छपरा: साक्षरता अभियान के अंतर्गत सरस्वती शिशु विद्या मंदिर के बच्चों ने दलित बस्ती में चलाया अभियान.

इस दौरान छात्रों ने शहर के काशीबाजार स्थित दलित बस्ती में पहुँच वहाँ रहने वाली महिलाओं और बच्चों को साक्षर बनाने के लिए उन्हें अक्षर का ज्ञान कराया.

विद्यालय के प्रधानाचार्य रामदयाल शर्मा ने बताया कि विद्यालय के बच्चों द्वारा निरक्षर को साक्षर बनाने का यह कार्य प्रत्येक वर्ष गर्मी की छुट्टियों में किया जाता है. इसके लिए प्रतिवर्ष एक बस्ती का चुनाव विद्यालय के द्वारा किया जाता है. 

कोलकाता: ममता बनर्जी ने लगातार दूसरी बार शुक्रवार को पश्चिम बंगाल के मुख्यमंत्री पद की शपथ ली. राज्यपाल केशरीनाथ त्रिपाठी ने उन्हें पद और गोपनीयता की शपथ दिलाई.

ममता बनर्जी के साथ 43 विधायकों ने मंत्री पद की शपथ ली. ममता सरकार में इस बार 18 नए चेहरे शामिल किये गए है. जबकि 15 पुराने मंत्रियों को मंत्रिमंडल में जगह नहीं मिली है.

शपथ ग्रहण समारोह में उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव, दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल, बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार, फारुख अब्दुल्ला, लालू यादव आदि शामिल हुए.

सहारनपुर: एनडीए सरकार ने गुरुवार को दो साल का कार्यकाल पूरा कर लिया है. इस उपलक्ष्य में भाजपा के यूपी के सहारनपुर में रैली की. रैली को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने संबोधि‍त किया. मोदी ने रैली में चिकित्सा के क्षेत्र में बड़ा ऐलान करते हुए कहा कि अब देश के हर राज्य में डॉक्टर 62 की बजाय 65 की उम्र में रिटायर होंगे. उन्होंने कहा कि देश डाक्टरों की कमी से जूझ रहा है. इससे निपटने के लिए सरकार रिटायरमेंट की उम्र बढ़ाने जा रही है.

मोदी ने कहा कि केंद्र सरकार अगले हफ्ते इस और बैठक करेगी और जरूरी कार्रवाई की जाएगी. इसके साथ ही प्रधानमंत्री ने देशभर के डॉक्टरों से अपील की कि वह हर महीने की 9 तारीख को मुफ्त में गरीब गर्भवती महिलाओं का इलाज करें.

उन्होंने लोगों को संबोधित हुए कहा कि हम सभी को ऐसा माहौल बनाना चाहिए कि सरकार देश के लिए काम करे और देश सरकार के लिए काम करे. देश सिर्फ विकास के बल पर आगे बढ़ सकता है. अगर पूर्व की सरकारों ने अधि‍क मेडिकल कॉलेज बनाए होते तो हमें आज डॉक्टरों की कमी नहीं झेलनी पड़ती. देश में डॉक्टरों की कमी है. अब देश के हर राज्य के डॉक्टर 62 के बजाय 65 साल में रिटायर होंगे.

उन्होंने कहा कि मैंने देशवासियों से कहा कि अगर आप आर्थि‍क रूप से रसोई गैस की सब्सि‍डी छोड़ सकते हैं, एक करोड़ से ज्यादा लोगों ने सब्सि‍डी छोड़ दी. क्या कभी दो साल में आपने कोई खबर ऐसी सुनी है, जिसमें मोदी सरकार ने एक रुपया भी खाया हो. आप दो साल पहले की खबरों को याद कर लीजिए. आए दिन एक नए भ्रष्टाचार की खबर आती थी. बड़े-बड़े लोग भ्रष्टाचार में डूबे हुए हैं. मोदी ने कहा कि हम ऐसी फसल बीमा योजना लाए हैं कि किसान खेत के अंदर अपनी फसल काटकर रखे और ऐसे समय भी आपदा आ गई तो उसको बीमा मिलेगा. हमने पहली बार प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना शुरू की. प्राकृतिक आपदा को लेकर हमने किसानों को मुआवजा का नियम बदला. हमारी सरकार चाहती चाहते हैं कि गांव का पानी गांव में रहे. अगर किसानों को समय से पानी मिले तो वह आत्मनिर्भर बनता है. मोदी ने कहा कि देश बदल रहा है, लेकिन कुछ लोगों का दिमाग नहीं बदल रहा है.

