प्रतिदिन जाति आधारित गणना के कार्यों की समीक्षा की जाएगी:  जिला पदाधिकारी

Chhapra: बिहार जाति आधारित गणना के तहत द्वितीय चरण के गणना का कार्य 15 अप्रैल 2023 से 15 मई 2023 तक चलेगा. गणना के कार्य हेतु अब तक किए गए तैयारियों की समीक्षा के निमित्त 12 अप्रैल 2023 को जिला पदाधिकारी अमन समीर की अध्यक्षता में कार्यालय कक्ष में एक बैठक आहूत की गई.

बैठक में जाति आधारित गणना के कार्यों हेतु बनाए गए प्रभारी पदाधिकारी सह वरीय उप समाहर्ता को जिला पदाधिकारी ने स्पष्ट रूप से निर्देश देते हुए कहा कि गणना का कार्य त्रुटि रहित संपन्न होना चाहिए.

इसके निमित्त सभी आवश्यक जानकारी प्रशिक्षण के जरिए दिया जाना आवश्यक है. उन्होंने आगे बताया की गणना का कार्य प्रारंभ होने के पश्चात प्रतिदिन वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए जिला के सभी संबद्ध पदाधिकारियों के द्वारा किए जा रहे कार्यों की समीक्षा की जाएगी. गणना कार्य में लापरवाही बरतने वालों के विरुद्ध कठोर अनुशासन की कार्रवाई की जाने की भी चेतावनी दी गई.

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पूर्वोत्तर रेलवे के जीएम ने किया निरीक्षण, थावे से लेकर छपरा ग्रामीण स्टेशन पर यात्री सुविधा की ली जानकारी

Chhapra: पूर्वोत्तर रेलवे के महाप्रबन्धक चन्द्र वीर रमण ने बुधवार को गोरखपुर- कप्तानगंज -थावे- मशरख-छपरा ग्रामीण रेल खण्ड का विण्डो ट्रेलिंग निरीक्षण किया।

विण्डो ट्रेलिंग निरीक्षण के दौरान महाप्रबन्धक चन्द्र वीर रमण ने इस खण्ड पर संरक्षा के साथ-साथ इस खण्ड पर चल रहे विकास कार्यों से संबंधित परियोजनाओं की प्रगति की समीक्षा की।

अपने निरीक्षण के क्रम में महाप्रबंधक चन्द्र वीर रमण ने अपने एक दिवसीय विन्डो ट्रेलिंग निरीक्षण कार्यक्रम में गोरखपुर- कप्तानगंज -पड़रौना-थावे-मसरख रेल खण्ड का निरीक्षण करते हुए छपरा ग्रामीण स्टेशन पहुँचे। छपरा ग्रामीण रेलवे स्टेशन पर परिचलनिक व्यवस्था में संरक्षा, स्टेशन पैनल, प्लेटफॉर्म, सामान्य यात्री हाल, टिकट काउन्टर, स्टेशन भवन, सर्कुलेटिंग एरिया, पार्किंग, यात्री प्रतीक्षालय एवं यात्रियों की सुख-सुविधाओं का निरीक्षण किया।

इस दौरान उन्होंने ग्रामीण स्टेशन के गुड्स शेड एवं माल यातायात हेतु बनी सड़क का भी निरीक्षण किया। उन्होंने छपरा ग्रामिण स्टेशन को यात्री यातयात हेतु खोले जाने के लिए उपलब्ध यात्री सुविधाओं का निरीक्षण किया और बताया की छपरा ग्रामीण स्टेशन को यात्री यातायात हेतु खोलने लिये अधिसूचना जारी हो गई है तथा शीघ्र है छपरा ग्रामीण स्टेशन पर रुकने/खुलने वाली सवारी गाड़ियों की अधिसूचना जारी की जायेगी. जिससे इस क्षेत्र के यात्रियों को सुविधा मिल सके।

