पटना, 8 जून (हि.स.)। चिलचिलाती धूप, तपिश, लू और उमस भरी गर्मी से लोग बेहाल हैं। सुबह होते ही भीषण गर्मी का एहसास हो रहा है।इस बीच मौसम विभाग ने येलो अलर्ट जारी किया है।

मौसम विभाग के अनुसार बिहार में दो दिनों में लगभग तीन डिग्री तापमान में वृद्धि हुई है। मौसम पूर्वानुमान के अनुसार आठ और नौ जून यानी आज गुरुवार तथा शुक्रवार को और गर्मी बढ़ने की संभावना जतायी गई है। अधिकतम तापमान 43 डिग्री सेल्सियस तथा न्यूनतम तापमान 28 डिग्री सेल्सियस तक रहने की संभावना है। विभाग ने बिहार के शेखपुरा, बांका, औरंगाबाद, कटिहार, पूर्णिया, भागलपुर, पटना, नालंदा, नवादा और गया जिले में यलाे अलर्ट जारी किया है।

मौसम वैज्ञानिक ने बताया कि 10 से 12 जून तक आसमान में हल्के बादल छाये रहने तथा 12 जून को कुछ स्थानों पर हल्की बूंदाबांदी होने की संभावना है।10 जून शनिवार को 43 डिग्री, 11 जून रविवार को 42 डिग्री तथा 12 जून सोमवार को अधिकतम तापमान 43 डिग्री सेल्सियस रहने का अनुमान जताया गया है।

भीषण गर्मी और लू में लोग बाजारों में भी कम दिख रहे है। किसान खेतों में सुबह या फिर शाम में नजर आ रहे है। कई स्थानों पर पेय जल की समस्या है। बिजली की आंख मिचौली लगातार जारी है। इस भीषण गर्मी में पंखा, कुलर बेअसर हो चुकी है। जिन घरों में एसी है उन्हें थोड़ी राहत है लेकिन बिजली की समस्या उनके साथ भी है। मौसम विभाग ने लू की कहर को देखते हुए लोगों को सतर्क रहने की सलाह दी है।

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पटना, 7 जून (हि.स.)। बिहार सरकार ने बुधवार शाम को बड़े पैमाने पर आईएएस अधिकारियों के तबादले किए हैं। बिहार के गृह विभाग से लेकर वित्त और शिक्षा विभाग जैसे कई अहम विभागों की जिम्मेदारी संभाल रहे आईएएस अधिकारियों का तबादला किया गया है।

मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव एस सिद्धार्थ को गृह विभाग का नया अपर मुख्य सचिव बनाया गया है। खास बात यह है कि दो दिन पूर्व गंगा नदी के सुल्तानगंज-अगुआनी घाट पर निर्माणाधीन पुल के ध्वस्त होने के बाद आरोपों से घेरे में आये आईएएस अधिकारी प्रत्यय अमृत को एक और विभाग का जिम्मा दिया गया है। उन्हें आपदा प्रबंधन विभाग का भी अपर मुख्य सचिव का अतिरिक्त प्रभार दिया गया है। इससे पता चलता है कि आरोपों के बाद भी पथ निर्माण विभाग के अपर मुख्य सचिव प्रत्यय अमृत पर मुख्यमंत्री नीतीश का भरोसा कायम है।

इसके अलावा गृह विभाग का काम संभाल रहे चैतन्य प्रसाद को अपर मुख्य सचिव, गृह विभाग और अपर मुख्य सचिव, निगरानी विभाग से हटा कर अपर मुख्य सचिव, जल संसाधन विभाग,पटना के पद पर तैनात किया गया है। चैतन्य प्रसाद अगले आदेश तक अपर मुख्य सचिव, लघु जल संसाधन विभाग के अतिरिक्त प्रभार में भी रहेंगे। सरकार ने मद्ध निषेध विभाग के अपर मुख्य सचिव केके पाठक को स्थानांतरित कर दिया है। विभाग के सचिव विनोद सिंह गुंजियाल को ही मद्ध निषेध उत्पाद व निबंधन विभाग का संपूर्ण प्रभार दे दिया गया है। कड़क अफसर केके पाठक को शिक्षा विभाग का अपर मुख्य सचिव बनाया गया है। पाठक बिपार्ड के अतिरिक्त प्रभार में भी रहेंगे।