सहारनपुर में हुई रैली को अगले साल यूपी में होने वाले विधानसभा चुनाव से जोड़ कर देखा जा रहा है. रैली को भाजपा का यूपी में चुनावी शंखनाद भी माना जा रहा है.

छपरा: स्थानीय सेंट्रल पब्लिक स्कूल के परिसर में भारत स्काउट एवं गाइड का द्वितीय एवं तृतीय सोपान के आवासीय शिविर का आयोजन किया गया.  20 मई से शुरू होकर 26 मई तक चले इस शिविर में विद्यालय के 175 स्काउट एवं गाइड ने बड़े हर्षौल्लास के साथ भाग लिया.

सात दिनों तक चले इस आवासीय शिविर में बच्चों ने समाज के प्रति चेतना, स्वयं के प्रति विश्वास और देश के प्रति भक्ति का पाठ सीखा. शिविर प्रधान उमाशंकर गिरी ने शिविर के सफलतापूर्वक समापन पर सेंट्रल पब्लिक स्कूल के स्काउट एवं गाइड के अनुशासन की तारीफ की तथा विद्यालय के निदेशक हरेन्द्र सिंह प्रबंधक विकास कुमार तथा शिविर के सहयोगी अन्य शिक्षक के प्रति आभार प्रकट किया.

इस अवसर पर विद्यालय के निदेशक ने बच्चों से एक अच्छे नागरिक और नेतृत्व क्षमता विकसित करने की बात कही. निदेशक ने शिविर प्रधान को शॉल और विद्यालय का प्रतीक चिन्ह देकर सम्मानित किया.

मुरादाबाद: अबतक आपने सुखे पत्ते, लकड़ियों, पशुओं को कच्चा या पकाकर खाने वाले लोगों के जीवन बिताने की दर्जनों कहानियाँ सुनी होगी. लेकिन यह बात सुनने में थोड़ी अटपटी जरूर लगेगी कि आखिर कोई मनुष्य कैसे पिछले 17 वर्षों से मिट्टी, बालू ईट, पत्थर खाकर भी पुरी तरह से तंदरुस्त हैं.

उत्तर प्रदेश के मुरादाबाद जिले का रहने वाला ये शख्स पिछले 17 वर्षों से हर रोज मिट्टी खाता है. आश्चर्य की बात यह है कि ये शख्स पिछले 17 वर्षों से बालू और पत्थर खाकर न सिर्फ जीवित बल्कि मानसिक और शारीरिक रूप से फिट भी है.

रामेश्वर नाम का यह शख्स मिट्टी और रेत को 17 साल से खा रहा है. कुछ वर्षों पूर्व रामेश्वर गम्भीर रुप से बीमार था. जिसके कारण इसके मुंह से खून आने लगा था. डॉक्टरों को दिखाने के बाद और काफी उपचार के बाद भी जब रामेश्वर ठीक नहीं हुआ और डॉक्टरों ने भी जवाब दे दिया. तब उसने रेत और मिट्टी खाना शुरू कर दिया. तब से लेकर आज तक इसको न तो कोई बीमारी हुई और न ही किसी तरह की कोई दिक्कत हुई है. रामेश्वर की मानें तो रेत मिट्टी खाने से इसका पेट साफ रहता है और यह हर रोज दो से तीन बार 100 से 150 ग्राम तक रेत और मिट्टी खा लेता है.