इसके पूर्व महाप्रबंधक ने अपने एक दिवसीय विन्डो ट्रेलिंग निरीक्षण में कप्तानगंज, पड़रौना, थावे एवं मशरख स्टेशनों पर यात्री सुख सुविधाओं, संरक्षा, परिचलनिक व्यवस्था एवं विकास कार्यों का निरीक्षण किया और संबंधित को दिशा निर्देश दिया।

इस दौरान उन्होंने क्षेत्रीय जन प्रतिनिधियों से बात कर उनकी मांगों को सुना और यथोचित मांगो को पूरा करने का निर्देश दिया इसके साथ ही उन्होंने क्षेत्रीय पत्रकारों से वार्ता कर विकास योजनाओं एवं उनके कियान्वयन की जानकारी साझा की।

अपने विन्डो ट्रेलिंग निरीक्षण के दौरान महाप्रबंधक ने गोरखपुर- थावे-मसरख-छपरा ग्रामीण रेल खण्ड के रेल पथ की डीप स्क्रीनिंग के साथ ओवरहेड ट्रैक्शन लाइन के एलाइनमेंट की जाँच की और विकास कार्यों की प्रगति की समीक्षा की।

इस निरीक्षण में प्रमुख मुख्य इंजीनियर रंजन यादव, मंडल रेल प्रबंधक रामाश्रय पाण्डेय,मुख्य यात्री यातायात प्रबन्धक आलोक कुमार सिंह,अपर मंडल रेल प्रबंधक(प्रशासन) राहुल श्रीवास्तव, वरिष्ठ मंडल इंजीनियर(समन्वय) राकेश रंजन, वरिष्ठ मंडल इंजीनियर-1 ऋषि श्रीवास्तव, वरिष्ठ मंडल इंजीनियर-2 सत्यम सिंह, वरिष्ठ मंडल वाणिज्य प्रबंधक संजीव शर्मा, वरिष्ठ मंडल सिगनल एवं दूरसंचार इंजिनियर-2 यशवीर सिंह, वरिष्ठ मंडल विद्युत इंजिनियर(कर्षण) आर एन सिंह, वरिष्ठ मण्डल विद्युत इंजीनियर (सामान्य) पंकज केशरवानी, वरिष्ठ मण्डल संरक्षा अधिकारी आशुतोष शुक्ला, वरिष्ठ मंडल यान्त्रिक इंजीनियर सत्य प्रकाश श्रीवास्तव एवं वरिष्ठ रेल अधिकारी उपस्थित थे।

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Chhapra: छपरा नगर निगम के नए नगर आयुक्त सुमित कुमार ने बुधवार को पदभार ग्रहण कर लिया. सुमित कुमार भारतीय प्रशासनिक सेवा के 2019 बैच के अधिकारी हैं. https://youtu.be/wT_VG4USzuA/

https://fb.watch/jS8EOBGJmr/?mibextid=Nif5oz/

उन्होंने पदभार ग्रहण करने के बाद chhapratoday.com से बातचीत में कहा कि शहर की समस्याओं को लेकर उनके द्वारा वाडो का भ्रमण किया जाएगा. जिसके बाद साफ सफाई की व्यवस्था कैसे सुचारू और सुदृढ़ हो उसके लिए योजना बनाई जाएगी. साथ ही नगर निगम के कर्मियों से खनुआ नाला की सफाई और बरसात के दिनों में होने वाले जलजमाव आदि समस्याओं को लेकर जानकारी हासिल करने के बाद उसे दूर करने के प्रयास किए जाएंगे.

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Chhapra: शिक्षक नेता डॉ विश्वजीत सिंह चंदेल ने कहा कि शिक्षक इस सरकार से राज्य कर्मी के दर्जे और समान काम समान वेतन की उम्मीद लगाए बैठे थे लेकिन यह नियमावली शिक्षकों के साथ चुनाव के दौरान किया गया वादा धोखाधड़ी के रूप में सामने आया है, जिसका पुरजोर विरोध किया जाएगा।

राज्य कर्मी बनने का शिक्षकों का सपना सपना ही रह गया और सरकार झटके में शिक्षकों के साथ किए वादे को पैरों तले कुचल डाली है।

उन्होंने कहा कि ”नई नियमावली पूर्व से कार्यरत शिक्षकों के साथ धोखा और टेट /स्टेट उत्तीर्ण अभ्यर्थियों के लिए छलावा है” । पूर्व से कार्यरत शिक्षक सरकार से उम्मीद लगाए बैठे थे कि नई नियमावली के साथ हीं उन्हें राज्य कर्मी का दर्जा मिल जाएगा.

