छपरा: त्योहारों को लेकर शहर में सफाई व्यवस्था को सुदृढ़ कराने हेतु छपरा नगर निगम में एक और नया कदम उठाया है. अब आपके एक फोन कॉल पर आपके आसपास पसरी गंदगी को नगर निगम के सफाई कर्मी द्वारा साफ कराया जायेगा. इसके तहत अगर किसी भी व्यक्ति को मोहल्ले में या फिर आसपास गंदगी नजर आती है. तो वह अपने संबंधित वार्ड पार्षद को फोन करके सफाई के लिए शिकायत करा सकता है. इसके बाद वार्ड पार्षद सफाई कर्मियों को बुलाकर उस स्थान को गंदगी से मुक्त करायेंगे.

इस सम्बंध ने नगर निगम में सभी 45 वार्ड पार्षदों के फोन नंबर उपलब्ध हैं. त्योहारों में नगर निगम के इस प्रयास से लोगों को गंदगी से समस्या से निजात मिलेगा. इसके तहत नगर निगम द्वारा सभी वार्ड पार्षदों को निर्देश भी दिए गए हैं.

गौरतलब है कि छपरा नगर निगम के विभिन्न क्षेत्रों में फैली गंदगी से लोग भी परेशान रहते हैं. लेकिन कई बार लोगों को जानकारी के अभाव में साफ सफाई कराने में मुश्किल होती है. नगर निगम ने सभी वार्ड पार्षदों को मोबाइल नंबर भी जारी कर दिए गए हैं. इसके तहत लोग निगम से वार्ड पार्षदों के नंबर भी ले सकते हैं. अगर वार्ड पार्षद शिकायत के बाद भी सफाई नहीं होती है. तो उसकी शिकायत नगर निगम में मेयर या संबंधित अधिकारी से कर सकते हैं. छपरा को गंदगी मुक्त कराने के लिए नगर निगम का प्रयास कारगर साबित होता दिख रहा है.

सफाई व्यवस्था को सुदृढ़ करने के लिए लगातार नगर निगम प्रयास कर रहा है. इसके अलावा दीपावली छठ में शहर में साफ सफाई को लेकर कई महत्वपूर्ण निर्देश भी दिए गए हैं. जिसके बाद शहर में विभिन्न स्थानों पर लगातार साफ सफाई युद्ध स्तर पर की जा रही है. शहर को साफ-सुथरा बनाने के लिए नगर निगम ने हाल ही में बोर्ड की हुई बैठक में कई अहम फैसले लिए थे. उसमें त्योहारों को शहर में कचरे उठाव से लेकर सफाई को लेकर वार्ड पार्षदों को भी निर्देश दिए गए थे. उसके तहत मोहल्लों की सफाई वार्ड पार्षदों की जिम्मे दी गयी है. साथ ही मुख्य सड़कों की सफाई एनजीओ की जिम्मेदारी है.

मेयर प्रिया सिंह ने बताया कि त्योहार में बाहर से लोग आते हैं.शहर में सफाई को हमारी प्राथमिकता हमेशा से रहेगी. कहीं भी गन्दगी दिखे तो लोग वार्ड पार्षद से शिकायत करें. लोगों को भी इसमें सहयोग करना होगा और गन्दगी फैलाने से बचना होगा.

छपरा: शहर के मुहल्लों की सफाई व्यवस्था को लेकर नगर परिषद ने कई बार मास्टर प्लान बनाया गया. लेकिन यह व्यस्था अब तक नही सुधरी.

नगर परिषद से अब छपरा नगर निगम बन गया है. सभी वार्डो में पर्याप्त तो नही फिर भी मुकम्मल सफाई कर्मी मौजूद है लेकिन सफाई कार्य सिर्फ वार्ड आयुक्त के घर एवं उसके आसपास ही दिखता है. शहर के दर्जनों मुहल्ले की नाली जाम है. जिससे पहली बारिश में मुहल्ला तालाब बन गया था. बारिश के पूर्व साफ सफाई को लेकर ना ही नगर निगम तत्पर है.

वार्ड आयुक्त तो आगामी चुनाव की तैयारी के लिए विकास कार्य के तहत नाला और सड़क निर्माण करवा रहे है. तालाब की स्थिति से बचने को लेकर वार्ड 33 के युवकों ने खुद ही बीड़ा उठाया और हाथ मे कुदाल लेकर सफाई में जुट गए. मुहल्ले के युवकों की सहयोग से उन्होंने न सिर्फ नाला को साफ किया बल्कि उन कचड़ों को भी फेंका.

सफाई कर रहे विपिन बिहारी ने बताया कि सफ़ाई को लेकर कभी भी कर्मी नही आते है. कभी कभार सफ़ाई होती भी है तो खाना पूर्ति होती हैं. नाले का कचड़ा बाहर निकलता है और दो तीन दिनों तक सूखने के लिए छोड़ दिया जाता है जिसके कारण वह पुनः उसी नाले में चला जाता है. बारिश आने वाली है जिसको देखते हुए हमने आसपास के युवकों के सहयोग से सफाई अभियान चलाकर अपने मुहल्ले को स्वच्छ बनाने का प्रयास कर रहे है.

छपरा: सरस्वती शिशु विद्या मंदिर के छात्रों द्वारा शहर के राजेन्द्र सरोवर की सफाई की गई. विद्यालय के छात्रों द्वारा सरोवर के सभी जगहों को साफ किया गया साथ ही सरोवर में कूड़ा-कचड़ा फेंकने आने वाले दर्जनों लोगों को सरोवर को स्वच्छ रखने के लिए प्रेरित किया गया.