रामेश्वर का कहना है मिट्टी खाना उनकी आदत में शुमार है लेकिन उन्हें इसे खाने से कोई दिक्कत नहीं है और ना ही उसे कोई बीमारी है. लिहाजा वे पूरी तरह ठीक हैं. साथ ही रामेश्वर ने खुद का इलाज कराने से भी साफ इन्कार कर दिया.

सिवान: सारण जिला के मांझी प्रखंड के पत्रकारों द्वारा दिवंगत पत्रकार राजदेव रंजन के परिवार को अनुग्रह राशि प्रदान की है. गुरुवार को मांझी प्रेस क्लब के सदस्य मनोज कुमार सिंह, सोहेल अहमद, हेमंत कुमार शर्मा, संजीव शर्मा, उमेश कुमार सिंह, योगेन्द्र शर्मा और अविनाश कुमार सिंह द्वारा सीवान के दिवंगत पत्रकार राजदेव रंजन के पैतृक गांव हकाम पहुंचकर शोकाकुल परिवार का ढाढस बताया.

सदस्यों ने 21 हजार रुपये की अनुग्रह राशि दिवान्दत पत्रकार राजदेव रंजन की पत्नी आशा रंजन को सुपुर्द करते हुए भविष्य में भी परिवार के लिए हरसंभव सहायता प्रदान करने का आश्वासन दिया.

मांझी प्रेस क्लब के सदस्यों द्वारा इसके पूर्व भी कई बार सामाजिक कार्यों में अपनी उपस्थिति दर्ज कराई जाती रही है.

मांझी: थाना क्षेत्र के राम घाट पर एक महिला के डुबने से हुई मौत की घटना सामने आई है.  घटना की सूचना के बाद आस-पास के लोग घाट पर पहुंचे लेकिन महिला को बचाया नहीं जा सका. कुछ देर बाद महिला का शव नदी से बाहर निकाला गया.

मृत महिला की पहचान अभी तक नहीं हो पाई है. महिला की उम्र 60 वर्ष के करीब है और उसके हाथ पर देवेन्द्र लिखा गोदना गोदवाया हुआ है. लोगों की बातों को माने तो उक्त महिला ने आत्महत्या की है. हालांकि पुलिस महिला की मौत की वजह जानने में जुट गई है.

{संतोष कुमार ‘बंटी’}

केन्द्र की सत्ता में भारतीय जनता पार्टी की मोदी सरकार ने दो वर्ष पूरे कर लिए हैं. इन दो वर्षों के अंतराल में कई उतार चढ़ाव के बाद भी अपने को स्थिर रखने में मोदी सरकार सफल रही है. आरोप प्रत्यारोप के बीच संसद से लेकर सड़क तक मोदी सरकार ने अपने सिपाहियों की बदौलत विपक्ष के वार का जबाव दिया. हालांकि इस बीच अपने कई बड़बोले सिपाहियों की हाजिर जबाबी के कारण सरकार को कटघरे में खड़ा होना पड़ा है. लेकिन विकासात्मक और देश हित के कार्यों की बदौलत लोगों को दिलों पर सरकार राज कर रही हैं.

मोदी सरकार अर्थव्यवस्था, उत्पाद, निर्यात और रोजगार जैसे जनसरोकार के मुद्दों के साथ आगे बढ़ रही है. अपनी विभिन्न योजनाओं के जरिए सरकार ने आम से लेकर खास लोगों के बीच अपनी जगह बना ली है. आम आदमी के लिये बनी जनधन योजना, सुकन्या समृद्धि योजना, मुद्रा योजना, जीवन ज्योति बीमा योजना, सुरक्षा बीमा योजना और अटल पेशन योजना के जरिए समाज के अंतिम पायदान पर खड़ा व्यक्ति आज सीधे तौर पर बैकों से जुड़ा है. जिससे भ्रष्टाचार में कमी आने के साथ साथ उनके भविष्य की सुरक्षा भी हो रही है.