सत्तारूढ़ दल द्वारा समान काम समान वेतन और पुरानी पेंशन देने को लेकर जो चुनावी वायदे किये थे उसे पूरा करेगी. लेकिन नई नियमावली से एक नए संवर्ग का जन्म हो गया है। पूर्व से जो 9 हजार से अधिक नियोजन इकाइयां थी, वह पूर्ववत बनी ही रह गई. ऐसे में इस नियमावली से किसी को क्या फायदा होगा ? जो टेट और सी टेट उत्तीर्ण अभ्यर्थी हैं, उन्होंने जब बीएड का एंट्रेंस एग्जाम दिया तब उनका नामांकन बीएड में हुआ. फिर बीएड में उन्होंने दो बार परीक्षा दी. तब जाकर वह बीएड पास किए. बीएड पास करने के बाद टेट और सीटेट जैसी परीक्षा पास कर बहाली की प्रतीक्षा कर रहे थे । अब उन्हें फिर एक नई परीक्षा के दौर से गुजरना पड़ेगा ।

बिहार के नौजवान जीवन भर इम्तिहान ही देते रहेंगे ?
शिक्षक नेता डॉ विश्वजीत सिंह चंदेल ने सरकार से पूछा है कि बिहार के नौजवान जीवन भर इम्तिहान ही देते रहेंगे ? नई नियमावली के साथ ही पूर्व से कार्यरत शिक्षकों को उम्मीद थी कि उनका स्थानांतरण हो जाएगा, लेकिन जब नियोजन इकाई खत्म नहीं हुई तो उनका स्थानांतरण कैसे होगा?

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बिहार के नौजवान जीवन भर इम्तिहान ही देते रहेंगे?: चंदेल

Chhapra: शिक्षक नेता डॉ विश्वजीत सिंह चंदेल ने कहा कि शिक्षक इस सरकार से राज्य कर्मी के दर्जे और समान काम समान वेतन की उम्मीद लगाए बैठे थे लेकिन यह नियमावली शिक्षकों के साथ चुनाव के दौरान किया गया वादा धोखाधड़ी के रूप में सामने आया है, जिसका पुरजोर विरोध किया जाएगा.

राज्य कर्मी बनने का शिक्षकों का सपना सपना ही रह गया और सरकार झटके में शिक्षकों के साथ किए वादे को पैरों तले कुचल डाली है.

उन्होंने कहा कि ”नई नियमावली पूर्व से कार्यरत शिक्षकों के साथ धोखा और टेट /स्टेट उत्तीर्ण अभ्यर्थियों के लिए छलावा है” । पूर्व से कार्यरत शिक्षक सरकार से उम्मीद लगाए बैठे थे कि नई नियमावली के साथ हीं उन्हें राज्य कर्मी का दर्जा मिल जाएगा.

सत्तारूढ़ दल द्वारा समान काम समान वेतन और पुरानी पेंशन देने को लेकर जो चुनावी वायदे किये थे उसे पूरा करेगी. लेकिन नई नियमावली से एक नए संवर्ग का जन्म हो गया है। पूर्व से जो 9 हजार से अधिक नियोजन इकाइयां थी, वह पूर्ववत बनी ही रह गई. ऐसे में इस नियमावली से किसी को क्या फायदा होगा ? जो टेट और सी टेट उत्तीर्ण अभ्यर्थी हैं, उन्होंने जब बीएड का एंट्रेंस एग्जाम दिया तब उनका नामांकन बीएड में हुआ. फिर बीएड में उन्होंने दो बार परीक्षा दी. तब जाकर वह बीएड पास किए. बीएड पास करने के बाद टेट और सीटेट जैसी परीक्षा पास कर बहाली की प्रतीक्षा कर रहे थे । अब उन्हें फिर एक नई परीक्षा के दौर से गुजरना पड़ेगा.

