Chhapra: छपरा शहर में जल जमाव के कारण छपरा के जनप्रतिनिधियों और नगर निगम की जमकर किरकिरी हो रही है. बारिश के चार-पांच दिन बाद बहु सड़कों से जब पानी नहीं निकला तो अब जाकर नगर निगम की नींद खुली है. छपरा नगर निगम ने आखिरकार नगरपालिका चौक के समीप व अन्य इलाकों में नालों की सफाई शुरू करायी.

बुधवार को नगर निगम के सफाई कर्मी, जेसीबी के साथ नगरपालिका चौक पर महीनों से जाम पड़े नाले की साफ सफाई करने पहुंचे. नगर पालिका चौक के समीप नाले से जेसीबी की मदद ढेर सारा खसरा कचरा निकाल पानी निकासी को लेकर कार्य किया गया.

शहर में नालों की कभी सफाई ढंग से नहीं होने से लगभग आधा से ज्यादा शहर बारिश के बाद जलमग्न हो जाता है जिसके बाद लोग जनप्रतिनिधियों और नगर निगम कोसते रहते हैं.

हालांकि छपरा नगर निगम की नींद अब जाकर खुली है और नगर पालिका चौक के समीप नाला की उड़ाही करा कर कोरम पूरा कर दिया गया है.

वहीं अब भी शहर के कई इलाकों की स्थिति खराब है. नालों की सफाई नहीं हुई है, नाला निर्माण में भी गड़बड़ी के कारण जल जलजमाव हो रहा है, जिसके कारण लोग जनप्रतिनिधियों को आड़े हाथों ले रहे. विधानसभा चुनाव में लोगों ने जलजमाव सफाई का मुद्दा बना लिया है.

Chhapra: छपरा के गुदरी बाजार में नगर निगम द्वारा अतिक्रमण हटाओ अभियान चलाया गया. इस दौरान पता चला कि नाले पर ही ज्यादातर दुकानदारों द्वारा अवैध निर्माण करा कर अतिक्रमण किया गया है. इस वजह से नाले की सफाई नहीं हो पा रही है. सड़क पर पानी लगने का यह भी एक कारण है. जिसके बाद निगम अधिकारियों ने कई अस्थाई निर्माण पर बुल्डोजर चलवाया.

इस दौरान 35 की संख्या में सफाई कर्मियों को भेजकर वहां सड़को पर लग पानी को हटवाने के लिए नाले की साफ सफाई कराई गई. इस दौरान नगर निगम की मेयर प्रिया सिंह भी मौके पर मौजूद रहीं. मेयर ने पूरे बाजार में 2 घण्टे तक निरीक्षण किया.

एक हफ्ते में सारे स्थाई अवैध निर्माणों पर चलेगा बुलडोजर

मेयर ने बताया कि अगले 1 हफ्ते में गुदरी बाजार में जितनी भी अवैध दुकानें हैं. सबको निगम द्वारा बुलडोजर भेजकर तोड़वा दिया जायेगा. प्रिया सिंह ने कहा कि आज बहुत सारे अस्थाई निर्माण को तोड़ा गया है. लेकिन यहां बहुतों ने दर्जनों स्थाई निर्माण अवैध रूप से कराया गया है. जिसे नगर निगम द्वारा 1 हफ्ते में ध्वस्त कर दिया जाएगा. इसके अलावा कई दुकानों में निगम ने ताले भी लगा दिए. निगम द्वारा शुरू किए गए इस अतिक्रमण हटाओ अभियान में दौरान गुदरी बाजार में स्थित अवैध दुकानदारों के बीच हड़कंप मच गया.

छपरा: अपनी मांगों को निगम द्वारा पूरा कराने के उद्देश्य से अनिश्चितकालीन हड़ताल पर गये नगर निगम के सफाई कर्मियों ने हड़ताल कब तीसरे दिन तो सारी हदें पार कर दी. कानून को ताक पर रखते हुए सफाई कर्मियों ने सबसे पहले शहर के मुख्य सड़कों पर कूड़ा-कचरा फैला दिया. इस दौरान आक्रोशित सफाईकर्मियों ने जिलाधिकारी आवास के बाहर सड़क पर भी गंदगी फैलाई. साथ मे जमकर नारेबाजी भी की. इससे से भी बौखलाए सफाईकर्मियों का मन नही भरा तो वे पूजा पांडालों के समीप कचरा फैलाने लगे. इस दौरन हड़तालियों ने नगरपालिका चौक पर बन रहे पूजा पंडाल के समीप कचरे का ढेर फैला दिया.

