Chhapra: बिहार राज्य विश्वविद्यालय एवं महाविद्यालय कर्मचारी महासंघ जयप्रकाश विश्वविद्यालय प्रक्षेत्र ने प्रेस विज्ञप्ति जारी कर एक छात्र संगठन द्वारा कर्मचारियों के वेतन निर्धारण को गलत ठहराते हुए विश्वविद्यालय द्वारा तीस करोड़ राशि के भुगतान में घोटाले के आरोपो को गलत बताया है.

कर्मचारी महासंघ के अध्यक्ष और सचिव के हस्ताक्षर से जारी विज्ञप्ति में इसकी निंदा करते हुए इसे समुचित तथ्यों को बिना जाने समझे ही आवेश में आकर जारी किया गया बयान करार दिया है. साथ ही कुलपति तथा विश्वविद्यालय की छवि को धूमिल तथा समाज को दिग्भ्रमित करने का आरोप लगाया है.

महासंघ ने कहा है कि वेतन का निर्धारण सर्वोच्च न्यायालय द्वारा सिविल अपील पारित न्यायादेश के अनुपालन में राज्य सरकार द्वारा निर्गत पत्र के आलोक में किया गया है. कर्मचारी संघ ने बताया है कि वेतनमान के अनुसार ही छठे वेतन आयोग द्वारा किए गए प्रावधानों के तहत विश्वविद्यालय द्वारा वेतन का निर्धारण किया गया है जिसकी पुष्टि राज्य सरकार के पत्र द्वारा किया जा सकता है.

बता दें कि रविवार को शोष विद्यार्थी संगठन ने विश्वविद्यालय में वेतन निर्धारण में अनियमितता का आरोप लगते हुए जांच की मांग की थी.

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Chhapra: जयप्रकाश विश्वविद्यालय में एक ओर जहाँ शिक्षकों और कर्मचारियों के वेतन और पेंशन पैसे के आभाव में ससमय नहीं मिल रहे है. वही यहाँ कार्यरत कुछ कर्मियों को गलत तरीके से निर्धारित वेतनमान से अधिक वेतन का भुगतान किये जाने का मामला प्रकाश में आया है.

रविवार को शोध विद्यार्थी संगठन (आरएसए) के कार्यालय में आयोजित प्रेस वार्ता में संगठन ने इस मामले को उजागर करते हुए लोकायुक्त से जांच की मांग की है. संगठन ने विश्वविद्यालय प्रशासन पर वित्तीय अनियमितता का आरोप लगाते हुए निगरानी से भी जांच कराये जाने और दोषियों पर कार्रवाई की मांग की है.

शोध विद्यार्थी संगठन के  संयोजक विवेक कुमार विजय, कुणाल सिंह, सह संयोजक मनीष कुमार मिंटू, विश्वविद्यालय अध्यक्ष अर्पित राज गोलू, जगदम
महाविद्यालय छात्र संघ अध्यक्ष रणवीर सिंह, पृथ्वी चंद्र विज्ञान महाविद्यालय अध्यक्ष आशीष कुमार, रामजयपाल महाविद्यालय छात्र संघ अध्यक्ष
मनीष कुमार, काउंसिल मेंबर अभिषेक यादव, सोनू राय, पुनम कुमारी, छात्रा प्रमुख निधि, रोहिणी कुमारी, गौतम राय, राजकुमार सिंह, प्रवक्ता भूषण
सिंह ने पत्रकारों को बताया कि माननीय उच्च न्यायालय ने न्यायिक आदेश पर बिहार के सभी विश्वविद्यालयों के शिक्षकेत्तर  कर्मचारियों के लिए सुनिश्चित वृत्ति उन्नयन योजना को लागू कर उसके आधार पर वेतन निर्धारण कर बकाया वेतन का भुगतान करने का आदेश सरकार द्वारा दिया गया था. जिसके आलोक में जेपीयू के कुलपति ने कर्मचारियों के वेतन के निर्धारण के लिए एक उच्च स्तरीय कमिटी बनाई. इस कमिटी में प्राध्यापकों के साथ एक सहायक के रूप में कर्मचारी को भी सदस्य बनाया गया. जबकि नियमानुसार वेतन निर्धारण समिति में कोई कर्मचारी पूर्णतः सदस्य नामित नहीं हो सकता. जिसके द्वारा निर्धारित वेतनमान से अधिक वेतनमान निर्धारित किया गया और सदस्यों ने बिना जांच पड़ताल किये उस पर हस्ताक्षर कर दिए.