बिहार के नौजवान जीवन भर इम्तिहान ही देते रहेंगे ?

शिक्षक नेता डॉ विश्वजीत सिंह चंदेल ने सरकार से पूछा है कि बिहार के नौजवान जीवन भर इम्तिहान ही देते रहेंगे ? नई नियमावली के साथ ही पूर्व से कार्यरत शिक्षकों को उम्मीद थी कि उनका स्थानांतरण हो जाएगा, लेकिन जब नियोजन इकाई खत्म नहीं हुई तो उनका स्थानांतरण कैसे होगा?

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Chhapra: शिक्षक नियमावली 2023 में संशोधन नही हुआ तो सड़क पर आंदोलन किया जाएगा. उक्त बातें भाजपा देता सह पूर्व विधान परिषद प्रत्याशी डॉ धर्मेंद्र कुमार सिंह ने प्रेस विज्ञप्ति के माध्यम से कहीं.

उन्होंने कहा कि शिक्षक नियमावली 2023, नियोजित शिक्षकों के साथ धोखा है। वर्षों से प्रतीक्षारत लगभग साढ़े तीन लाख नियोजित शिक्षक राज्यकर्मी का दर्जा मिलने का आस लगाए हुए थे। उन्हें आशा थी कि सरकार अपने चुनावी वायदों के अनुरूप नए नियमावली में बिना शर्त राज्यकर्मी का दर्जा देगी। साथ ही पूर्ण वेतनमान भी लागू करेगी एवं ऐच्छिक स्थानान्तरण की सुविधा भी प्राप्त होगी।

लेकिन सरकार के द्वारा एक बार पुनः नए नियमावली लाकर पूर्व से नियोजित शिक्षकों के साथ धोखा एवं TET/CTET उतीर्ण अभ्यर्थियों के साथ छलावा किया है।

उन्होंने कहा कि सरकार इस अनुचित शर्त को अविलंब संशोधित करें। अन्यथा बाध्य होकर शिक्षक हित में सड़क पर आंदोलन के लिए उतरूंगा।

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शिक्षक भर्ती नियमावली के खिलाफ प्रदर्शन, नियमावली में नही हुआ संशोधन तो विद्यालय में होगी तालाबंदी: समरेंद्र

Chhapra: बिहार में शिक्षक बहाली को लेकर जारी नई नियमावली के आने के साथ हैं विरोध शुरू हो गया है. नई नियमावली को लेकर शिक्षकों में रोष है.

राज्य के सरकारी विद्यालयों में कार्यरत नियोजित शिक्षक इस नई नियमावली में अपने आप को ठगा महसूस कर रहे हैं. नई नियमावली के प्रति आक्रोश जताते हुए मंगलवार को बिहार परिवर्तनकारी प्रारंभिक शिक्षक संघ कि सारण जिला इकाई द्वारा विरोध प्रदर्शन किया गया.

जिला अध्यक्ष समरेंद्र बहादुर सिंह के नेतृत्व में सैकड़ों शिक्षकों द्वारा आक्रोश मार्च निकालते हुए नगरपालिका चौक पर नई शिक्षक भर्ती नियमावली की प्रतियां जलाई गई, साथ ही साथ मुख्यमंत्री नीतीश कुमार, शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर प्रसाद हाय हाय के नारे भी लगाए गए.

इस दौरान परिवर्तनकारी शिक्षक संघ के जिला अध्यक्ष समरेंद्र बहादुर सिंह ने कहा कि सरकार ने राज्य में नई शिक्षक भर्ती नियमावली 2023 का निर्माण कर कार्यरत नियोजित शिक्षकों को ठगने का काम किया है. नई नियमावली में नियोजित शिक्षकों का कोई स्थान नहीं है जिससे वह अधर में है.