लंबे समय बाद एस. सिद्धार्थ को वित्त विभाग से हटाया गया है। सिद्धार्थ मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव और कैबिनेट के अपर मुख्य सचिव भी हैं। उन्हें वित्त विभाग से हटा कर बिहार के गृह विभाग की जिम्मेदारी दी गयी है। इसके साथ साथ वे मुख्यमंत्री के मुख्य सचिव और कैबिनेट के अपर मुख्य सचिव का काम देखते रहेंगे।

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पटना, 6 जून (हि.स.)। बिहार के पूर्वी चम्पारण में बन रहे विश्व के सबसे बड़े मंदिर विराट रामायण मंदिर का निर्माण का कार्य प्रारम्भ 20 जून से होगा। इसे वर्ष 2025 के फरवरी तक पूरा कर लिया जाएगा। मंदिर के निर्माण होने के साथ ही यहां विश्व की सबसे बड़े शिवलिंग की स्थापना हो जाएगी। महावीर मन्दिर न्यास के सचिव किशोर कुणाल ने मंगलवार को यह जानकारी पत्रकारों से बातचीत में दी।

किशोर कुणाल ने कहा कि पूर्वी चंपारण जिले के केसरिया-चकिया पथ पर कैथवलिया-बहुआरा में विराट रामायण मन्दिर का निर्माण 20 जून से प्रारंभ हो जाएगा। वर्ष 2025 के सावन तक मन्दिर में विश्व के सबसे बड़े शिवलिंग की स्थापना हो जाएगी। उसी साल आखिर तक विराट रामायण मन्दिर बनकर तैयार हो जाएगा। पूर्वी चंपारण के केसरिया में बन रहे विराट रामायण मंदिर को अंकोरवाट (कंबोडिया) की तर्ज पर बनाया जाएगा। यह अंकोरवाट मंदिर से भी दुगना ऊंचा बनेगा।

22 मन्दिर, 12 शिखर और 3 ब्लॉक होंगे
आचार्य किशोर कुणाल ने बताया कि केसरिया में 3.76 लाख वर्गफुट में शैव और वैष्णव देवी-देवताओं के कुल 22 मन्दिर मंदिर बनाए जाएंगे। इसमें 12 शिखर और 3 ब्लॉक होंगे। मुख्य शिखर 270 फीट ऊंचा होगा। 20 जून से काम की शुरुआत हो जाएगी और 27 फरवरी 2025 तक मंदिर की स्थापना कर दी जाएगी। विराट रामायण मन्दिर तीन मंजिला होगा। मन्दिर में प्रवेश के बाद प्रथम पूज्य विघ्नहर्ता भगवान गणेश के दर्शन होंगे। वहां से बढ़ते ही काले ग्रेनाइट की चट्टान से बने विशाल शिवलिंग के दर्शन होंगे। महाबलिपुरम में 250 टन वजन के ब्लैक ग्रेनाइट पत्थर की चट्टान को तराशकर मुख्य शिवलिंग के साथ सहस्रलिंगम भी बनाया जा रहा है।

मंदिर में विश्व के सबसे बड़े शिवलिंग की होगी स्थापना
शिवलिंग की विस्तार से चर्चा करते हुए उन्होंने बताया कि शिवलिंग का वजन 200 टन, ऊंचाई 33 फीट और गोलाई 33 फीट होगी। आचार्य किशोर कुणाल ने बताया कि इतने वजन के शिवलिंग को लाने के लिए चकिया से कैथवलिया की 10 किलोमीटर की दूरी तक सड़क और पुल पुलिया के चौड़ीकरण और सुदृढ़ीकरण का अनुरोध बिहार के मुख्यमंत्री और पथ निर्माण मंत्री से किया गया है।

मंदिर का स्थान जानकी नगर के रूप में होगा विकसित
आचार्य किशोर कुणाल ने बताया कि मन्दिर निर्माण के लिए 120 एकड़ जमीन उपलब्ध है। इसे जानकी नगर के रूप में विकसित किया जाएगा जहां कई आश्रम, गुरुकुल, धर्मशाला आदि होंगे।

