य उपस्थित थे। साथ ही उप नगर आयुक्त आतिश रंजन, नगर प्रबंधक नीरज झा, नगर मिशन प्रबंधक सुधीर कुमार हिमांशु आदि उपस्थित थे।

Chhapra: शहर के सभी वार्डों में नाली की सफाई का कार्य नगर निगम के द्वारा कराया जा रहा है। सफाई कार्य का नगर आयुक्त सुमित कुमार ने स्वयं स्थल निरीक्षण किया। उन्होंने गुदरी बाजार, भगवान बाजार समेत वार्ड नम्बर-15 में चल रहे कार्य का निरीक्षण किया।

निरीक्षण के क्रम में नगर आयुक्त के द्वारा सभी सफाई कर्मी को 2 बजे तक कार्य करने के लिए आदेशित किया गया। नगर आयुक्त के द्वारा स्पष्ट निदेश देते हुए कहा गया कि कार्य में लापरवाही पाए जाने पर संबंधित सफाई कर्मी, सफाई जमादार एवं सफाई निरीक्षक पर अनुशासनिक कार्रवाई की जाएगी।

बताया गया कि नगर आयुक्त के द्वारा पूर्व में ही मानसून आने से पहले सभी नाली की सफाई का आदेश जारी किया गया था। इसी आदेश के अनुपालन में नगर निगम छपरा द्वारा मिशन 40 दिन के अंदर सभी नालों की सफाई कराने हेतु मास्टर प्लान तैयार किया गया है।

इस अभियान के तहत सफाई कार्य के लिए 9 टीमों का गठन किया गया है। सभी नालों की सफाई का कार्य अभियान के तौर पर किया जा रहा है। जिसका अनुश्रवण स्वयं नगर आयुक्त के द्वारा किया जा रहा है।

Chhapra: छपरा नगर निगम की मेयर प्रिया सिंह के खिलाफ विपक्षी पार्षदों के द्वारा लाया गया अविश्वास प्रस्ताव पास हो गया है. जिससे मेयर प्रिया सिंह अपनी कुर्सी बचाने में नाकामयाब रही.

अविश्वास प्रस्ताव के पक्ष में 23 और विपक्ष में 2 मत पड़े. वही 4 मत अमान्य करार दिए गए. 

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छपरा नगर निगम की पहली मेयर अपनी कुर्सी बचाने में नाकामयाब रही, मेयर के अविश्वास प्रस्ताव को लेकर नगर निगम में 2 महीने से गहमा गहमी चल रही थी. इसके बाद आखिरकार मंगलवार को वोटिंग की गई और नगर निगम की मेयर  बहुमत साबित करने में नाकामयाब रहीं.

साल 2017 में पहली बार नगर निगम बनने के बाद प्रिया सिंह छपरा की पहली मेयर बने. इसके बाद 2019 में पार्षदों द्वारा उनके खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव लाया गया. लेकिन उन्होंने बहुमत साबित कर दिया. हालांकि इस बार मेयर अपनी कुर्सी हार गयी.

नगर निगम परिसर में गहमागहमी
मंगलवार को सुबह से नगर निगम परिसर में गहमागहमी देखी गई. सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए थे. दोपहर 11:30 बजे के आसपास मेयर नगर निगम पहुंची इसके बाद पक्ष और विपक्ष के पार्षद भी नगर निगम पहुंचने लगे. इसके बाद वरीय पदाधिकारियों की उपस्थिति में अविश्वास प्रस्ताव को लेकर चर्चा शुरू हुई. इस दौरान काफी गहमागहमी भी चली. लगभग 3 घंटे बैठक होने के बाद मतदान प्रक्रिया शुरू हुई. इस दौरान मेयर के पक्ष में सिर्फ 2 वोट पड़े और विपक्ष में 23 वोट पड़े. वही 4 मत अमान्य रहे. अविश्वास प्रस्ताव लाने वाले पार्षद काफी खुश नजर आये. पार्षदों ने कहा कि छपरा नगर निगम में काफी अनियमितता थी. जिससे तंग आकर पार्षदों ने मेयर प्रिया सिंह के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव लाया था जो आज पास हो गया.

Chhapra: छपरा नगर निगम की मेयर प्रिया सिंह पर लाए गए अविश्वास प्रस्ताव को लेकर आज मतदान होना है. नगर निगम परिसर में 11:00 बजे से बोर्ड की बैठक होगी और फिर फिर पार्षदों द्वारा मतदान किया जाएगा.