उन्होंने बताया कि शिक्षा विभाग के आदेशानुसार 20.12.2000 के बाद नियुक्त कर्मचारी निम्न वर्गीय लिपिक कहे जायेंगे तथा उन्हें 3050-4590 का वेतनमान अनुमान्य है. 1 जनवरी 2006 से पुनरीक्षित वेतनमान के तहत 5200-20200 तथा ग्रेड 1900 का वेतनमान अनुमान्य था लेकिन सुनियोजित तरीके से 20 दिसम्बर 2000 के बाद नियुक्त कर्मचारियों को 4000-6000 से वेतनमान में वेतन निर्धारित कर उन्हें 1900 के बदले 2400 ग्रेड पे के आधार पर बकाया वेतन का भुगतान किया गया जो की घोर वित्तीय अनियमितता का घोतक है.

इस विषय पर बिहार सरकार ने कुलपति को पत्र भेजकर शिक्षकों और शिक्षकेतर कर्मचारियों के वेतन निर्धारण के सत्यापन हेतु अभिलेख भेजने का निर्देश जारी किया गया था. बावजूद इसके अभिलेख नहीं भेजे गए. उन्होंने इस मामले को उजागर करते हुए जांच करा कर दोषियों पर कार्रवाई की मांग की है.

आरएसए के इस बड़े खुलासे पर विश्वविद्यालय का पक्ष जानने के लिए विश्वविद्यालय पदाधिकारियों से संपर्क करने का प्रयास किया गया. समाचार प्रेषण तक उनसे सम्पर्क नहीं हो सका था.

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छपरा: जयप्रकाश विश्व विद्यालय में स्नात्तकोत्तर भौतकी प्रथम एवं तृतीय सेमेस्टर की आंतरिक परीक्षा 16 फ़रवरी से आयोजित की जाएगी.

भौतिकी के HOD डॉ ओम सिंह ने बताया कि भौतिकी विषय से स्नात्तकोत्तर करने वाले प्रथम व तृतीय सेमेस्टर के छात्र विभाग से परीक्षा की विस्तृत जानकारी प्राप्त कर सकते हैं.

Chhapra: जयप्रकाश विश्वविद्यालय में मानविकी, वाणिज्य और विज्ञान संकायों में अध्यक्षों की नियुक्ति की गयी है.

विश्वविद्यालय प्रशासन में विज्ञान विभाग के संकाय अध्यक्ष के रूप में कुलानुशासक एवं स्नातकोत्तर रसायन विभाग के अध्यक्ष प्रो डॉ उमाशंकर यादव को नियुक्त किया है. वही मानविकी संकाय की अध्यक्ष के रूप में हिंदी विभाग की विभागाध्यक्ष प्रो डॉ सुधा बाला और वाणिज्य संकाय के अध्यक्ष के रूप में प्राध्यापक प्रो डॉ लक्ष्मण सिंह को नियुक्त किया गया है.

बताते चले की इसके पूर्व में तीनों संकायों के अध्यक्षों का कार्यकाल पूरा हो गया है. जिसे लेकर विश्वविद्यालय ने नियुक्ति की है.

Chhapra: आर एस ए के कार्यकर्ताओं के द्वारा नगर पालिका चौक पर जय प्रकाश विश्वविद्यालय के कुलपति प्रोफ़ेसर डॉ हरिकेश सिंह का पुतला दहन किया गया. मालूम हो कि गुरुवार को स्नातक सत्र 13-16 का परीक्षा प्रपत्र भरने की तिथि पर रोक लगाने के खिलाफ पुतला दहन किया गया. पुतला दहन कार्यक्रम को संबोधित करते हुए संगठन के संयोजक विवेक कुमार विजय ने कहा कि विश्वविद्यालय समस्या के समाधान के लिए कार्य नहीं कर रहा है बल्कि समस्या को और उल जाने के लिए कार्य कर रहा है.

उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालय प्रशासन जब राज्य सरकार को पत्र भेजता है कि राज्य सरकार द्वारा निर्धारित सीट से अधिक नामांकित छात्र है. जिनका पंजीयन हम लोगों ने कर लिया है. उनका परीक्षा लेने के लिए आदेश मांगा जाता है तब राज्य सरकार बोलती है कि आप विषय वार कितनी सीट बढ़ोतरी है. उसकी सूची उपलब्ध कराई जाए विश्वविद्यालय प्रशासन यही फेल कर जाती है. विश्वविद्यालय प्रशासन के पास कोई डाटा ही नहीं है कि राज्य सरकार से निर्धारित सीट से कितने अधिक नामांकित छात्र हैं.

विश्वविद्यालय अध्यक्ष अर्पित राज गोलू ने कहा कि कुलपति जब आए थे तो उन्होंने कहा था कि कि विश्वविद्यालय में अनेक शोध संस्थान खुलेंगे जबकि शोध संस्थान तो भूल ही जाइए जो पहले से ही जो इमारत है उसको बर्बाद करने के लिए इमानदारी से प्रयास कर रहे है. इस विश्वविद्यालय में शैक्षणिक अराजकता चरम पर है. विश्वविद्यालय प्रशासन जल्द से जल्द फार्म भरने की घोषणा करें साथ ही साथ स्पेशल सिंडिकेट और सीनेट की बैठक बुलाकर स्नातक सत्र 15 -16, 16- 17 ,17 -18 को जीरो सेशन करते हुए फार्म भरने की घोषणा जल्द से जल्द करें. स्नातकोत्तर प्रथम सेमेस्टर एवं तृतीय सेमेस्टर का फार्म भरने का डेट तुरंत घोषित की जाए एवं प्री पीएचडी कोर्स वर्क नामांकन लेने की तिथि की घोषणा की जाए अन्यथा संगठन मजबूरी में सारे पदाधिकारियों को ताला में बंद करेगा. कार्यक्रम में प्रमुख रुप से परमजीत कुमार सिंह, परमेंद्र सिंह, सुधांशु ठाकुर, चुनमुन रजक, विवेक, रवि, सिद्धांत, अमित, पुनीत समेत अनेकों कार्यकर्ता उपस्थित थे.

Chhapra (Santosh kumar Banti ): समाज की सेवा सबसे बड़ा धर्म है और सच्चे मन से की गई सेवा का प्रतिफल स्वयं मिल जाता है.


सेवा कार्यो के लिए सारण की धरती एक बार फिर गौरवान्वित हुई है.वर्ष 2016-17 के लिए सारण की धरती के लाल रंजीत कुमार को राष्ट्रपति भवन में आगामी 25 सितम्बर को इंदिरा गांधी राष्ट्रीय सेवा योजना पुरस्कार से सम्मानित किया जाएगा.

इंदिरा गांधी राष्ट्रीय सेवा योजना पुरस्कार के लिए रंजीत के नाम के चयन पर एनएसएस से जुड़े सभी छात्र-छात्राएं हर्षित हैं. सभी स्वयंसेवकों ने इस सम्मान की घोषणा के साथ ही रंजीत को शुभकामनाएं दी.

लगातार यह पांचवा वर्ष होगा जब जयप्रकाश विश्वविद्यालय के एनएसएस स्वयंसेवक को राष्ट्रपति पुरस्कार से सम्मानित किया जाएगा.

इंदिरा गांधी राष्ट्रीय सेवा योजना पुरस्कार 2017 की घोषणा किए जाने के बाद राष्ट्रीय सेवा योजना के जगदम कॉलेज इकाई के स्वयंसेवक रंजीत कुमार से छपरा टुडे डॉट कॉम के संतोष कुमार बंटी ने बातचीत की.

शहर से 7 किलोमीटर दूर सदर प्रखंड के मेंहियां गांव निवासी रामबाबू प्रसाद और सरिता देवी के पुत्र रंजीत अवार्ड के लिए चयन के बाद काफी उत्साहित हैं.