नगर आयुक्त कार्यालय के बाहर मृत कुत्ते को लटकाया

मांगे नहीं पूरी होने पर नगर निगम में प्रदर्शन कर रहे दैनिक सफाईकर्मियों में से कुछ लोगों ने अमानवीय हरकत करते हुए एक मृत कुत्ते को निगम भवन के पहली मंजिल पर स्थित नगर आयुक्त अजय सिन्हा के कार्यालय के दरवाजे से सटाकर रस्सी से बांध दिया. जिसके बाद उसकी दुर्गंध बाहर तक आने लगी. 

जिसके बाद अन्य सरकारी कार्यालयों में भी इसकी चर्चा होने लगी. इस दौरान दैनिक सफाई कर्मियों ने नगर निगम परिसर में जमकर बवाल काटा. मांग पूरी नहीं होने से गुस्साए कर्मियों ने निगम परिसर में भी बाहर से लाकर कूड़ा पसार दिया. इस दौरान निगम की सीढ़ियों व अन्य जगहों पर पूरा कचरा फैला दिया गया. इसके अलावें तीसरे दिन में निगम में कोई कार्य नहीं हो सका और निगम कार्यालय में ताला लटका रहा.

दोषियों पर होगी कार्रवाई: सदर एसडीओ, चेतनारायण राय
मृत कुत्ते को सरकारी अधिकारी के कार्यालय के बाहर लटकाने की सूचना मिलने पर सदर एसडीओ ने कहा कि अगर नगर आयुक्त अजय सिन्हा शिकायत करते हैं तो दोषियों पर कार्यवाई की जाएगी. साथ ही मांगो को लेकर उन्होंने कहा कि उनकी मांगे अपनी जगह है. वो नगर निगम का आंतरिक मामला है लेकिन हड़ताल के दौरान इस तरह की हरकरत करना सही नहीं है.

आखिर क्यों हो रहा है इतना बवाल
नगर निगम के दैनिक सफाई कर्मी अपनी विभिन्न मंगों को लेकर अनिश्चितकालीन हड़ताल पर जाने का आह्वाहन किया था. इस दौरान उन्होंने छपरा नगर निगम से मानदेय बढ़ाने, बकाये वेतन का भुगतान करने, सफाईकर्मियों के लिए ड्रेस, सफाई के लिए उपकरण, 7 वां वेतन लागू करना, अनुकम्पा पर बहाली शुरू करना, पेंशन नीति बदलाव की मांग की है. इन मंगों को पूरा करने के लिए निगम को 6 अक्टूबर तक का अल्टीमेटम दिया गया था. जिसे पूरा करने में निगम नाकामयाब रहा. उसके बाद से 10 अक्टूबर से ये कर्मी बिहार लोकल बॉडीज के क्षेत्रीय मंत्री सियाराम सिंह के आह्वाहन पर हड़ताल पर चले गए है. इस दौरान शहर में सफाई व्यवस्था भी चौपट हो गयी है. आज हड़ताल का तीसरा दिन था. जिसके बाद सफाईकर्मियों ने जमकर प्रदर्शन किया.

दैनिक सफाई कर्मियों के हड़ताल पर चले जाना नगर निगम अधिकारियों के लिए सिरदर्द बना हुआ है. एक तरफ जहां पर्व त्योहार का मौसम चल रहा और शहर में सफाई नहीं हो रही. वहीं दूसरी तरफ सफाई कर्मी शहर में गंदगी फैलाने पर तुले हुए हैं. त्योहार में घर आने वाले लोग शहर की सूरत देखकर हैरान हैं. शहर में बढ़ी गंदगी से लोग भी परेशान हो गए हैं.