आपको बता दें कि छपरा नगर निगम की मेयर प्रिया सिंह के ऊपर नगर निगम के वार्ड पार्षदों द्वारा अविश्वास प्रस्ताव लाया गया है. इसके बाद अब आज मेयर की कुर्सी का फैसला हो जाएगा. अविश्वास प्रस्ताव को लेकर बोर्ड की बैठक से पहले छपरा नगर निगम ने राजनीति काफी गरमा गई है. अभी भी कई वार्ड पार्षद अंडर ग्राउंड ही हैं. कई वार्ड पार्षद 2 महीने पहले से ही क्षेत्र से गायब हो गए थे. वहीं दूसरी तरफ मेयर प्रिया सिंह अपने पक्ष के वार्ड पार्षदों को इकट्ठा करने में जुट गई है. कुर्सी बचाने के लिए मेयर को 23 मतों की जरूरत है. इससे पहले भी पिछले साल वार्ड पार्षदों द्वारा नगर निगम की मेयर के ऊपर अविश्वास प्रस्ताव लाया गया था. लेकिन बहुमत मिलने से मेयर की कुर्सी बच गयी थी.

29 पार्षद हुए एकजुट
बता दें कि निगम के कई पार्षद एकजुट होकर बिहार नगर पालिका अधिनियम 2007 की धारा 25 की कंडिका 4 के अंतर्गत महापौर पर अविश्वास प्रस्ताव लाने की मांग कर रहे है. इसके तहत पार्षदों ने मेयर पर वित्तीय अनियमितता, योजनाओं के चयन में पक्षपात करना, जनहित के मामलों की अनदेखी करना, सफाई व्यवस्था को चौपट करना, प्रकाश एवं पेयजल व्यवस्था को चौपट करना, एनजीओ द्वारा संचालित सफाई का कार्य सभी वार्डों  में पारदर्शिता के साथ नहीं करना. निगम पार्षदों की उपेक्षा करना जैसे आरोप शामिल हैं. पार्षदों ने कहा कि निगम में कोई काम नहीं हो रहा है. ऐसे में छपरा को नए मेयर की जरूरत है. विरोधियों में निगम पार्षद मुन्ना अंसारी, विकास कुमार सैनी, पूर्व डिप्टी मेयर अमिताजली सोनी, शोभा देवी, विष्णु गुप्ता समेत 29 वार्ड पार्षद शामिल हैं.

Chhapra: कोरोना वायरस को लेकर पूरे देश में लॉक डाउन है. इस दौरान केंद्र और राज्य सरकार साफ सफाई पर ज्यादा जोर दे रही है. शहर से लेकर गांव तक सैनिटाइजर का छिड़काव किया जा रहा है. जिससे की इस बीमारी के प्रसार को रोका जा सके.

छपरा नगर निगम ने भी शहरी क्षेत्र के 45 वार्डों में सैनिटाइजर का छिड़काव दूसरे चरण के लॉक डाउन से प्रारंभ किया है. नगर निगम आयुक्त के अनुसार रोस्टर के अनुरूप शहर में सैनिटाइजर का छिड़काव कराया जा रहा है. हालांकि यह कार्य वही किया जाएगा जहां उनका वाहन जा सकता है.

एक घंटे में 326 लोगों ने फेसबुक पर रखी अपनी बात

शहर में सैनिटाइजर छिड़काव को लेकर छपरा टुडे द्वारा अपने फेसबुक पेज के माध्यम से शहर के मोहल्ले में किए जा रहे सैनिटाइजर छिड़काव की जानकारी ली गई. इस पोस्ट के 1 घंटे के अंतराल में कुल 326 फेसबुक यूजर ने अपने कमेंट दिए. यूजर ने कॉमेट में अपने मोहल्ले, वार्ड के नाम के साथ अपना उत्तर दिया. जो चौकाने वाला है. खबर लगाये जाने तक 914 लोगों के कमेंट हमें मिले है.   