मेक इन इंडिया योजना सरकार की एक अनूठी पहल है. जिससे देश में ना सिर्फ रोजगार के नये अवसर प्राप्त हुए हैं बल्कि अर्थव्यवस्था की स्थिति में भी भारत काफी सुदृढ़ हुआ है. छोटे छोटे करोबारी को व्यापार के अवसर मिले हैं वहीं बड़ी कंपनियों के निवेश के अवसर सृजन हुए हैं. विदेशों के साथ बेहतर संबंध बनने से देश की सीमा, सुरक्षा, आयात और निर्यात जैसे कई मुद्दों पर हुई संधि से देश आगे बढ़ा है.

स्किल इंडिया, डिजिटल इंडिया, स्टार्टअप इंडिया, के जरिए सरकार ने युवाओं को अपनी ओर आकर्षित किया है. तकनीकी शिक्षा के साथ औद्योगिक शिक्षा में देश के युवा अपने भविष्य निर्माण के लिए स्टार्टअप इंडिया को एक बेहतर विकल्प के रूप में देख रहे है. डिजिटल इंडिया के साथ तेजी से बढ़ रहे ई-व्यापार इसका उदाहरण बन रहा है.

मोदी सरकार देश के विकास के लिए भले ही अपने योजनाओं के जरिए अग्रसर हो लेकिन पठानकोट हमला, रोहित बेमुला, जेएनयू विवाद, तथा असहिष्णुता और बीफ जैसे मुद्दे पर सरकार सीधे विपक्ष के निशाने पर रही है. सड़क से लेकर सदन तक सरकार को विरोध झेलना पड़ा. कालाधन, भ्रष्टाचार तथा महंगाई जैसे मुद्दों पर सरकार अब भी निशाने पर हैं. कालाधन वापसी को विपक्ष जहाँ चुनावी जुमला बता रहा है वही वित्त मंत्री नयी आयकर नीति का हवाला देकर कालाधन वापसी में एक कदम और बढाने की बात कहते हैं.

योजनाओं के आधार पर सरकार ने लोगों को अपनी तरफ आकर्षित जरूर किया है लेकिन मँहगाई इस कार्य में रोड़ा साबित हो रही है. बहरहाल सरकार के प्रति लोगों की एकाग्रता और कार्यों का प्रतिफल कुछ प्रदेशों के विधानसभा चुनाव में जरूर दिख रहा. मगर असल तो 2019 में ही देखने को मिलेगा.

छपरा/अमनौर/तरैया: नौंवे चरण में अमनौर और तरैया में मतदान जारी है. दोनों प्रखंडों में शाम 4 बजे तक होगा मतदान होगा. दोनों  प्रखंडों में बूथों पर मतदाताओं की लम्बी कतार देखी जा रही है. जो वोटरों में उत्साह को दर्शाता है.

इस चरण में अमनौर के 18 और तरैया के 13 प्रखंडों में मतदान हो रहा है. मतदान के लिए अमनौर में 262 बूथ बनाये गए है. सहायक बूथ 5 और चलंत बूथ 7 है. वही तरैया में 183 मतदान केंद्र और 3 चलंत मतदान केंद्र बनाये गए है.

तरैया में 94984 मतदाता मतदान करेंगे वही अमनौर में 130568 मतदाता अपने मतों का प्रयोग करेंगे.

नक्सल प्रभावित क्षेत्र होने के कारण दोनों प्रखंडों में शांतिपूर्ण मतदान कराना प्रशासन के लिए चुनौती साबित होगा.

सिवान: पत्रकार राजदेव रंजन की हत्या के मामले में बुधवार को वेस्ट बंगाल यूनियन ऑफ़ जर्नलिस्ट के महासचिव विपिन कुमार द्वारा जिलाधिकारी सिवान से मिलकर ज्ञापन सौंपा गया.

दुस्साहस राष्ट्रीय पत्रिका के संपादक विपिन कुमार ने जिलाधिकारी से पत्रकार हत्या मामले में सीबीआई जाँच प्रक्रिया में तेजी लाने की मांग की. श्री कुमार ने पत्रकार राजदेव रंजन के नाम पर शहर में स्मारक और प्रतिवर्ष जिला प्रशासन की ओर से कार्यक्रम कराने की मांग भी की. उन्होंने कहा कि राजदेव रंजन की हत्या अपूरणीय क्षति है. सरकार दोषियों को जल्द से जल्द गिरफ्तार कर उन्हें सजा दे.