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पटना, 6 जून (हि.स.)। पटना-रांची के बीच चलने वाली वंदे भारत एक्सप्रेस के आठ कोच चेन्नई से पटना पहुंच गए हैं। बक्सर से होते हुए ट्रेन कुछ मिनट के लिए आरा में रुकी। आरा स्टेशन पर यह लोगों के लिए आकर्षण का केन्द्र बना रहा। कोई इसे छूने के लिए तो कोई ट्रेन के साथ सेल्फी लेने के लिए आतुर दिखे।

खास बात यह है कि वंदे भारत एक्सप्रेस देश में निर्मित पहली सेमी हाई स्पीड ट्रेन है जिसका इंतजार बिहार के लोगों के साथ झारखंड के यात्री भी कर रहे है। वंदे भारत एक्सप्रेस के कोच मंगलवार शाम पटना जंक्शन पहुंच गए। इस ट्रेन की 8 बोगियां मंगलवार रात तक राजेंद्र नगर कोचिंग कॉम्प्लेक्स में पहुंच जाएंगे। इसके बाद उसका एग्जामिनेशन होगा। इसके बाद ट्रायल किया जाएगा। फिर टाइम-टेबल का शेड्यूल जारी होगा। इसके बाद जल ही राजधानी पटना से रांची के बीच वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेन पटरी पर दौड़ती दिखेगी।

जून के दूसरे वीक में वंदे भारत ट्रेन को चलाने का प्लान: वीरेंद्र कुमार

पूर्व मध्य रेलवे के मुख्य जनसम्पर्क अधिकारी वीरेंद्र कुमार ने बताया कि यह ट्रेन मेन लाइन से पटना लाई जायेगी। पटना-रांची रूट के लिए 8 बोगियों वाले रैक का अलॉटमेंट किया गया है। उन्होंने बताया कि पटना-रांची वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेन चलाने की तारीख की घोषणा ट्रायल रन और ट्रेक का काम कम्प्लीट होने की बाद की जाएगी। जून महीने के दूसरे वीक में वंदे भारत ट्रेन को चलाने का प्लान है। इस ट्रेन के पटरी पर दौड़ने से पहले राजधानी पटना से रांची तक के ट्रेक को सुरक्षा मानकों के तहत दुरुस्त किया जा रहा है।

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पटना, 5 जून (हि.स.)। जदयू के एमएलसी राधाचरण सेठ और उनके पार्टनर अशोक प्रसाद के 24 से अधिक ठिकानों पर ईडी ने सोमवार सुबह छापेमारी की है। छापेमारी जारी है।

राधाचरण सेठ के बिहार के भोजपुर में बाबू बाजार स्थित आवास पर ईडी की टीम ने छापेमारी की है, जहां सीआरपीएफ के जवानों को तैनात किया गया है। राधाचरण सेठ के बिहार के आरा,औरंगाबाद, डेहरी ऑन सोन समेत कई जिलों में बालू कारोबार को लेकर छापामारी की गई है। ईडी की टीम पूरे घर की तलाशी ले रही है।

बताया जा रहा कि बालू से जुड़े मामले में छापेमारी की जा रही है। इसके साथ ही लालू यादव के करीबी माने जाने वाले सुभाष यादव के पटना के दानापुर के नारियल के आवास पर छापेमारी चल रही है। यह चतरा लोकसभा से सांसद का चुनाव भी लड़ चुके हैं।

राधाचरण सेठ के घर इससे पहले भी इनकम टैक्स डिपार्टमेंट की टीम ने फरवरी में भी पटना से लेकर दिल्ली तक के कई ठिकानों पर अचल संपत्ति को लेकर छापेमारी की थी।इस दौरान पांच दिनों तक इनके और करीबियों के यहां पूछताछ हुई थी। इस दौरान 200 करोड़ से अधिक की गड़बड़ी का आयकर विभाग ने खुलासा किया था। राधा चरण सेठ लंबे समय से बालू सिंडिकेट से जुड़े रहे हैं।