रंजीत बताते हैं कि बचपन से ही उनके अंदर समाज की सेवा करने की ललक थी. दूसरों को समाज की सेवा करते देख मन की जागृत भावना के कारण ही वह राष्ट्रीय सेवा योजना से जुड़े.

प्रारंभिक स्तर पर गांव के ही उत्क्रमित मध्य विद्यालय मेंहियां में पांचवी, फिर मध्य विद्यालय महमदा से आठवीं की शिक्षा लेने के बाद वह दसवीं की पढ़ाई के लिए लक्ष्मी नारायण ब्राम्हण उच्च विद्यालय छपरा और 12वीं की पढ़ाई के लिए वर्ष 2012 में विश्वेश्वर सेमिनरी के छात्र बने.

दसवीं की परीक्षा पास करने के बाद उनका सपना था कि वह जगदम महाविद्यालय के छात्र बने. महाविद्यालय में किए जाने वाले शैक्षणिक एवं सामाजिक गतिविधियों के कारण उनका आकर्षण इस महाविद्यालय के प्रति प्रारंभ से था. वर्ष 2012 में इंटर परीक्षा पास करने के बाद जगदम महाविद्यालय में गणित प्रतिष्ठा विषय में स्नातक छात्र बनने के साथ ही उनकी कल्पना ने मूर्त रूप पाया और इसी के साथ शुरू हुआ समाज सेवा का कार्य.

एनएसएस स्वयंसेवक बनने के लिए 2012 में आयोजित परीक्षा में रंजीत ने दूसरा स्थान हासिल किया. तब से अब तक वह एनएसएस के सक्रिय सदस्य के रूप में जाने जाते हैं.

तीन भाई बहन में सबसे बड़े रंजीत का समाज सेवा में सराहनीय योगदान रहा है.

दहेज प्रथा, बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ, स्वच्छता और पोलियो के साथ जनमानस के लिए जरूरी साक्षरता कार्यक्रम एवं उनके क्रियान्वयन में उनका योगदान सराहनीय है.

रंजीत गांव के ही बस्ती में ‘फेस ऑफ फ्यूचर इंडिया’ से जुड़कर छात्रों के बीच निःशुल्क शिक्षा का दान करते हैं. जिससे कि वह समाज की दिशा और दशा दोनों बदल सके. ‘एक घंटा देह को और एक घंटा देश को’ इसी लक्ष्य के साथ एक स्वच्छ, शिक्षित समाज की स्थापना करना ही रंजीत का लक्ष्य है.

आईजी एनएसएस अवॉर्ड की घोषणा पर एनएसएस के पूर्व समन्वयक सेवानिवृत डॉक्टर विद्यावाचस्पति त्रिपाठी ने रंजीत को अपनी शुभकामनाएं देते हुए उनके उज्जवल भविष्य की कामना की हैं.

इसके अलावा जेपी विश्वविद्यालय के आईजी अवार्ड विनर प्रवीण कुमार, रितु राज, मंटू कुमार यादव, प्रीति कुमारी, स्वयसेवक मंकेश्वर पंडित और प्रिंस कुमार ने भी अपनी शुभकामनाएं दी हैं.

बताते चलें कि आगामी 25 सितंबर को राष्ट्रपति भवन में महामहिम राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद द्वारा समाज सेवा में उत्कृष्ट कार्य करने वाले राष्ट्रीय सेवा योजना से जुड़े देश के 30 स्वयंसेवकों को इंदिरा गांधी राष्ट्रीय सेवा योजना पुरस्कार 2017 से सम्मानित किया जाएगा.

पुरस्कार को लेकर जयप्रकाश विश्वविद्यालय की ओर से 4 स्वयंसेवकों का चयन किया गया था जिसमें से राज्य कार्यालय द्वारा दो स्वयंसेवक का चयन कर दिल्ली कार्यालय भेजा गया था. जहां से अंतिम रूप से बिहार में कुल 2 स्वयंसेवक का चयन इस पुरस्कार के लिए किया गया है.