इन वार्ड के लोगों ने किये कमेंट

शहर में कुल 45 वार्डोमें से करीब 30 वार्ड में रहने वाले लोगों के साथ अन्य लोगों ने अपनी राय दी. जिसमे वार्ड 1, 2, 3, 4, 5, 7, 9, 10, 11, 12, 13, 14, 15, 16, 17, 18, 20, 22, 23, 25, 26, 27, 32, 34, 37, 38, 40, 41, 43, 45 में रहने वाले लोग शामिल है. लगभग 95% लोगों ने यह कहा कि उनके मोहल्ले में सेनेटाइजर के छिड़काव का कार्य नहीं हुआ है.वहीं कुछ लोगों ने यह भी कहा कि छिड़काव हुआ है. हालांकि इससे यह प्रमाणित नहीं होता कि नगर निगम ने छिड़काव नहीं किया है. आम लोगों का यह भी कहना है कि शहर के कई वार्डों में सफाई कार्य भी नहीं चल रहा है. 

2 लाख से अधिक की आबादी, करीब डेढ़ लाख लोगों का घर संकीर्ण गलियों में

वर्ष 2011 की जनगणना के अनुसार छपरा नगर निगम के 45 वार्डों में 2 लाख से अधिक लोग रहते हैं. 9 वर्ष बीत जाने के बाद नगर निगम क्षेत्र में एक अनुमान के मुताबिक जनसँख्या में 20 प्रतिशत की वृद्धि हुई है. छपरा पुराना शहर है, जिसके वार्ड एक ब्रह्मपुर से लेकर वार्ड 45 रौजा तक अगर मुख्य मार्ग को छोड़ दें तो लगभग सभी सड़कें संकीर्ण और तंग गलियां ही हैं. नगर निगम का यह कहना कि सैनिटाइजिंग का काम वही होगा जहां गाड़ी जा सकती है. ऐसे में करीब डेढ़ लाख की आबादी जो खासकर शहरी क्षेत्र के उन गलियों में बसती है वहाँ रहने वाली बड़ी आबादी, वह गालियां इस कार्य से वंचित रहेगी. 

एक गाड़ी और दो कर्मी के सहारे छिड़काव

एक गाड़ी और दो कर्मी शहर पूरे शहर को सैनेटाइज करने में जुटे हैं. वाहन के अंदर से ही बाहर की सड़कों पर फुहारे लगाते हुए सरपट गाड़ी दौड़ रही है. लगता है मानों शहरवासियों की सुरक्षा के नाम पर सिर्फ कोरम पूरा किया जा रहा हो. हालांकि इस पर भी निगम कर्मियों की अपनी प्रतिक्रिया है. नगर निगम के कर्मी यह कह रहे है कि सिर्फ सड़कों पर छिड़काव किया जा रहा है. इसे भी पढ़ें: अंततः नगर निगम की खुली नींद, शुरू हुआ सेनेटाइजिंग का काम

उधर कुछ एक वार्ड पार्षद का कहना है कि मुख्य मार्ग पर छिड़काव के बाद नगर निगम के कर्मियों द्वारा गलियों में भी छिड़काव की योजना बन रही है. इसे भी पढ़ें: शहरवासियों ने पूछा आख़िर कब होगा शहर सैनेटाइज, नगर निगम सिर्फ फॉगिग से भगा रहा कोरोना

बहरहाल कोरोना वायरस को लेकर 3 मई तक लॉक डाउन है. पहले चरण में 21 दिन के लॉक डाउन में नगर निगम ने सिर्फ ब्लीचिंग पाउडर एवं एंटी लार्वा का छिड़काव कर शहरवासियों की कोरोना वायरस से सुरक्षा की. वही दूसरे चरण के 19 दिन के लॉक डाउन में सिर्फ वाहन जाने वाली सड़कों पर सरपट वाहनों को दौड़ाकर कर एक बार फिर से लोगों की सुरक्षा कर रही है.

Chhapra: कोरोना वायरस को लेकर सभी पिछले 12 दिनों से लॉक डाऊन का पालन करते हुए अपने घरों में है. प्रशासन द्वारा जारी निर्देशो के अनुरूप अपने अपने घरों की साफ सफाई में ध्यान दे रहे है. लेकिन घर के बाहर की स्थिति को लेकर उन्हें अब अपने स्वास्थ्य की चिंता सता रही है.

खासकर अब जब जिले में कोरोना वायरस से संक्रमित मरीज का जानकारी लोगों को मिली है, तब यह चिंता और बढ़ गयी है. कोरोना वायरस संक्रमण का पहला मरीज जिले में मिलने के बाद जिले के छोटे छोटे प्रखंडों को सैनेटाइज करने का काम स्थानीय सरकारी कार्यालयों द्वारा प्रारंभ कर दिया गया है लेकिन छपरा नगर निगम सिर्फ फॉगिग से ही कोरोना वायरस भगाने के प्रयास में है.