जदयू एमएलसी के मुताबिक, 1971 में जलेबी बेचने का काम करते थे। यह काम पहले उनके पिता संभालते थे। इसके बाद होटल धीरे-धीरे शुरू किया। इस समय एमएलसी के पास दुकान, राइस मिल, कोल्ड स्टोर आदि हैं। मनाली में ही उनका रिसॉर्ट है। राधाचरण के मुताबिक, मेहनत और ईमानदारी के बल पर यहां तक पहुंचे हैं। स्टेट बैंक, ग्रामीण बैंक, पीएनबी बैंक से उन्होंने लोन लिया है। राधा चरण सेठ लंबे समय तक लालू प्रसाद की पार्टी राजद में रहे, लेकिन तीन वर्षों पूर्व वे जेडीयू में आ गए। अभी वे भोजपुर- बक्सर से एमएलसी हैं।

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बिहार में शराबबंदी का सच, अब कब्रिस्तान से भी निकलने लगी शराब, हम नहीं सुधरेंगे की तर्ज कर काम करे रहे शराब तस्कर

सासाराम: बिहार में करीब 7 साल से पूर्ण शराबबंदी लागू है इसके बावजूद शराब तस्कर अपनी आदतों से बाज नहीं आ रहे हैं। शराब की तस्करी के लिए अवैध धंधेबाज आए दिन नई-नई तरकीब अपना रहे हैं। कभी एम्बुलेंस में रखे ताबूत में छिपाकर शराब की तस्करी करते हैं तो कभी वाहनों में तहखाने बनाकर। कभी फलों और सब्जियों के बीच छिपाकर शराब दूसरे प्रदेशों से लाते हैं तो कभी सुधा दूध के टैंकर में शराब लाते हैं। इस बार तो हद ही कर दी। शराब के अवैध धंधेबाजों ने कब्रिस्तान को सुरक्षित ठिकाना बनाया।

कबिस्तान के कब्र में भारी मात्रा में देसी शराब को प्लास्टिक की बोरियों में छिपाकर रखा गया था। कब्र में छिपाकर रखे गये शराब के बारे में लोगों को तब पता चला जब वे शव को कब्रिस्तान में दफनाने के लिए पहुंचे थे।

दरिगांव थाना के कादिरगंज स्थित कब्रिस्तान आए लोगों की नजर अचानक कब्र के गड्ढे पर गई तो देखा कि प्लास्टिक की बोरियां और बैग रखा हुआ है। लोगों को शक हुआ कि कही ना कही इसमें देसी शराब है। जिसे कब्र में छिपाकर रखा गया है। लोगों ने डंडे की मदद से जब बोरियों को खंगाला तो उसमें से देसी शराब होने की बात सामने आई। कब्र से शराब की बदबू आ रही थी। लोगों को यह समझने में तनीक भी देर नहीं लगी की शराब तस्करों ने कब्रिस्तान को शराब रखने का ठिकाना बना लिया है। लोगों ने इस बात की सूचना लोकल पुलिस को दी।

सूचना मिलते ही मौके पर पहुंची पुलिस ने कब्र में रखे बोरियों को बाहर निकाला तो उसमें देसी शराब मिली। जिसे देख स्थानीय लोग और पुलिस भी हैरान रह गयी। कब्र से बरामद देसी शराब को जब्त कर पुलिस अपने साथ थाने ले गयी। कब्र में शराब छिपाकर रखे जाने से लोग काफी आक्रोशित थे और पुलिस से मामले में कार्रवाई की बात करने लगे। सासाराम के दरिगांव थाना क्षेत्र के कादिरगंज स्थित कब्रिस्तान से भारी मात्रा में देसी शराब मिलने से इलाके के लोग भी हैरान रह गये। लोगों का कहना था कि कार्रवाई के बावजूद शराब तस्कर अपनी आदतों से बाज नहीं आ रहे है। फिलहाल पुलिस आगे की कार्रवाई में जुटी है।