निगम के अधिकारियों का कहना है कि कुछ मंगों को बोर्ड की बैठक में रखा जायेगा. लेकिन कुछ मांगे ऐसी हैं जो सिर्फ विभाग से ही पूरी कराई जा सकती हैं. आखिर देखने वाली बात यह है कि त्योहारों में शहर के कबतक सफाई व्यवस्था ठप रहती है.

छपरा: बिहार लोकल बॉडीज इंप्लाइज फेडरेशन के बैनर तले छपरा नगर निगम कर्मचारी संघ के सफाई कर्मी दोबारा से अनिश्चितकालीन पर चले गए हैं. यह कर्मी कई महीनों से छपरा नगर निगम से मानदेय बढ़ाने व पिछले 3 महीने से बकाये वेतन के भुगतान की मांग कर रहे हैं. इन कर्मियों के हड़ताल पर जाने के बाद शहर में एक बार फिर से विभिन्न वार्डों में सफाई व्यवस्था ठप हो गयी है. साथ ही साथ बुधवार को नगर निगम कार्यालय में भी टाला लटका रहा और सभी कार्य ठप हो गए.

त्योहारों में शहर में बढ़ेगी गंदगी:

नवरात्रि की शुरआत होते ही नगर निगम कर्मचारी संघ के हड़ताल पर चले जाने से शहर में नालों की सफाई, वार्डों में कचड़े का उठाव का कार्य लगभग ठप्प हो गया है. जिससे कुछ दिनों शहर में गन्दगी भी बढ़ने की आशंका है. त्योहारों के मौसम में कर्मियों के हड़ताल से लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ेगा. बीते 8 अक्टूबर को निगम स्टैंडिंग कमिटी की बैठक के दौरान नवरात्रि में शहर में विशेष सफाई को लेकर नगर आयुक्त अजय सिन्हा द्वारा विशेष नीति बनाई गई थी. जो अब बेअसर साबित हो रहा है.

ये हैं मांगे:

गौरतलब है कि बिहार लोकल बॉडीज इंप्लाइज फेडरेशन के क्षेत्रीय मंत्री सियाराम सिंह के निर्देश पर कर्मियों ने यह अनिश्चित हड़ताल की है. सियाराम सिंह ने बताया कि निगम ने विभिन्न कर्मियों की मांगों को पूरा करने का आश्वासन दिया था. लेकिन उसे पूरा नहीं किया गया. जिससे अब सभी सफाई कर्मी अनिश्चित हड़ताल पर जाने का फैसला किया है.

इससे पूर्व पिछले माह में निगम सफाईकर्मी महासंघ के आह्वाहन पर अनिश्चितकालीन हड़ताल पर चले गए थे. लेकिन 2 दिन बाद मेहर प्रिया सिंह के आश्वासन के बाद हड़ताल को खत्म कर दिया गया था. महासंघ के क्षेत्रीय मंत्री सियाराम सिंह का कहना है कि उन्होंने निगम से 42 सफाईकर्मियों के बकाया वेतन के भुगतान की मांग की थी. लेकिन 3 महीने का बकाया वेतन अभी तक निगम द्वारा भुगतान नहीं किया जा सका है. साथ ही साथ दैनिक मजदूरों को जूता, कपड़े तथा सफाई उपकरण भी नहीं दिए गए हैं. जिससे कर्मी खुद के स्वास्थ्य को जोखिम में डालकर कार्य करते हैं. निगम ने अभी तक इन्हें न तो कपड़े उपलब्ध कराय है और ना ही कोई उपकरण.

सियाराम सिंह ने अपनी मांग रखते हुए कहा कि निगम में कई महीनों से अनुकम्पा पर बहाली लंबित है. इसके अलावा उन्होंने कहा कि सफाई कर्मियों के लिए भी सातवां वेतन लागू होना चाहिए जो अब तक लंबित है. साथ ही साथ उन्होंने निगम पर आरोप लगाया कि नगर निगम में पेंशन धारियों को 5 वर्ष बाद पारिवारिक पेंशन बंद कर दिया जाता है. 10 वर्ष बाद उनके भी पेंशन बंद कर दिए जाते हैं जबकि आसपास के नगर में निगम आजीवन पेंशन मिलने का प्रावधान है.