रिविलगंज नगर पंचायत, मढ़ौरा नगर पंचायत और इसुआपुर, बनियापुर के पंचायतों में भी सैनेटाइज करने का काम शुरू हो चुका है. लेकिन छपरा नगर निगम इस बात पर चिर निद्रा में सोई है.

शहर के लोगों का कहना है कि नगर निगम बनने के बाद सफाई के नाम पर एक वर्ष में करोड़ों रुपये खर्च किये जाते है. लेकिन वर्तमान परिस्थिति में इस वैश्विक महामारी के रोकथाम को लेकर कोई योजना फिलहाल नही दिखती है.

नगर निगम द्वारा जिलाधिकारी के निर्देश पर फॉगिग कराई लेकिन वह सिर्फ दिखाने के लिए कुछ मिनटों में पूरे वार्ड में फॉगिग का कार्य समाप्त हो जा रहा है. घरों में फोगिंग नहीं हो रही है. गाड़ी आती है और तेजी से निकल जाती है.  लोगों का कहना है कि उसमें भी केमिकल की बजाय किरोसिन तेल की स्मैल ज्यादा आती है. एक बार के बाद फॉगिग का कार्य भी नही हुआ. खासकर गलियों की स्थिति और बद्दतर है जहां ना सफाई होती है ना ही फॉगिग.

शहर को सैनेटाइज करने के सवाल पर नगर निगम के कर्मियों का कहना है कि नगर निगम द्वारा शहर की सफाई कराई जा रही है. सभी वार्डो में मच्छरों से बचाव को लेकर एन्टी लार्वा का छिड़काव कराया गया है. साथ ही ब्लीचिंग पाउडर का भी छिड़काव कराया गया है. हालांकि ये कार्य कहा हो रहे है यह नगर निगम के पदाधिकारी ही बता पाएंगे क्योंकि आम लोग तो अभी भी अपने शहर के सैनेटाइज करनी की मांग करते नजर आ रहे है.  

बहरहाल कोरोना महामारी ने सारण में दस्तक दी है. अभी स्थिति सामान्य है. जिला प्रशासन की मुस्तैदी निश्चित तौर ओर इस महामारी पर विराम चिन्ह लगाएगी. लेकिन नगर निगम की स्थिलता आम जनता को अपनी सुरक्षा के प्रति चिंता करने पर विवश कर रही है.

  • अवैध निर्माण पर चले बुल्डोजर

Chhapra: हथुआ मार्केट से अतिक्रमणकारियों को हटाने के निर्देश के 9 महीने बाद छपरा नगर निगम ने हथुआ मार्केट के दुकानदारों पर कार्रवाई की है. सोमवार को छपरा नगर निगम द्वारा पुलिस बल की मौजूदगी के साथ पूरे हथुआ मार्केट से अतिक्रमण हटवाया गया.

सुबह से ही निगम द्वारा बुलडोजर व मजदूर लगाकर कई अवैध कब्जों को हटाया गया. इस दौरान दुकानदारों में खलबली मच गई. सबसे पहले ठेले खोमचे व बाहर स्टाल लगाने वालों को हटाया गया, इसके बाद दुकान से बाहर समान रखने वालों व फुटपाथ पर अतिक्रमण करने वालो को हटाया गया.

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2 अप्रैल 2019 को ही मिला था अल्टीमेटम

आपको बता दें कि 2 अप्रैल 2019 को निगम ने दुकानदारों से 24 घण्टे के अंदर अतिक्रमण हटा लेना का निर्देश दिया था. इसके बाद विभिन्न स्टैंडिंग कमिटी के बैठक व बोर्ड के बैठक के दौरान भी हथुआ मार्केट से अतिक्रमण हटवाने के फैसले होते रहे, लेकिन लगभग 9 महीने बाद निगम कर्मियों ने इस फैसले पर अमल किया और अंततः अतिक्रमण हटवाने के लिए कार्यवाई शुरू की. अब तक सिर्फ हथुआ मार्केट के बाहर से ही अतिक्रमण हटाने का काम किया जाता था लेकिन मार्केट के भीतर अतिक्रमण हटाने का काम पहली बार किया गया है.