जिसमें पटना के अनुग्रह नारायण सिंह महाविद्यालय के छात्र नीरज कुमार और जयप्रकाश विश्वविद्यालय के जगदम महाविद्यालय के छात्र रंजीत कुमार शामिल हैं.

इसके पूर्व जयप्रकाश विश्वविद्यालय के एनएसएस स्वयंसेवक

मोहम्मद जहांगीर को 2008 में,

प्रवीण कुमार को 2013 में,

ऋतुराज को 2014 में,

मंटू कुमार यादव को 2015 में और

प्रीति कुमारी को 2016 में सम्मानित किया जा चुका है.

www.chhapratoday.com की ओर से NSS स्वयंसेवक रंजीत कुमार को राष्ट्रपति पुरस्कार के लिए चयन पर हार्दिक बधाई.

छपरा: जय प्रकाश विश्विद्यालय के सिनेट हाल में ‘कैंसर के रोकथाम में राष्ट्रीय सेवा योजना की भूमिका’ विषयक परिचर्चा का गुरुवार को आयोजन किया गया.

परिचर्चा का उद्घाटन एवं अध्यक्षता करते हुए कुलपति प्रो डॉ हरिकेश सिंह ने कहा कि रोगों से बचाव के लिए पौराणिक मंत्रो एवं वैज्ञानिक शोध का प्रयोग किया जा सकता है.

वही मुख्य वक्ता ख्याति प्राप्त कैंसर चिकित्सक पद्मश्री डॉ जेके सिंह ने बताया कि विश्व में 60 लाख एवं भारत में 10 लाख कैंसर पीड़ित हैं. इसके रोकथाम के लिए तम्बाकू एवं अन्य नशीले पदार्थों का प्रयोग नहीं करना चाहिए.
मंच सञ्चालन राष्ट्रीय सेवा योजना के समन्वयक डॉ हरिश्चंद्र ने किया वहीं धन्यवाद ज्ञापन डॉ पूनम सिंह ने किया. जानकारी विश्विद्यालय के जन संपर्क पदाधिकारी डॉ केदारनाथ ने दी.

छपरा: जयप्रकाश विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. हरिकेश सिंह अपने अधीनस्थ पदाधिकारियों और कर्मियों की कार्यशैली से परेशान दिख रहे है. कुलपति ने बुधवार को प्रेस वार्ता कर कहा कि विश्वविद्यालय के कई पदाधिकारी और कर्मी अपने कार्य में लापरवाही और स्थिलता बरत रहे है. जिसके कारण छात्र हित में होने वाले निर्णयों में देरी हो रही है.

कुलपति ने साफ़ शब्दों में कहा कि छात्र हित को लेकर अगर उन्हें जेल भी जाना पड़े तो उसके लिए वे तैयार है. उन्होंने स्नातक प्रथम खंड की लंबित परीक्षाओं को जल्द कराने की अपने प्रतिबद्धता को दोहराते हुए कहा कि छात्रों के भविष्य से खिलवाड़ करने का हक किसी को नहीं है. परीक्षा में देरी होने से कई छात्रों को प्रतियोगी परीक्षाओं में दाखिले नहीं मिल पा रहे है जो चिंतनीय विषय है. उन्होंने बीसीए, बीएड व बीटेक की परीक्षा की तिथि को जल्द ही घोषित करने की बात कही.

कुलपति ने कहा कि विश्वविद्यालय के पदाधिकारियों ने पिछले साल ही कोर्ट में शीघ्र परीक्षा लेने का शपथ पत्र दिया गया था लेकिन आज तक परीक्षा नहीं ली गई. वही एकेडमिक कैलेंडर का भी पालन नहीं हो रहा है.

कुलपति ने कहा कि स्नातकोत्तर परीक्षा में सहयोग नहीं करने वाले शिक्षकों पर कार्रवाई की जाएगी. सभी से पहले स्पष्टीकरण मांगा जायेगा. किसी को बख्शा नहीं जायेगा.

एक सवाल के जबाब में कुलपति ने कहा कि तीन-तीन वेबसाइट की बात संज्ञान में आई है. उन्होंने आश्चर्य व्यक्त करते हुए जल्द ही एक वेबसाइट बनाने और उसे अप टू डेट करते हुए उसी के माध्यम से सूचनायें प्रकाशित करने की बात कही और विश्वविद्यालय के पदाधिकारियों को निर्देश भी दिए.