श्री कुमार के साथ दुस्साहस के बिहार प्रतिनिधि प्रभात किरण हिमांशु भी मौजूद थे.

छपरा: भारतीय जननाट्य संघ (इप्टा) के 73वें स्थापना वर्ष के अवसर पर बुधवार को स्थानीय नगरपालिका सभागार में सांस्कृतिक संध्या का आयोजन किया जाएगा. कार्यक्रम का उद्घाटन बिहार विधान परिषद् के पूर्व उप सभापति सलीम परवेज़, डॉ वीरेंद्र नारायण यादव और राजेंद्र राय ने संयुक्त रूप से दीप प्रज्जवलित कर किया.   

इप्टा के जिला सचिव अमित रंजन ने बताया कि इस  कार्यक्रम दिवंगत पत्रकार राजदेव रंजन को समर्पित किया गया है. इस अवसर पर विचार गोष्ठी का भी आयोजन हुआ जिसका विषय अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता: दशा और दिशा था.

इस अवसर पर कंचन बाला के नेतृत्व में जन गीत की प्रस्तुति दी गयी. वही कलाकारों ने नृत्य एवं एकांकी ‘पागलखाना’ की भी प्रस्तुति दी.

सीवान (नवीन सिंह परमार): सीवान में हुए पत्रकार हत्याकांड के मामले में बुधवार को पुलिस ने 5 आरोपियों को गिरफ्तार किया. इस गिरफ्तारी पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए NUJI बिहार के महासचिव राकेश प्रवीर ने कहा कि पांच लड़कों को पकड़ कर बिहार पुलिस ने उन्हें शूटर बताते हुए पत्रकार राजदेव हत्याकांड को सुलझाने की जो कहानी गढ़ी है, उसमें कोई दम नहीं है.

उन्होंने कहा कि यह कोई अहम कामयाबी नहीं बल्कि सीवान और बिहार पुलिस की फेस सेविंग कार्रवाई है. पुलिस की इस कार्रवाई की कोख में ही कई सवाल पल रहे हैं, जिनका जवाब आना बाकी हैं, मसलन रोहित को हत्या की सुपारी देने वाला लड्डन मियां कहां है? पत्रकार राजदेव रंजन से लड्डन मियां की क्या दुश्मनी थी? हत्या का मकसद क्या था? राजद के पूर्व सांसद मो.शहाबुद्दीन से लड्डन मियां का क्या सम्बन्ध है? हत्या के दिन से ही परिवार के साथ लड्डन मियां कहां फरार है? हाल ही में जेल से छूटा लड्डन मियां किसका आदमी है? अगर पुलिस दबाव में काम नहीं कर रही है तो इन सारे सवालों के जवाब से क्यों बच रही है?

उन्होंने कहां कि अच्छी खबर बस इतनी है कि सीबीआई ने पत्रकार हत्याकांड की प्रारम्भिक जाँच शुरू कर दी है. इस कांड के मुख्य अभियुक्त के गिरेवान पर हाथ डालने की बिहार पुलिस में हिम्मत नहीं है. अगर ऐसा हुआ तो सरकार गिर जायेगी. इसीलिए आज प्रेस से बात करने के दौरान बिहार पुलिस के एडीजी सुनील कुमार यह तो कह रहे थे कि इस कांड का मुख्य अभियुक्त पकड़ से बाहर है. मगर उनमें यह कहने की हिम्मत नहीं थी कि मुख्य अभियुक्त कौन हैं?

उन्होंने कहा कि ऐसे में सीबीआई से ही कुछ उम्मीद है. मगर अभी थोडा इंतजार करना पड़ेगा. दरअसल फजीहत से बचने के लिए पुलिस कुछ लड़कों को पकड़ कर अपनी पीठ खुद थपथपा रही है. आज पुलिस ने जो कहानी सुनाई है, उसमें छेद ही छेद है.  

साभार: DNMS, SIWAN