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दर्जनों दुकानदारों को लगा जुर्माना

वहीं दूसरी तरफ लोगों ने आरोप लगाया कि निगम ने किसी भी प्रकार का नोटिस नहीं दिया और अचानक आकर कई जगहों पर बुलडोजर चला दिया गया. इस दौरान हो हंगामे के बीच निगम के कर्मी अतिक्रमण हटाने चल रहे थे. इस दौरान कई अस्थाई निर्माणों को बुलडोजर से ढाह दिया गया. इस दौरान कई दुकान ने अपने दुकान से आगे बढ़कर अपने काउंटर को बाहर फुटपाथ पर लगा रखा था. वैसे लोगों को निगम ने जुर्माना भी लगाया. वहीं इस दौरान निगम को लोगों के विरोध को भी समाना करना पड़ा. इस दौरान दर्जनों दुकानदारों को बाहर कपड़ा का काउंटर लगाने व बाहर समान रखने के लिए जुर्माना किया गया. इस दौरान 15 हज़ार रुपये से अधिक जुर्माना वसूला गया.

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अब दोगुना होगा जुर्माना

अतिक्रमण हटवा रहे सिटी मैनेजर आसिफ सेराज ने बताया कि काफी दिनों से इन दुकानदारों को चेताया जा रहा था, लेकिन ये नहीं मान रहे थे. अब निगम ने कार्यवाई करनी शुरू कर दी है. इस दौरान सिटी मैनेजर व निगम की टीम ने पूरे मार्केट परिसर का मुआयना किया और जिस दुकानदार ने अतिक्रमण किया था सभी को जुर्माना किया. उन्होंने कहा कि अगर ये लोग फिर से अतिक्रमण करेंगे तो अब दोगुना या तीन गुना जुर्माना होगा.

दुकान से कई फीट बाहर लगती हैं दुकानें

हथुआ मार्केट परिसर में पूरा स्पेस होने के बावजूद यहां जाम लगा रहता है. इसके जिम्मेदार यहां अतिक्रमण फैलाने वाले दुकानदार ही हैं. दुकाने रास्ते में लगने से लोगों के चलने का रास्ता अवरुद्ध हो जाता है. साथ ही साथ यहां पार्किंग की भी बहुत बड़ी समस्या उत्पन्न हो जाती है. इस वजह से गाड़ियां इधर उधर खड़ी नजर आती है. इस वजह से यहां वाहनों से आने जाने वालों को काफी समस्या होती है.

Chhapra: छपरा नगर निगम की मेयर प्रिया सिंह ने शहर के विभिन्न वाडो का निरीक्षण किया. इस दौरान उन्होंने जल जलजमाव के साथ साथ सफाई को लेकर विभिन्न निर्देश भी दिए. उन्होंने वार्ड 42, वार्ड 38 के साथ अन्य इलाकों का निरीक्षण किया. साथ ही साथ उन्होंने लोगों की समस्याएं भी सुनी. वार्ड 38 और वार्ड 42 में जलजमाव के कारण लोगों को परेशानी हो रही है. 

मेयर ने वार्ड 38 में लोकमान्य स्कूल के पीछे के इलाकों में भ्रमण किया. जहां पूरा जलजमाव है. इस इलाके में पिछले 7 महीने से लोग जल जमाव की समस्या से जुड़े रहे हैं. वहीं कई लोगों को डेंगू और मलेरिया के शिकार हो गए हैं. 

सफाई और जलनिकासी के लिए दिए विशेष निर्देश

मेयर ने कहा कि दीपावली के पहले शहर के जिन इलाकों में पानी जमा हुआ है.नगर निगम के कर्मी पानी निकालने के लिए प्रयास कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि सिटी मैनेजर के साथ साथ सफाई जमादारों को भी पानी निकालने का निर्देश दिया गया है. उन्होंने बताया कि दीपावली से पहले पूरे शहर में साफ सफाई के लिए विशेष निर्देश दिया गया है. जलजमाव ना हो इसके लिए नालों की सफाई के साथ-साथ पानी की निकासी के लिए सिटी मैनेजर और वार्ड जमादार ओं को युद्ध स्तर पर कार्य कराने को कहा गया है. 