विगत 15 वर्षों से कार्यरत नियोजित शिक्षकों से किए गए स्थानांतरण के वादे पर सरकार मुकर गई. उन्होंने कहा कि नई नियमावली नियोजित शिक्षकों के साथ धोखा है, नई शिक्षक भर्ती नियमावली ने महिलाओं को काफी आहत किया है.

राज्य की हजारों महिला शिक्षिका स्थानांतरण के इंतजार में थी लेकिन सरकार ने इस नियमावली में उन्हें परीक्षा में शामिल होकर नियमित शिक्षक बनने के उपरांत ही स्थानांतरण का मौका पाने की बात कही है.

श्री सिंह ने कहा कि सरकार अविलंब इस नई नियमावली में सुधार करें, सर्वप्रथम राज्य में कार्यरत नियोजित शिक्षकों को राज्य कर्मी का दर्जा प्रदान करें, स्थानांतरण की प्रक्रिया शुरू करें, इसके बाद ही नई प्रक्रिया प्रारंभ करें.

उन्होंने कहा कि सरकार अगर हमारी मांगों को नहीं मानती है तो जल्द ही उन्हें सरकारी विद्यालयों में ताले नजर आएंगे. उन्होंने सभी शिक्षकों से आह्वान किया कि वह संगठित होकर अपने इस जायज मांग में सरकार के खिलाफ आवाज को बुलंद करें.

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गोरखपुर छावनी में रेलवे ट्रैक का होगा नवीनीकरण, 15 दिनों के लिए इन ट्रेनों को किया गया निरस्त

Varanasi: रेल प्रशासन द्वारा यात्री सुविधाओं के उन्नयन एवं परिचालन सुगमता हेतु पूर्वोतर रेलवे के गोरखपुर छावनी स्टेशन के लाइन नंबर 06 और 07 के प्लेटफ़ॉर्म संख्या 03 का सम्पूर्ण ट्रैक नवीनीकरण कार्य के परिप्रेक्ष्य में 15 अप्रैल से 29 अप्रैल, 2023 तक 15 दिन के यातायात ब्लॉक के कारण गाड़ियों का निरस्तीकरण किया जा रहा है.

निरस्तीकरण

1. गोरखपुर से खुलने वाली गाड़ी संख्या 05156 गोरखपुर- छपरा अनारक्षित सवारी गाड़ी दिनांक 15 अप्रैल से 29 अप्रैल,2023 तक निरस्त रहेगी ।

2. छपरा से खुलने वाली गाड़ी संख्या 05155 छपरा- गोरखपुर अनारक्षित सवारी गाड़ी दिनांक 15 अप्रैल से 29 अप्रैल,2023 तक निरस्त रहेगी ।

3. छपरा कचहरी से खुलने वाली गाड़ी संख्या 15113 छपरा कचहरी- गोमतीनगर मेल एक्सप्रेस दिनांक 15 अप्रैल से 29 अप्रैल,2023 तक निरस्त रहेगी ।

4. गोमतीनगर से खुलने वाली गाड़ी संख्या 15114 गोमतीनगर- छपरा कचहरी मेल एक्सप्रेस दिनांक 15 अप्रैल से 29 अप्रैल,2023 तक निरस्त रहेगी ।

5. वाराणसी सिटी से खुलने वाली गाड़ी संख्या 15130 वाराणसी सिटी-गोरखपुर मेल एक्सप्रेस दिनांक 15 अप्रैल से 29 अप्रैल,2023 तक निरस्त रहेगी ।

6. गोरखपुर से खुलने वाली गाड़ी संख्या 15129 गोरखपुर- वाराणसी सिटी गोरखपुर मेल एक्सप्रेस दिनांक 15 अप्रैल से 29 अप्रैल,2023 तक निरस्त रहेगी ।

7. वाराणसी सिटी से खुलने वाली गाड़ी संख्या 15132 वाराणसी सिटी-गोरखपुर मेल एक्सप्रेस दिनांक 15 अप्रैल से 29 अप्रैल,2023 तक निरस्त रहेगी ।

