राजद विधायक किरण देवी के पटना-आरा स्थित आवास पर सीबीआई की छापेमारी

राजद विधायक किरण देवी के पटना-आरा स्थित आवास पर सीबीआई की छापेमारी

पटना, 16 मई (हि.स.)। जमीन के बदले नौकरी (लैंड फॉर जॉब्स) मामले में राजद सुप्रीमो लालू यादव की करीबी विधायक किरण देवी के नौ ठिकानों पर मंगलवार केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) ने छापेमारी की।

सीबीआई की टीम ने विधायक किरण देवी के आरा और पटना स्थित घर पर एक साथ टीम कार्रवाई की है, जो अभी भी जारी है। आरा में अंगियांव स्थित उनके आवास पर करीब सुबह छह बजे ही सीबीआई की आठ सदस्यीय टीम पहुंची। टीम की सुरक्षा के लिए एक बस भर के सीआरपीएफ जवान पहुंचे। किरण देवी बड़े बालू कारोबारी अरुण यादव की पत्नी हैं। किरण देवी आरा के संदेश से विधायक हैं।

किरण देवी के घर के अलावा राजद के नेता प्रेमचंद्र गुप्ता के नोएडा, दिल्ली और गुरुग्राम से जुड़े ठिकानों पर भी सीबीआई की छापेमारी जारी है। इस छापेमारी पर भाजपा के राज्यसभा सदस्य और पूर्व डिप्टी सीएम सुशील मोदी ने कहा कि उस वक्त लालू यादव का नारा ही था तुम मुझे जमीन दो मैं तुम्हें नौकरी दूंगा। नेता प्रतिपक्ष विजय सिन्हा ने तंज कसते हुए कहा कि जो गलत है उस पर एक्शन होता है। इसमें क्या गलत है।

किरण देवी पहली बार विधायक बनी हैं। वह राजद के पूर्व विधायक और बाहुबली नेता अरुण यादव की पत्नी हैं, जिन्हें पिछले चुनाव में पहली बार राजद ने टिकट दिया था।

जमीन के बदले नौकरी के वे सात डील

डील संख्या-1 सीबीआई ने शुरुआती जांच में पाया कि 6 फरवरी, 2008 को पटना के किशुन देव राय ने अपनी जमीन काफी कम कीमत पर राबड़ी देवी के नाम कर दी यानी 3,375 वर्ग फीट जमीन सिर्फ 3.75 लाख रुपये में राबड़ी देवी को बेच दी। साथ ही इसी साल परिवार के तीन सदस्यों को राज कुमार सिंह, मिथिलेश कुमार और अजय कुमार को मध्य रेलवे मुम्बई में ग्रुप डी के पद पर नौकरी मिल गई।

डील संख्या-2 फरवरी, 2008 में पटना के महुआबाग के संजय राय ने भी सिर्फ 3.75 लाख रुपये में 3,375 वर्ग फीट जमीन राबड़ी देवी को बेच दी। सीबीआई ने अपनी जांच में पाया कि संजय राय के अलावा परिवार के दो अन्य सदस्यों को रेलवे में नौकरी मिल गई।

डील संख्या-3 पटना की रहने वाली किरण देवी ने नवम्बर, 2007 में सिर्फ 3.70 लाख रुपये में अपनी 80,905 वर्ग फीट जमीन लालू यादव की बेटी मीसा भारती को बेच दी। इसके बाद 2008 में सेंट्रल रेलवे मुंबई में किरण देवी के बेटे अभिषेक कुमार को नौकरी मिल गई।

डील संख्या-4 फरवरी, 2007 में पटना निवासी हजारी राय ने 9,527 स्क्वायर फीट जमीन दिल्ली की कंपनी एके इंफोसिस्टम प्राइवेट लिमिटेड को 10.83 लाख रुपए में बेच दी। बाद में हजारी राय के दो भतीजों दिलचंद कुमार और प्रेम चंद कुमार को वेस्ट-सेंट्रल रेलवे जबलपुर और साउथ-ईस्टर्न रेलवे कोलकाता में नौकरी मिल गई।

डील संख्या-5 सीबीआई ने पाया है कि एके इंफोसिस्टम के सभी अधिकार और संपत्ति साल 2014 में लालू प्रसाद यादव की बेटी और पत्नी को दे दिए गए थे। राबड़ी देवी ने 2014 में कंपनी के ज्यादातर शेयर खरीद लिए और बाद में कंपनी की डायरेक्टर बन गईं।

डील संख्या-6 पटना निवासी लाल बाबू राय ने मई, 2015 में मात्र 13 लाख रुपये में अपनी 1,360 वर्ग फीट की जमीन राबड़ी देवी के नाम कर दी। सीबीआई ने जांच की तो पता चला कि लाल बाबू राय के बेटे लाल चंद कुमार को 2006 में नॉर्थ-वेस्टर्न रेलवे जयपुर में नौकरी मिली थी।

डील संख्या-7 विशुन देव राय ने मार्च, 2008 में अपनी 3,375 वर्ग फीट की जमीन सीवान निवासी ललन चौधरी को दे दी। ललन के पोते पिंटू कुमार की साल 2008 में वेस्टर्न रेलवे मुंबई में नौकरी लग गई। इसके बाद ललन चौधरी ने फरवरी, 2014 में इस जमीन को हेमा यादव को दे दिया।

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