पटना: बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने बुधवार को एक प्रेस विज्ञप्ति जारी कर के कहां कि बिहार में प्रतिबंधित नहीं होने के बावजूद ताड़ी पीने और बेचने के आरोप में सरकार ने जहां पासी समाज के हजारों गरीबों को गिरफ्तार कर जेल में बंद कर दिया है. वहीं शराबबंदी को चुनौती देने वाले सहयोगी दल के विधायक विनय वर्मा शिकारपुर थाने से फरार होने में सफल हो जाते हैं, क्या यही सुशासन है.
उन्होंने कहां कि दिखावे के लिए स्टिंग दिखाये जाने के 8 घंटे बाद पुलिस छापेमारी का नाटक करती है. सरकार में अगर हिम्मत है तो विधायक को अविलम्ब गिरफ्तार कर उन्हें 10 साल की सजा दिलायें. कहीं ऐसा न हो कि शराब पीने-पिलाने का खुला आमंत्रण देने वाले विधायक को सरकार दिखावे के लिए सरफराज आलम की तरह गिरफ्तारी का नाटक कर थाने से ही छोड़ दें.
मोदी ने कहा कि सीमाई और दियारा इलाकों में अवैध शराब के कारोबार को रोकने में सरकार पूरी तरह से विफल रही है. नतीजतन पटना सिटी में जहरीली शराब पीने से कथित तौर पर तीन लोगों की मौत, गया में एक की मौत और दो लोगों के गंभीर रूप से बीमार होने तथा पिछले सप्ताह नालंदा में एक व्यक्ति की जहरीली शराब पीने से मौत को अब सरकार रफा-दफा करने में जुटी है.
भाजपा नेता ने कहां कि अगलगी से बचाव में विफल सरकार गांव के गरीबों को धमकाने के लिए 9 बजे के बाद चूल्हा जलाने पर दो साल की सजा का तुगलकी फरमान जारी करती है. सरकार को बताना चाहिए कि अगलगी रोकने के लिए जिला, अनुमंडल और थाने स्तर पर कौन सा कारगर इंतजाम किया गया है?
उन्होंने कहां कि विनय वर्मा सहित सत्ताधारी दल के एक दर्जन विधायक छेड़खानी, बलात्कार, अपहरण, धमकी और दबंगई के मामलों में आरोपित होने के बावजूद खुले में घूम रहे हैं. पासी समाज के लोगों को गिरफ्तार करने और गांव के गरीबों को धमकाने से पहले सरकार दिखावटी कार्रवाई बंद कर आरोपित विधायकों को गिरफ्तार कर सजा दिलायें.
साभार: (DNMS, सीवान)