इस अवसर पर प्राचार्य डॉ. प्रमेन्द्र रंजन सिंह, पीआरओ डॉ. केदार हरिजन, प्रो महेंद्र सिंह उपस्थित थे.

छपरा: जय प्रकाश विश्वविद्यालय के सत्र 2013-15 चतुर्थ सेमेस्टर की परीक्षाएं गुरुवार से राजेन्द्र कॉलेज स्थित परीक्षा भवन में शुरू हुई. परीक्षा के पहले ही दिन विश्वविद्यालय की लापरवाही देखने को मिली. जब रसायन शास्त्र के तेरहवे पत्र की जगह दूसरा प्रश्न पत्र छात्रों को मिला. छात्रों और वीक्षकों ने इसकी सूचना केन्द्राधीक्षक को दी. तब जाकर पुनः 13 वें पत्र के प्रश्न पत्र को छात्रों को उपलब्ध कराया गया. इस कवायद में परीक्षा लगभग एक घंटे की देरी से शुरू हुई.

जयप्रकाश विश्वविद्यालय के पीआरओ प्रो. केदार नाथ ने बताया कि कुलपति और परीक्षार्थियों ने मिलकर इस समस्या का समाधान किया. कुलपति ने छात्रों को सहयोग के लिए धन्यवाद दिया है.

आपको बता दें कि जय प्रकश विश्वविद्यालय के नए कुलपति प्रो हरिकेश सिंह के कार्यकाल में पहली बार विश्वविद्यालय परीक्षा का संचालन कर रहा है.

छपरा: जगदम कॉलेज के जंतु विज्ञान विभाग के डॉ राणा विक्रम सिंह को जय प्रकाश विश्वविद्यालय के परीक्षा विभाग का विशेष कार्य पदाधिकारी नियुक्त किया गया है.

इस सम्बन्ध में कुलपति हरिकेश सिंह ने आदेश जारी किये है. वे परीक्षा विभाग के कार्यों के सही निष्पादन के लिए विशेष कार्य पदाधिकारी बनाये गए है.

छपरा: जयप्रकाश विश्वविद्यालय ने Pre Ph.D टेस्ट में भाग लेने वाले छात्रों को फॉर्म भरने की तिथि बढ़ा दी है.

परीक्षा नियंत्रक डॉ. अनिल कुमार सिंह ने बताया कि परीक्षा फार्म पूर्व निर्धारित शुल्क के अनुसार 28 फ़रवरी तक भरना निर्धारित था. जिसे बैंकों में हड़ताल के मद्देनज़र विस्तारित करते हुए 6 मार्च के अपराह्न् 4 बजे तक कर दिया गया है.

छपरा: जय प्रकाश विश्वविद्यालय के सीनेट हॉल में राष्ट्रीय सेवा योजना द्वारा पुरस्कार वितरण सह संगोष्ठी का आयोजन किया गया.

राष्ट्र के निर्माण में युवा वर्ग की भूमिका विषय पर आयोजित इस संगोष्ठी का विधिवत उद्घाटन प्रमंडलीय आयुक्त नर्मदेश्वर लाल, विवि के कुलपति डॉ हरिकेश सिंह, रामकृष्ण मिशन आश्रम वाराणसी के स्वामी वरिष्ठानंद जी महाराज ने दीप प्रज्वलित कर तथा महान विभूतियों के चित्र पर पुष्प अर्पित कर किया. n5

राष्ट्रवादी धारा को बढाने की जरुरत

समारोह को संबोधित करते हुए आयुक्त नर्मदेश्वर लाल ने कहा कि युवा देश की रीढ़ होते हैं और इस रीढ़ को स्वस्थ रहने की जरुरत हैं.