8. गोरखपुर से खुलने वाली गाड़ी संख्या 15131 गोरखपुर- वाराणसी सिटी मेल एक्सप्रेस दिनांक 15 अप्रैल से 29 अप्रैल,2023 तक निरस्त रहेगी ।

9. प्रयागराज रामबाग से खुलने वाली गाड़ी संख्या 12538 प्रयागराज रामबाग-मुजफ्फरपुर बापूधाम सुपर फ़ास्ट एक्सप्रेस दिनांक 17 अप्रैल से 26 अप्रैल,2023 तक निरस्त रहेगी ।

10. मुजफ्फरपुर से खुलने वाली गाड़ी संख्या 12537 मुजफ्फरपुर- प्रयागराज रामबाग बापूधाम सुपर फ़ास्ट एक्सप्रेस बापूधाम सुपर फ़ास्ट एक्सप्रेस दिनांक 17 अप्रैल से 26 अप्रैल,2023 तक निरस्त रहेगी ।

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Chhapra: भारतीय प्रशासनिक सेवा के 2015 बैच के अधिकारी अमन समीर ने मंगलवार को सारण के जिलाधिकारी का पदभार ग्रहण किया. जिलाधिकारी के कार्यालय कक्ष में निवर्तमान जिलाधिकारी राजेश मीणा ने उन्हें पदभार सौंपा.

सामान्य प्रशासन विभाग ने शनिवार को राज्य में भारतीय प्रशासनिक सेवा से जुड़े अधिकारियों का तबादला किया था. इस तबादले में सारण के निवर्तमान जिलाधिकारी राजेश मीणा को निबंधक सहयोग समितियां बिहार पटना में तबादला किया गया था. वही बक्सर में जिलाधिकारी के रूप में पदस्थापित अमन समीर को सारण का नया जिला पदाधिकारी बनाया गया था.

सारण के नए जिलाधिकारी ने पदभार ग्रहण करने के बाद कहा कि सरकार की योजनाओं का लाभ आम लोगों तक पहुंचे इसके लिए प्रशासनिक कदम उठाए जाएंगे. जिले में चल रही विकासात्मक कार्यों में तेजी लाई जाएगी.

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(प्रशांत सिन्हा)

