पूर्वोत्तर रेलवे यात्रियों की सुरक्षा और संरक्षा का कर रहा विशेष ध्यान : महाप्रबंधक

पूर्वोत्तर रेलवे यात्रियों की सुरक्षा और संरक्षा का कर रहा विशेष ध्यान : महाप्रबंधक

Gorakhpur: पूर्वोत्तर रेलवे के महाप्रबन्धक विनय कुमार त्रिपाठी के कुशल नेतृत्व में पूर्वोत्तर रेलवे प्रगति के पथ पर निरन्तर अग्रसर है. पूर्वोत्तर रेलवे पर संरक्षित रेल संचलन, यात्रियों की संरक्षा एवं सुरक्षा तथा रेल सम्पत्ति की सुरक्षा सर्वोच्च प्राथमिकताओं में है, जिसके लिये रेलवे प्रशासन सतत् प्रयत्नशील है.

पूर्वोत्तर रेलवे प्रशासन द्वारा दुर्घटनाओं को रोकने के लिये किये गये नये प्रयासों के परिणामस्वरूप विगत दो वर्षों में कोई परिणामी दुर्घटना नही हुई. दुर्घटनाओं को रोकने के लिये महत्वपूर्ण कदम के रूप में बड़ी लाइन रेल खण्डों पर मानवरहित समपारों को समाप्त कर दिया गया है. जिससे दुर्घटनाओं की संख्या में आशातीत कमी आई है. इसके साथ ही रोड ओवरब्रिज एवं सीमित ऊँचाई के सब-वे का निर्माण कर मानवयुक्त समपारों को भी बन्द करने का कार्य प्रगति पर है. जिससे बेहतर संरक्षा एवं समय-पालन सुनिश्चित किया जा सके.

मुख्य जनसंपर्क अधिकारी पंकज कुमार सिंह ने बताया कि अभी तक पूर्वोत्तर रेलवे पर कुल 644 समपारों को बन्द किया जा चुका है. वर्ष 2020-21 में कुल 115 समपारों को विभिन्न माध्यमों से बन्द किया गया. वर्ष 2020-21 में 91 समपारों को एल.एच.एस, 15 समपारों को डायवर्जन तथा 9 को डायरेक्ट क्लोजर द्वारा बन्द किया गया. वर्ष 2021-22 में कुल 100 समपारों को समाप्त करने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है, जिनमें से अभी तक 10 समपारों को बन्द किया जा चुका है.

इनमें से 03 समपारों को एल.एच.एस., 01 समपार को डायवर्जन, 02 समपारों को डायरेक्ट क्लोजर तथा 04 को आर.ओ.बी. का प्रावधान कर बन्द किया गया है. वर्तमान वित्त वर्ष में इज्जतनगर मंडल में 27, वाराणसी मण्डल में 45 तथा लखनऊ मण्डल में 28 समपारों को बन्द किया जायेगा. कुल 100 समपारों में से 08 को आर.ओ.बी., 27 को डायवर्जन, 03 को डायरेक्ट क्लोजर तथा 62 को एल.एच.एस. का प्रावधान कर बन्द किया जायेगा.

पूर्वोत्तर रेलवे के सभी स्टेशनों पर इलेक्ट्रानिक इण्टरलाॅकिंग कर दी गई है. इसके साथ ही संरक्षा हेतु अन्य महत्वपूर्ण कार्य के रूप में टैक रिन्युवल के बैकलाॅक को पूरा करना, बेहतर अनुरक्षण प्रणाली का प्रयोग, बेहतर रोलिंग स्टाॅक की उपलब्धता सुनिश्चित की गई है.

यात्रियों एवं रेल सम्पत्ति की सुरक्षा के लिये पूर्वोत्तर रेलवे के 23 स्टेशनों पर सी.सी.टी.वी. कैमरा लगाया गया है तथा 04 स्टेशनों पर इसके लगाये जाने का कार्य प्रगति पर है. महिला कोचों में यात्रा करने वाले अनधिकृत यात्रियों के खिलाफ कार्यवाही की जा रही है. महिला यात्रियों को सुरक्षा प्रदान करने के अन्तर्गत ‘मेरी सहेली‘ अभियान द्वारा इस वर्ष 12203 गाड़ियों में 4447 महिला रेलवे सुरक्षा बलकर्मियों द्वारा महिला यात्रियों को सुरक्षा सम्बन्धी जानकारी दी जा रही है. इस अभियान के फलस्वरूप पूर्वोत्तर रेलवे पर महिला कोच में पुरूष यात्रियों के अनाधिकृत प्रवेश में आशातीत गिरावट दर्ज की गई है. रेलवे सुरक्षा बल द्वारा यात्रियों एवं रेल सम्पत्ति की सुरक्षा हेतु 128 गाड़ियों की प्रतिदिन स्कोर्टिंग की जाती है. रेलवे पर किसी भी प्रकार की शिकायत अथवा सहायता हेतु बनाये गये यूनिवर्सल हेल्प लाइन नम्बर ‘139‘ पर शिकायतों का निस्तारण एवं यात्रियों को सहायता प्रदान की जा रही है. इसके अतिरिक्त रेलवे प्रशासन द्वारा राजकीय रेलवे पुलिस के माध्यम से भी रेलों पर अपराधों की रोकथाम एवं यात्रियों की सुरक्षा सुनिश्चित की जा रही है.

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