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मोतिहारी। पर्यावरण दिवस के उपलक्ष्य में संस्कार भारती बिहार द्वारा ‘भारतीय संस्कृति और साहित्य में पर्यावरण चेतना’ विषयक ई-परिचर्चा का आयोजन संस्कार भारती बिहार के फेसबुक पृष्ठ से लाइव किया गया। विषय प्रवर्तन प्रो. अरुण कुमार भगत, सदस्य, बिहार लोक सेवा आयोग और अध्यक्षता विवेकानंद पाई, राष्ट्रीय सचिव, विज्ञान भारती ने की। मुख्य वक्ता प्रो. राम कुमार, सुप्रसिद्ध पर्यावरणविद एवं पूर्व विभागाध्यक्ष , पर्यावरण विज्ञान विभाग, दक्षिण बिहार केंद्रीय विश्वविद्यालय, गया थे। संयोजन और संचालन डॉ. परमात्मा कुमार मिश्र, सहायक प्रोफेसर, मीडिया अध्ययन विभाग, महात्मा गांधी केविवि ने की।

प्रो. अरुण कुमार भगत ने विषय प्रवर्तन करते हुए कहा कि भारतीय संस्कृति अरण्य संस्कृति रही है। इसलिए चार आश्रमों में गृहस्थ आश्रम के अतिरिक्त तीनों आश्रम वन में बिताने वाले रहे। अर्थात जीवन जीने के अधिकांश समय को प्रकृति के सबसे नजदीक रहकर उसे संचालित करने की व्यवस्था बनाई गई। वेद, पुराण, उपनिषद साहित्य में पर्यावरण को लेकर जो चिंतन और पद्धति है वह अन्यत्र किसी दूसरे के साहित्य में देखने को नहीं मिलती। छिति, जल, पावक, गगन, समीरा की चर्चा करते हुए उन्होंने कहा कि भारतीय संस्कृति और साहित्य में इन्हें देवता माना गया। पृथ्वी, गंगा, गाय को माता का सम्बोधन दिया गया और यह सभी पूज्य है। वैदिक काल से ही वृक्ष विशेषकर तुलसी, पीपल, बरगद आदि को पूजने की परंपरा पर्यावरण के प्रति हमारी प्रतिबद्धता को अनादि काल से दर्शाते हैं।

अध्यक्षीय उद्बोधन में विवेकानंद पाई, राष्ट्रीय सचिव, विज्ञान भारती ने कहा कि पर्यावरण को लेकर विश्व में खूब चर्चा हो रही हैं। जलवायु परिवर्तन उन चर्चाओं के केंद्र में है। हिन्दू संस्कृति में पर्यावरण संरक्षण को लेकर धर्म के साथ जोड़कर देखना अत्यंत महत्वपूर्ण है। पंच महाभूत की चर्चा करते हुए श्री पाई ने कहा कि सृष्टि का आधार जल, आकाश, अग्नि, पृथ्वी और वायु हैं। यज्ञ की महत्ता का उल्लेख करते हुए उन्होंने कहा कि भगवान श्रीकृष्ण ने भी यज्ञ करने पर जोर देते थे। हमारे शांति मंत्र पर्यावरण को समर्पित है। विश्व को यदि आगे ले जाना है तो प्राचीन भारतीय संस्कृति और साहित्य के पर्यावरणीय दृष्टिकोण को स्वीकार करना होगा। शिक्षा व्यवस्था में पर्यावरण संरक्षण के भारतीय चिंतन को शामिल करने की आवश्यकता है।

मुख्य वक्ता प्रो. राम कुमार ने कहा कि विश्व पर्यावरण दिवस तो 1973 से मनाया जा रहा है लेकिन भारतीय संस्कृति और साहित्य में पर्यावरण शुद्धि और उसे बेहतर बनाने का चिंतन प्राचीन काल से ही रहा। जब हम सांस्कृतिक भारत की बात करते है तो नदियां और पर्वत देश को पूर्व से पश्चिम और दक्षिण से उत्तर को जोड़ती है। हमारे ऋषि मुनियों ने पर्यावरण को मनुष्य का अविभाज्य अंग माना। मनुष्य जिस तरह से भविष्य की चिंता किए बिना प्रकृति का दोहन कर रहा है, उससे वह पृथ्वी का सबसे खतरनाक प्राणियों में शामिल हो गया है। हमारे ऋषि मुनियों और पूर्वजों का पर्यावरण दर्शन अद्भुत था। आज जरूरत है उस दर्शन को आत्मसात करने का।