गर्मियां शुरु हो चुकी है। पेयजल की किल्लत भी इसके साथ शुरु हो जायेगी। हालांकि पेयजल की किल्लत तो सालों भर रहता है। जल एक ऐसा तत्व है जिसके बिना जिंदगी की कल्पना भी नहीं की जा सकती। पानी की महत्ता उस प्यासे गले से पूछिए जिसे एक एक बूंद अमृत सरीखी लगती है। कोई भी तरल जल का विकल्प नही बन सका है।
जल से प्रारंभ होकर जल में लीन हो जाने वाले हमारे इस शरीर में लगभग 70 प्रतिशत जल है। इसी पानी के कारण हमारी धरती दूसरे ग्रहों से भिन्न है। धरती पर इंसानियत तभी पनपी क्योंकि वहां अमृत सरीखा पानी प्रचुर मात्रा में था। तो सारा पानी गया कहां ? हम इंसान की नासमझी के कारण जल संपदा दिनोंदिन न सिर्फ कम होता जा रहा है, बल्कि प्रदुषित होता जा रहा है। इस संपदा पर आज संकट के बादल मंडरा रहे हैं। चूकि जल पर जीवन निर्भर है इसलिए यह कह सकते हैं कि इसके साथ हमारा जीवन भी संकटग्रस्त होता जा रहा है। यह खतरा दिन प्रतिदिन गहराता जा रहा है। इसकी गंभीरता प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ” मन की बात ” कार्यक्रम मे जिक्र करने से लगता है जिसमें उन्होंने जल संरक्षण को एक जन आंदोलन बनाने का सुझाव दिया था। देश में गहराते संकट को देखते हुए मोदी सरकार ने ” जल शक्ति मंत्रालय ” का गठन किया। एशियाई विकास बैंक के अनुसार भारत में 2030 तक 50 प्रतिशत पानी की कमी होगी। एक आंकड़े के अनुसार दुनिया में 2.2 अरब लोगों को पीने का पानी नहीं मिल रहा है।
भारत में जल प्रबंधन की करीब एक सदी से टिकाऊ राह नही रही है। 1970 तक यहां की जनसंख्या 5.5 करोड़ थी, तब इसका प्रबंधन किया जा सकता था। उस वक्त शहरीकरण एवं औद्योगिकरण कम हुआ था। 2022 भारत की आबादी एक अरब 40 करोड़ के लगभग पहुंच गईं। बढ़ती जनसंख्या और शहरीकरण ने जल श्रोतों के अस्तित्व को ही खतरे में डाल दिया है। इसका सीधा असर भूजल स्तर पर पड़ रहा है क्योंकि भूजल स्तर को बढ़ाने में प्राकृतिक जल श्रोत ही सबसे बेहतर माध्यम है। लेकिन शहरीकरण होने से तालाबों को खत्म कर दिया गया है। लेकिन हमें यह समझना होगा कि बेहतर कल के लिए जल संग्रहण बहुत ज़रूरी है। सभी भवनों में सख्ती से वर्षा जल संग्रहण प्रणाली की व्यवस्था और वर्तमान समय में मौजूद जलाशयों का जीर्णोधार किया जाए तो शहरों में धरा जल से भर उठेगी। नए जलाशयों को विकसित करके एवं मौजूद जलाशयों को पुनर्जीवित कर दिया जाए तो कुछ हद तक पानी की समस्या को समाप्त की जा सकती है।। भवनों में वर्षा जल संग्रहण प्रणाली लगाने का प्रावधान करना और नियम को सख्ती से लागू करने की जरूरत है। सिर्फ फाइलों में नही रहे इसका ध्यान रखना होगा। तमाम छोटे बड़े शहरों में सीवरेज के पानी को देशी ढंग से ट्रीट कर खेती के उपयोग में लाकर बहुत बड़े स्तर पर पानी की बचत किया जा सकता है। सीवरेज के ट्रीट किए पानी को खेतों की सिंचाई के लिए इस्तेमाल करने से फसलों में अतिरिक्त खाद डालने की भी जरूरत नहीं पड़ेगी। साथ ही धरती के नीचे में ट्यूबवेल के जरिए पानी निकालने के लिए खर्च किए जाने वाली बिजली व डीजल की भी बचत होगी। ट्रीट किए पानी खेती के लिए अमृत की तरह है और कुदरती खेती होने से इंसान बीमारियों से भी बचेगा। पानी को दोबारा उपयोग किए जाने से साफ पानी का खज़ाना हमारे पास सुरक्षित रह सकेगा। फसलों का न्यूनतम समर्थन मूल्य में सबसे महंगी बिकने वाली लेकिन अधिक पानी सोखने वाली फसलों जैसे धान, गेहूं, कपास, गन्ना आदि की खेती करने वाले किसानों को हतोत्साहित करने की जरूरत है। जिन राज्यों में इनकी खेती हो रही है वहां भूजल का स्तर इतना नीचे चला गया है कि नलकूपों से पानी निकालना मुश्किल हो गया है। मगर यह भी सुनिश्चित करना होगा कि विकल्प में किसान जिन कम पानी लेने वाली फसल उगाएं उनका न्यूनतम समर्थन मूल्य किसानों के हक में हो ताकि उन फसलों को उगाने के लिए प्रोत्साहन मिल सकें। शीतल पेय बनाने वाली कंपनियों के भूजल दोहन से भी जल संकट गहराने की खबर है जिसे अविलंब रोकना होगा।
सरकारी मदद से नदियों को साफ करना मुश्किल काम नहीं है। देश भर में कार सेवा द्वारा अभियान चलाए जा सकते हैं। नदियों के अलावा तालाबों, छोटी झीलों का भी संरक्षण होना चाहिए। इससे मिट्टी की गाद निकलेगी। इससे उनमें वर्षा जल इकट्ठा होने लगेगा तो भूजल रिचार्ज होने लगेगा। बरसात का पानी की बर्बादी रुकेगी और और बाढ़ नही आएगी। इस पानी को जमा कर फिर से उपयोग में लाया जा सकेगा। इजरायल और सिंगापुर जैसे देश से हम इस बाबत बहुत कुछ सीख सकते हैं। इजरायल और सिंगापुर के लोगों ने वर्षा जल संचय के साथ पानी का बेहतर इस्तेमाल कर जल संकट से छुटकारा पा लिया है।

हर नागरिक को जागरूक करना होगा कि हमें पानी को हर कीमत पर सहेजना है।

 

लेखक पर्यावरण विद्द हैं.