इससे पहले मेयर ने नगर निगम में एक मीटिंग भी की और सभी सफाई जमादारों और वार्ड इंस्पेक्टरों को सख्त निर्देश भी दिए. उन्होंने कहा कि सभी अपने अपने वार्ड में सफाई व्यवस्था को पूरी तरह से सुदृढ़ करेंगे और जल निकासी को लेकर सभी कार्य करेंगे. जितनी जल्दी जहां जहां नाला जाम है वहां स्लैब हटाकर नाले की सफाई हो ताकि जल्दी से जल्दी पानी निकाला जा सके.

उन्होंने बताया कि पर्व के दौरान शहर साफ सुथरा दिखे इसके लिए छपरा नगर निगम अपनी तरफ से पूरी तरह प्रयासरत है. साथी साथ उन्होंने लोगों से अपील की कि लोग गंदगी ना फैलाएं सफाई में छपरा नगर निगम का सहयोग करें. उन्होंने कहा कि सड़क पर कचरा ना फैलाएं. नगर निगम की गाड़ी जाए तो कूड़ा उसी में डाल दें.

Chhapra: शहर के काशी बाज़ार में जलजमाव और नाली की सफाई नहीं होने की शिकायत बिहार प्रदेश जदयू नेता डॉ विशाल सिंह राठौर द्वारा लोक शिकायत निवारण में मामला दर्ज कराया गया था. जिसके आलोक में अपर समाहर्ता लोक शिकायत निवारण ने सुनवाई करते हुए नगर निगम के पदाधिकारी और कर्मचारियों को आदेश दिया है कि 4 अक्तूबर को सफाई कराकर समस्या का निराकरण करें.

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इसे लेकर डॉ विशाल सिंह राठौर ने बताया कि स्थानीय काशी बाजार में विगत 10 वर्षो से नाला की सफाई नही करायी गयी है. जिसको लेकर मामला दायर किया गया था. जिसमे अतिशीघ्र नालो की सफाई नही होने पर बारिश के मौसम में हज़ारों घरों में पानी घुस जाने की बात कही गयी थी. जिससे दशहरा पूजा में आम जनमानस को परेशानी होगी. बावजूद इसके नगर आयुक्त द्वारा इस पर कोई ठोस निर्णय नहीं लिया गया.

ज़िलाधिकारी सारण के निर्देश पर अपर समाहर्ता लोक शिकायत निवारण ने नगर निगम के पदाधिकारी और कर्मचारियों को 4 अक्तूबर को वस्तु स्थिति को समझने और निराकरण करने का आदेश दिया है. इस मामले की अगली सुनवाई 16 अक्तूबर को होगी.

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Chhapra: शहर के सलेमपुर स्थित पोखरा (शिल्पी पोखरा) का जिलाधिकारी सुब्रत कुमार सेन ने गुरुवार की शाम निरीक्षण किया.

निरीक्षण के उपरांत उन्होंने कहा कि भू जल संचयन का कार्य सूबे में तेजी से चल रहा है. उसके तहत आज शहर के बीचों बीच इस पोखरे का निरीक्षण किया गया है. जल्द ही इसका जीर्णोद्धार और सौंदर्यीकरण का कार्य किया जाएगा.

वाकिंग ट्रैक, बैठने की व्यवस्था

जिलाधिकारी ने नगर निगम के नगर आयुक्त को डिटेल स्टीमेट तैयार करके डीपीआर विभाग को भेजने के निर्देश दिए. उन्होंने कहा कि अगले महीने तक कार्य प्रारंभ कराने की कोशिश रहेगी. जिससे आसपास के लोगों को अच्छा वातावरण और माहौल मिल सके. जिलाधिकारी ने तालाब से मिट्टी हटाकर चारों ओर वाकिंग ट्रैक, बैठने की व्यवस्था और किड्स जोन बनाने के निर्देश भी नगर आयुक्त को दिए.

अतिक्रमण से बदहाल है पोखरा 

अगले दो से 3 महीनों में स्थिति बदली हुई नजर आएगी. पिछले कई वर्षों से कचरा फेंका जा रहा है. साथ ही अतिक्रमण भी है. पिछले कई वर्षों से नगर निगम द्वारा उस पर ध्यान नहीं दिया गया लेकिन अब जल्द से जल्द इसके सौंदर्यीकरण का कार्य प्रारंभ होगा.

निरीक्षण के दौरान एसडीओ, सदर सीओ, छपरा नगर निगम के नगर आयुक्त आदि पदाधिकारी उपस्थित थे.