क्या बोलीं मेयर:
सफाई कर्मियों को वापस काम पर बुलाने की कोशिश की जा रही है. बकाये वेतन भी कल तक भुगतान कर दिए जाएंगे. मानदेय बढ़ोत्तरी को लेकर भी बोर्ड में फैसला पास कराया जाएगा. सफाई उपकरण व सफाई के लिए ड्रेस जल्द उपलब्ध करा दिए जाएंगे. अन्य मांगे विभाग से ही पूरी की जा सकती हैं.

छपरा: शहर में बढ़ते कूड़े-कचरे की समस्या से निजात दिलाने के लिए छपरा नगर निगम जल्द ही शहर में कचरा प्रबंधन प्लांट लगाने जा रहा है. इसके तहत मुज़फ़्फ़रपुर नगर निगम के तर्ज पर छपरा में विभिन्न जगहों पर कचरा प्रबंधन केंद्र बनाया जाएगा. इस कचरा प्रबंधन केंद्र में प्राकृतिक और पारंपरिक तरीके से गीले कचरे को इक्कठा कर खाद का निर्माण कराया जायेगा. यहां बनने वाले खाद को पैकिंग कर बेचा भी जायेग. साथ ही इस प्लांट के ज़रिये किसी भी प्रकार के प्रदूषण की समस्या भी नहीं होगी. छपरा में बहुत जल्द इसे शुरू कर दिया जायेगा.

श्यामचौक और हुस्से छपरा में लगेगा प्लांट

कचरा प्रबंधन के लिए नगर निगम द्वारा शहर के तीन जगहों पर प्लांट लगाया जायेगा. जिसमें एक शहर के श्याम चौक के पास, दूसरा हुस्से छपरा स्थित नगर निगम की पुरानी भंगार की जमीन पर लगेगा. वहीं तीसरे प्लांट को लेकर जमीन को चिन्हित किया जा रहा है. जल्द ही इसे भी चिन्हित कर लिया जयेगा. प्लांट बैठाने को लेकर डीपीआर तैयार किया जा रहा है.

गीले कचरे से ऐसे बनेगा खाद

गीले कचरे से खाद बनना इस प्लांट के ज़रिए बिल्कुल आसान है. जिसमें सिंपल टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल किया गया है. सबसे पहले घर-घर से जाकर गीला और सूखा कचरा का उठाव किया जायेगा. जिसके बाद गीले कचरे को एक निश्चित स्थान और डंप किया जायेग. वहां उस कचरे से प्लास्टिक की बोतलें व अन्य बेकार की चीज़ें हटा ली जाएंगी. जिसके बाद उस गीले कचरे को कचरा प्रबंधन प्लांट पर लाया जायेगा. वहां कचरे को मशीन में डालकर महीन किया जायेगा. फिर उसे वहां बने विभिन्न कॉम्पोस्ट पिट(गड्ढे) में डाला जायेगा. डालने से पहले कॉम्पोस्ट पिट में नारियल के खोइयों का लेप और फिर दो लेयर में गोबर का लेप चढ़ाया जायेगा. इसके बाद इसमे रसायनिक केमिकल डालकर कचरे को सूखने के लिए छोड़ दिया जायेगा. जिसके बाद वह खाद में तब्दील होगा. इसके उपरांत मशीन में डालकर नगर निगम के टैग के साथ पैक करके 5 रुपय प्रति किलो बेचा जायेगा.

6 से 7 लाख का होगा खर्च

आपको बता दे कि इस प्लांट को लगाने में 6 से 7 लाख रुपये का खर्च की बात कही जा रही है. इसको लेकर नगर निगम सभागार में बुधवार को सशक्त स्थाई समिति की बैठक भी हुई. जिसमें मेयर के साथ नगर आयुक्त अजय सिन्हा व कनीय अभियंता के साथ स्थायी समिति के सदस्य उपस्थित रहे. बैठक में कचरा प्रबंधन प्लांट जल्द लगाने को लेकर चर्चा की गयी.