विद्यालय के प्राचार्य रामदयाल शर्मा और विद्यालय के शिक्षकों के नेतृत्व में करीब तीन दर्जन से अधिक छात्रों द्वारा पूरे सरोवर की सफाई की गयी. सफाई को लेकर प्राचार्य रामदयाल शर्मा ने बताया कि विद्यालय द्वारा राजेन्द्र सरोवर की सफाई व्यवस्था का जिम्मा लिया गया है. जिसके तहत प्रत्येक रविवार को सरोवर की सफाई छात्रों द्वारा की जाती है. उन्होंने बताया कि आम जनता को भी शहर को साफ रखने में सहयोग करना चाहिए जिससे हमारा शहर साफ और स्वच्छ रहे.

उन्होंने सरोवर में कूड़ा-कचड़ा डालने वालो को निर्धारित स्थान पर कूड़ा डालने का आह्वान किया. सफाई अभियान में शामिल होने वाले छात्रो में मुख्य रूप से  नमन कुमार, चन्दन कुमार, आशीष, हर्ष, सहित दर्जनों छात्र शामिल थे.

पौराणिक काल में एक भगीरथ प्रयास हुआ और भगीरथी की आराधना और दृढ संकल्प के फलस्वरूप धरती पर गंगा का अवतरण हुआ. तब से लेकर आज तक विशाल हृदय लिए गंगा की धारा समाज के लिए समस्त पापों का नाश करने वाली मोक्षदायिनी नदी के रूप में हमारे बीच विद्यमान है.

गंगा पवित्र है, पर सुविधाभोगी समाज के आचरण ने गंगा की पवित्रता और उसकी अविरलता पर प्रश्नचिन्ह खड़ा कर दिया है. समय के साथ गंगा की निर्मलता प्रदूषित हो चुकी है. आज गंगा अपने वजूद को बचाने के लिए संघर्षरत है. गंगा का पानी अपनी स्वच्छता के लिए जाना जाता था, पर आज गंगा में जिस प्रकार गन्दगी बढ़ी है उसने इस मोक्षदायिनी नदी के अस्तित्व पर संकट ला दिया है.

शहरों का तेजी से हो रहा आधुनिकीकरण, बढ़ती जनसंख्या और सरकार और समाज की दोहरी मानसिकता का दुष्परिणाम आज गंगा के प्रदूषित होने की प्रमुख वजह है. सदियों से गंगा प्रदूषण की मार झेलती आ रही है. कभी कल-कारखानों की गन्दगी तो कभी शहरों में फ़ैल रही गन्दगी, सबको गंगा ने अपने अंदर समावेशित किया है किन्तु गंगा की सफाई को लेकर समाज में व्याप्त उदासीनता के कारण आज गंगा को बचाना एक चुनौती बनी हुई है.

हमारी रूढ़िवादी सोंच ने भी गंगा को काफी हद तक प्रभावित किया है. पूजा-पाठ एवं महत्वपूर्ण समय पर होने वाले स्नान के समय गंगा को प्रदूषण का जो दंश झेलना पड़ता है वो हमारी लापरवाही का नतीजा है. आज गंगा में प्रतिदिन हजारो टन कचड़ा किसी न किसी माध्यम से प्रवाहित किया जा रहा है पर हमें यह कभी नहीं भूलना चाहिए की मोक्षदायिनी गंगा को भी प्रदूषण से मुक्ति की आवश्यकता है.

वर्तमान केंद सरकार ने भी गंगा को पूर्णतः निर्मल बनाने के लिए कई योजनाओं का सृजन किया है पर उन योजनाओं का निराकरण तभी संभव है जब हम सब मिलकर गंगा की अविरलता और निर्मलता स्थापित रखने में सहयोग करें. गंगा से कचड़े को निकालने के लिए कई आधुनिक तकनीकों का सहारा लिया जा रहा है. पूरे देश में इसके अंतर्गत वृहत जागरूकता अभियान भी चलाया जा रहा है. देश और विदेश के एनजीओ की मदद से भी गंगा को स्वच्छ बनाने की दिशा में कई योजनाएं चल रही हैं पर हम सब को जीवन और मुक्ति देने वाली गंगा की धारा तभी निर्मल हो पाएगी जब पूरा देश एक साथ खड़ा होगा और ये निर्णय करेगा की हम गंगा को कभी प्रदूषित नहीं होने देंगे.

हम सब अगर एक दिशा में सार्थक प्रयास करें तो निश्चित ही गंगा प्रदूषण मुक्त हो सकती है. हम सब ने मिलकर फिर से एक भगीरथ प्रयास किया तो हमारे मुक्ति का मार्ग प्रशस्त करने वाली गंगा पुनः निर्मलता के साथ हमारे बीच अविरल रहेगी. बस गंगा को  जरूरत है आज ‘एक और भगीरथ की’.

छपरा: रोट्रेक्ट सारण के तत्वावधान में रविवार को सेमीनार का आयोजन किया गया. ‘प्रदूषित गंगा के बचाव एवम् निवारण’ विषयक इस सेमीनार का स्थानीय गुरुकुल पब्लिक स्कूल में आयोजन किया गया. 20160221_131047

कार्यक्रम का शुभारंभ मुख्य अतिथि रोटरी सारण के संस्थापक अध्यक्ष श्याम बिहारी अग्रवाल तथा रोटरी सारण के पूर्व अध्यक्ष पंकज कुमार ने दीप-प्रज्जवलित कर किया. 

 

रोट्रेक्ट सारण के तत्वावधान में आज स्थानीय गुरुकुल पब्लिक स्कूल में ‘प्रदूषित गंगा के बचाव एवम् निवारण’ विषय पर सेमीनार …

Posted by Chhapra Today on Sunday, February 21, 2016

इस अवसर पर वक्ताओं ने गंगा की सफाई को लेकर अपने विचार व्यक्त किये. इसके बाद सभी प्रतियोगियों को प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया गया.