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राबड़ी आवास पर आयोजित इफ्तार पार्टी में पहुंचे सीएम नीतीश कुमार के चिराग पासवान ने छुए पैर

Patna: बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी के आवास पर इफ्तार पार्टी का आयोजन किया गया. इफ्तार पार्टी के मौके पर तेजस्वी यादव, सीएम नीतीश कुमार, पूर्व सीएम जीतनराम मांझी, चिराग पासवान, पप्पू यादव सहित बिहार की राजनीति के कई दिग्गज मौजूद थे.

इफ्तार पार्टी में अलग ही रंग दिख रहा था. इस दौरान लोजपा रामविलास के सुप्रीमो व जमुई सांसद ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का पैर छुआ और आशीर्वाद लिया.

मीडिया से बातचीत करते हुए चिराग ने कहा कि वे पहले भी राजद के इफ्तार पार्टी में शामिल हो चुके हैं यह कोई पहली बार नहीं है.

बीते दिन शुक्रवार को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने इफ्तार पार्टी का आयोजन किया था, जिसमें बीजेपी को छोड़ सभी दलों के नेता शामिल हुए थे. वही शनिवार को जेडीयू ने हज भवन में इफ्तार पार्टी का आयोजन किया और रविवार को आरजेडी ने राबड़ी आवास में दावत-ए-इफ्तार का आयोजन किया जिसमें सैकड़ों रोजेदार शामिल हुए.

मुख्यमंत्री नीतीश कुमार, जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह, मंत्री विजय कुमार चौधरी पैदल मार्च कर 7 सर्कुलर रोड से निकलकर पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी के आवास पर पहुंचे और इफ्तार पार्टी में शामिल हुए.

इस मौके पर बिहार विधानसभा अध्यक्ष अवध बिहारी चौधरी, जन अधिकार पार्टी के सुप्रीमो व पूर्व सांसद पप्पू यादव, मंत्री बिजेन्द्र यादव, विधान परिषद के सभापति देवेश चंद्र ठाकुर, चिराग पासवान सहित कई नेता इफ्तार में शामिल हुए.

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वाराणसी: दक्षिण पूर्व रेलवे के खड़गपुर एवं आद्रा मण्डलों के विभिन्न रेल खण्डों पर आदिवासी कुर्मी समाज के आन्दोलन के कारण गाड़ियों का संचलन निम्नवत निरस्त रहेगा।

– टाटा से 10 अप्रैल, 2023 को प्रस्थान करने वाली 18181 टाटा-थावे एक्सप्रेस निरस्त रहेगी।

– थावे से 09 अप्रैल, 2023 को प्रस्थान करने वाली 18182 थावे-टाटा एक्सप्रेस निरस्त रहेगी।

– गोरखपुर से 09 एवं 10 अप्रैल, 2023 को प्रस्थान करने वाली 15028 गोरखपुर-हटिया एक्सप्रेस निरस्त रहेगी।

– हटिया से 09 एवं 10 अप्रैल, 2023 को प्रस्थान करने वाली 15027 हटिया-गोरखपुर एक्सप्रेस निरस्त रहेगी।

– गोरखपुर से 10 अप्रैल, 2023 को प्रस्थान करने वाली 15022 गोरखपुर-शालिमार एक्सप्रेस निरस्त रहेगी।

– शालिमार से 11 अप्रैल, 2023 को प्रस्थान करने वाली 15021 शालिमार-गोरखपुर एक्सप्रेस निरस्त रहेग.

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