कचरा प्रबन्धन प्लांट लगाने से पहले लोगों को किया जायेगा जागरूक, दुकानदारों में बांटे जायेगें डस्टबिन

लोगों को गीली कचरा और सूखा कचरा अलग-अलग कूड़ेदान में इकट्ठा करने के लिए नगर निगम द्वारा लोगों को जागरूक किया जायेगा. जिससे कचरे के पृथक्करण में समस्या नहीं आयेगी. साथ ही उसे आसानी से कचरा प्रबंधन प्लांट ले जाया जा सकेगा. इसके अलावें नगर निगम शहर के दुकानदारों को गीला और सूखा कचरा रखने के लिए दो अलग अलग डस्टबिन भी देगा.

मेयर सहित अन्य पदाधिकारियों ने मुज़फ़्फ़रपुर नगर निगम का किया था दौरा

गौरतलब है कि हाल ही में छपरा नगर निगम की मेयर, उपमेयर , नगर आयुक्त व कनीय अभियंता मुज़फ़्फ़रपुर नगर निगम स्थित कचरा प्रबंधन केंद्र को देखने गये थे. उन्होंने देखा कि  वहां गीला कचरा को इक्कठा कर कॉम्पोस्ट पिट लाकर खाद बनाया जा रहा था. इस तरह का कचरा प्रबंधन देख छपरा नगर निगम के पदाधिकारी प्रभावित हुए और इसे छपरा में भी जल्द शुरू करने की पहल की.

क्या कहते हैं पदाधिकारी

मेयर प्रिया सिंह: फिलहाल शहर में 3 जगह प्लांट लगाने की कोशिश की जा रही है. अगर सबकुक ठीक रहा तो प्रत्येक 5 वार्ड पर एक कचरा प्रबन्धन प्लांट लगाया जायेगा.

नगर आयुक्त, अजय सिन्हा: बहुत जल्द ही इसे शुरू किया जायेगा. गीला कचरा के साथ सूखा कचरा का भी रिसाइकिलहो जायेगा. खाद बिकेगा तो निगम के आय का स्त्रोत भी बढ़ेगा.

कनीय अभियंता: एसके श्रीवास्तव के बताया कि प्लांट लगने से गीले कचरे से निपटारे में मदद मिलेगा. शहर को साफ रखना है तो लोगों को भी अपनी मानसिकता बदलनी होगी.

  1. सिंपल टेक्नोलॉजी से होगा गीले कचरे का निपटारा
  2. मुज़्ज़फरपुर के तर्ज पर बनेगा अपशिष्ट प्रबंधन प्लांट
  3. श्याम चौक और हुस्से छपरा में बनेंगे दो प्लांट
  4. प्राकृतिक तरीके से निर्मित होगा खाद

Chhapra: मेयर प्रिया सिंह ने मंगलवार को सदर अस्पताल का निरीक्षण किया. निरीक्षण के दौरान उन्होंने आपातकालीन वार्ड, ओपीडी के साथ अस्पताल के विभिन्न वार्डों का जायजा लिया. इस मौके उन्होंने अस्पताल में भर्ती मरीजों से भी बातचीत की. साथ ही उनका हाल भी जाना.

निरीक्षण के दौरान उन्हें अस्पताल प्रशासन द्वारा सिटी स्कैन व अन्य जांच के लिए गरीब मरीजों से पैसे लेने की बात पता चली. इस पर उन्होंने उपाधीक्षक डॉ शम्भूनाथ सिंह से मुफ्त जांच के लिए पैसे वसूलने वालों के खिलाफ कार्रवाई करने के की बात कही. ताकि आम लोगों को परेशानी ना हो.

इस मौके पर उपमेयर अमितांजली सोनी, शसक्त स्थायी समिति की सदस्य एवम वार्ड 42 की पार्षद अन्नू देवी भी मौजूद रहीं.

Chhapra: शहर को स्वच्छ रखने और स्वच्छ शहरों के श्रेणी में शुमार कराने के उद्देश्य से इन दिनों स्वच्छता सर्वे की जा रही है. स्वच्छता सर्वे के माध्यम से शहर को सफाई के अनुसार रैंकिंग मिलेगी. शहर के तमाम चौक चौराहों पर इसे लेकर होर्डिंग्स के माध्यम से लोगों से आग्रह किया जा रहा है की वे अपने शहर को रैंकिंग देकर आगे रखने में भूमिका निभाए. इसके लिए सभी से एक ऐप डाउनलोड कर उस पर वोटिंग करने का अनुरोध किया गया है. इस ऐप के माध्यम से लोग गन्दगी की शिकायत भी कर सकते है.