Chhapra: शनिवार की दोपहर झमाझम हुई बारिश ने गर्मी और लू से राहत तो दी है लेकिन छपरा नगर निगम की पोल खोल दी है. मानसून की पहली बारिश का इंतज़ार लोगों को शिद्दत से था. जब बारिश हुई तो राहत के साथ साथ मुश्किलें भी लेकर आई. इस पहली बारिश ने नगर निगम की नाले सफाई की पोल खोल दी.

शहर के मुख्य सड़क से लेकर गलियों तक जलजमाव ने लोगों की मुसीबतें बढ़ा दी. एक तरफ गर्मी से लॉगिन ने राहत की सांस ली है तो वहां दूसरी तरह जलजमाव से परेशानी झेल रहे है. शहर के भगवान बाजार, गुदरी बाजार, स्टेशन रोड, डाकबंगला रोड, सलेमपुर, साहेबगंज आदि बाजारों व सड़कें बारिश के बाद तालाब में तब्दील हो गयी.

कोई बारिश की पानी मे गिरता दिखा तो किसी को उठाता

बारिश के बाद जलजमाव से शहर की अधिकतर सड़कें पानी से डूब गई. सड़क में हुए बढ्ढे का सही अनिमं ना होने से कई लोग गिरते दिखे. एक से दो फीट पानी होने से गिरते लोगों को बहुत कम ही लोग बचाने या उसकी मदद करने को बढ़ते थे.

शहर में चल रहे सड़क निर्माण के कार्य से स्थानीय लोगों को परेशानी तो हो ही रही थी, बारिश के बाद परेशानी में दोहरा इजाफा हुआ है. खराब सड़क और धूल से परेशान थे अब खराब सड़क के बीच जलजमाव से काफी परेशान है.

नाले पर टूटे ढक्कन दे रहे हादसे को दावत

नाले की स्थिति ज्यादा बेहतर नही है, जिन इलाकों में नाले का निर्माण हुआ है, वहां नाले के ऊपर रखे ढक्कन टूटे के बाद फिर उसपर ढक्कन नसीब नही हुआ. बारिश के बाद पानी भर जाने से बड़े हादसे को दावत दे रहा है.

Chhapra: जिलाधिकारी सुब्रत कुमार सेन छपरा नगर निगम क्षेत्र में डोर दू डोर कचरा का उठाव कार्य हर हाल में 01 जुलाई से प्रारम्भ करने का निर्देश दिया गया है. इसिपर नगर आयुक्त ने बताया कि ठोस अपशिष्ट प्रबंधन के लिए छपरा शहरी क्षेत्र के पश्चिमी भाग में लगभग 80 प्रतिशत निर्माण कार्य पूर्ण हो गया है. जिलाधिकारी के द्वारा निर्देश दिया गया कि 30 जून तक यह कार्य पूर्ण कराकर 1 जुलाई से इसमें प्रोसेसिंग का कार्य प्रारम्भ करायी जाय.

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आपको बता दें कि ठोस अपशिष्ट प्रबंधन को लेकर जिलाधिकारी सुब्रत कुमार सेन के द्वारा अपने कार्यालय कक्ष में छपरा नगर निगम एवं सभी नगर पंचायतों के पदाधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक की.

निगम आयुक्त ने बताया कि शहर के पूर्वी भाग में दूसरा कचरा प्रोसेसिंग प्लांट का निर्माण कार्य एक सप्ताह में प्रारम्भ हो जाएगा. जिलाधिकारी ने इस कार्य को अबिलम्ब पूर्ण कराकर प्रोसेसिंग प्रारम्भ कराने का निदेश दिया है.

सूखा कचरा भराव स्थल के बारे में नगर आयुक्त के द्वारा बताया गया कि 4 स्थल का प्रस्ताव प्राप्त हुआ है. किन्तु इसमे तीन स्थल विवादित निकल गया.जिसके कारण इसका चयन नहीं हो सका. चौथा स्थल गड़खा क्षेत्र में है. जिसके सत्यापन हेतु अंचलाधिकारी गड़खा को कागजात दिया गया है. जिलाधिकारी के द्वारा इसे भी अबिलम्ब पूर्ण कराने का निदेश दिया गया.

समीक्षा बैठक में उपविकास आयुक्त श्री सुहर्ष भगत, नगर आयुक्त, अपर नगर आयुक्त एवं सभी कार्यपालक पदाधिकारी उपस्थित थे.