उन्होंने कहा कि वर्तमान समय में देश को संगठित और सुसज्जित रखने की कई योजनाएं चलाई जा रही है. जिसमे मुख्यतः दो नामों का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि NSS और NYK युवाओं को बेहतर बनाकर राष्ट्र निर्माण में सहयोग कर रही है लेकिन वास्तव में इन दोनों का उद्देश्य धरातल पर नही पहुँच रहा है. n4

उन्होंने कहा कि जाति वाद, धर्मवाद, क्षेत्रवाद के कारण देश पर प्रश्रचिन्ह खड़ा लगता है लेकिन युवाओं की यह जिम्मेवारी बनती है कि वह समाज को बांटने वाली, देश को बांटने वाली विचार धारा को नही बल्कि राष्ट्रवादी धारा को बढ़ावा दें.इसके लिए सबों का दायित्व है कि युवाओं को सही रास्ते पर लाएं.

उन्होंने कहा कि युवाओं को सही रास्ते पर लाना, उनके मूल कर्तव्यों को बताना होगा. युवा अपने को नियंत्रित रखें, स्वस्थ रहें, अपने आप को बेहतर बनावें.युवाओं में अच्छा विचार,अच्छा आहार और अच्छा व्यवहार ही बेहतर देश का निर्माण करेगा.

गरीबों और स्त्रियों की अवहेलना सबसे बड़ा पाप

वही स्वामी वरिष्ठानंद महाराज ने अपने संबोधन में स्वामी विवेकानंद के जीवन के अनछुए पलों को जीवन चरित्र को सबों के बीच साझा करते हुए कहा कि स्वामी जी ग़रीबो और स्त्रियों की अवहेलना को सबसे बड़ा पाप समझते थे.

उन्होंने कहा कि स्वामी जी ने कहा है देश के उत्थान के लिए गरीबों के उत्थान को जरुरी कहा है.जो अपने आप पर विस्वास नहीं करता वह नास्तिक है.इसलिए अपने आप पर विस्वास रखें. अपना आदर्श बनाये और मन में हमेशा सेवा, त्याग और समर्पण का भाव रखें.

समाज को देने की जरुरत

दीपक कुमार ने कहा कि हम सभी का दायित्व है कि हम समाज को कुछ दें. राष्ट्रीय सेवा योजना के माध्यम से शहर के महाविद्यालयों की अपेक्षा ग्रामीण क्षेत्र के महाविद्यालयों में बेहतर कार्य किये जा सकते है.

काम करने का ललक रखने वाले स्वयंसेवकों का चुनाव करना चाहिये. प्रकाश विश्वविद्यालय के सबसे ज्यादा छात्र NSS के माध्यम से विभिन्न राष्ट्रीय और अंतराष्ट्रीय कार्यक्रम में भाग ले चुके है. n1

अपने उद्घाटन संबोधन में विवि कुलपति डॉ हरिकेश ने सभी अतिथियों के संदर्भ में व्यक्तिगत चरित्र पर प्रकाश डाला. साथ ही स्वामी विवेकानंद, माता शारदा और राम कृष्ण परमहंस के जीवन आदर्शो को बताया.

समारोह में प्रमंडलीय आयुक्त नर्मदेश्वर लाल, स्वामी वरिष्ठानंद महाराज, डॉ धर्मशीला देवी और डॉ विद्यावाचस्पति त्रिपाठी को अंगवस्त्र देकर सम्मानित किया गया. n6

इसके अलावे इस अवसर पर वर्ष 2015-2016 में बेहतर कार्य करने वाले जय प्रकाश महिला महाविद्यालय को प्रथम पुरस्कार के तहत 35,000 रूपये का पुरस्कार प्राचार्य शशि श्रीवास्तव को, द्वितीय पुरस्कार के तहत जगदम महाविद्यालय के प्राचार्य को 30,000 रुपये और तृतीय पुरस्कार राजेंद्र महाविद्यालय के प्राचार्य डॉ राम श्रेष्ठ राय को 25 हजार का पुरस्कार प्रदान किया गया. n11

वही राष्ट्रपति पुरस्कार से पुरस्कृत कैडेट रितु राज, मंटू कुमार यादव और प्रीति कुमारी को भी सम्मानित किया गया. n4

समारोह का सञ्चालन डॉ विद्या वाचस्पति त्रिपाठी और धन्यवाद ज्ञापन डॉ प्रमेन्द्र रंजन ने किया.