इन सब के बीच शहर के कई ऐसे सड़क गली मोहल्ले है जहाँ स्वच्छता नाम की कोई चीज दिखती ही नहीं है. ऐसे में लोग अपने शहर को स्वच्छता के पायदान में आगे रखने की पहल में सहयोग करने से कतरा रहे है. लोगों का कहना है कि शहर में सफाई के नाम पर केवल खानापूर्ति हो रही है. मुख्य सड़क पर जलजमाव हो या कचड़ा प्रबंधन नगर निगम अपने दायित्वों के प्रति सजग नहीं दिख रहा है.

ऐसे में स्वच्छता के रैंकिंग में बेहतर स्थान पाना नामुमकिन सा प्रतीत होता है. ऐसे में सभी के मन में एक ही सवाल है कि कैसे मिलेगी स्वच्छ शहर की बेहतर रैंकिंग.

आपको बता दें कि पिछली बार स्वच्छता रैंकिंग में छपरा का स्थान 422वां था. 

स्वच्छ सर्वेक्षण: बिहारशरीफ सूबे का सबसे साफ़ शहर, पटना 262वें और छपरा 422वें स्थान पर

Chhapra:नगर निगम में सोमवार को स्टैंडिंग कमेटी की बैठक का आयोजन किया गया. जिसमें नगर आयुक्त ने महापौर प्रिया देवी , उपमहापौर अमितान्जली सोनी व शसक्त समिति के सदस्यों के साथ बैठक की. इस बैठक का उद्देश्य वृद्धा पेंशन में लोगों को हो रही समस्याओं को देखते हुए उसका निवारण करना था.

हाल ही में जिलाधिकारी के आदेश पर नगर आयुक्त ने बीडीओ को पत्र जारी कर प्रखंड स्तर पर कैंप लगाकर विधवा पेंशन के ई लाभार्थियों को डीबीटी के माध्यम से उनके खाते में भुगतान करने का निर्देश दिया. जिसके बाद भी निगम क्षेत्र के लाभुकों को इसका लाभ नही मिल पा रहा.  इसपर प्रिया देवी ने कहा कि नगर निगम क्षेत्र के लाभार्थियों के लिए नगर निगम में ही कैंप लगाकर पेंशन की समस्या का निपटारा किया जाय.

जिसपर नगर आयुक्त ने कहा कि जिलाधिकारी का जब तक आदेश नहीं आता तब तक प्रखंड स्तर पर ही लाभार्थियों का संशोधन व भुगतान किया जायेगा.

इस मौके पर शसक्त स्थायी समिति के सदस्यों के साथ विभिन्न वार्डों के विकास मित्र भी उपस्थित रहे.

Chhapra: नगर निगम में शनिवार को मेयर प्रिया देवी ने जनता दरबार लगाकर आम लोगों की समस्याएं सुनीं. जिसमें वार्ड पार्षद से लेकर आम लोग भी अपनी समस्याएं लेकर पहुंचे.  इस दौरान प्रिया देवी ने कुल 8 आवेदन स्वीकार किया. जिसमें वार्ड 38 की पार्षद नरगिस बानो ने भी गांधी चौक के समीप क्षतिग्रस्त नाली को जल्द मरम्मत कराने को लेकर आवेदन दिया.

अन्य आवेदनकर्ताओं में हरदेव प्रसाद वृद्धा पेंशन की समस्या को लेकर, राजकुमार महतो निःसंतान पेशन की समस्या, मु सना देवी लक्ष्मी बाई विधवा पेंशन तथा प्रभावती देवी ने विधवा पेंशन की समस्या को लेकर मेयर को आवेदन दिया.

जिसके बाद मेयर ने बताया कि सभी समस्याओं के निदान के लिए नगर आयुक्त को पत्र भेज दिया गया है. साथ ही वृद्धा पेंशन के वंचित लोगो को उनके वार्ड के विकास मित्र को पत्र भेज दिया गया है. जल्द ही उनका पेंशन उनके खाते में चला जायेगा.