परिचर्चा संस्कार भारती बिहार के संगठन मंत्री वेद प्रकाश के सानिध्य में आयोजित हुई। कार्यक्रम का तकनीकी संयोजन संस्कार भारती उत्तर बिहार प्रान्त के महामंत्री सुरभित दत्त ने की। परिचर्चा के संयोजक डॉ. परमात्मा कुमार मिश्र ने धन्यवाद ज्ञापन दिया। कार्यक्रम से संस्कार भारती बिहार के पदाधिकारीगण, सदस्य एवं शिक्षक, शोधार्थी, विद्यार्थी व विद्वानगण उपस्थित थे।

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पटना, 5 जून (हि.स.)। पटना में 12 जून को विपक्षी पार्टियों की प्रस्तावित बैठक टल गयी है। अब यह बैठक 23 जून को होने की संभावना है। यह तीसरा मौका है जब विपक्षी एकता की बैठक को स्थगित किया गया है।

बिहार कांग्रेस अध्यक्ष अखिलेश प्रसाद सिंह ने कहा कि राहुल गांधी विदेश दौरे पर हैं और 12 जून तक उनके लौटने की उम्मीद नहीं है। इसलिए 12 जून की बैठक में वे शामिल नहीं हो सकते। साथ ही तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन भी पटना आने में असमर्थ थे। ऐसे में बैठक को स्थगित करने का यही कारण हो सकता है।

उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव ने रविवार देर रात बैठक टलने के सवाल पर कहा कि बैठक से जुड़ी विस्तृत जानकारी जल्द ही दी जायेगी।

तीसरी बार टली बैठक

विपक्षी पार्टियों की बैठक सबसे पहले 19 मई को होने वाली थी लेकिन कर्नाटक विधानसभा चुनाव और वहां कांग्रेस की सरकार बनने के बाद शपथ ग्रहण समारोह को देखते हुए पटना में विपक्षी एकता की बैठक टाल दी गई। उसके बाद मई के अंतिम सप्ताह में यह बैठक होनी थी लेकिन नहीं हो पाई। फिर नई तारीख 12 जून को दी गई।

भाजपा से अलग होकर महागठबंधन के साथ जाने के बाद से ही मुख्यमंत्री नीतीश कुमार विपक्षी दलों को भाजपा के खिलाफ एकजुट करने की मुहिम में लगे हैं। पिछले दिनों नीतीश कुमार ने विभिन्न राज्यों का दौरा कर विपक्षी नेताओं से मुलाकात की थी और दावा किया था कि बातचीत सकारात्मक हुई है। जिसके बाद 12 जून को पटना के ज्ञान भवन में देशभर के विपक्षी नेताओं की बैठक करने का ऐलान किया गया था।

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पटना, 5 जून (हि.स.)। राजधानी पटना सहित राज्य के सभी जिले भीषण गर्मी की चपेट में हैं। मौसम विभाग ने अब लू का ऑरेंज अलर्ट जारी किया है। पटना में पिछले पांच दिनों से लगातार पारा चढ़ने से पिछले चार सालों में अधिकतम तापमान का नया रिकॉर्ड कायम किया है। सोमवार सुबह से ही तेज धूप के कारण भीषण गर्मी का एहसास हो रहा है।

मौसम विभाग ने अगले 24 घंटे में पटना समेत राज्य के नौ जिलों मुजफ्फरपुर, शेखपुरा, जमुई, बांका, नालंदा, सीवान, मधुबनी, सारण, नवादा में हीट वेव (लू) का प्रभाव बने रहने की संभावना जतायी है। जबकि राज्य के आठ जिलों पूर्णिया, अररिया, भागलपुर, सुपौल, कटिहार, पश्चिमी चंपारण, खगड़िया, पूर्वी चंपारण में भीषण उष्ण लहर का अलर्ट है।

पटना मौसम विज्ञान केंद्र ने एडवाइजरी जारी करते हुए दोपहर 12 बजे से तीन बजे के बीच लोगों को घर-दफ्तर से बाहर निकलने से बचने की सलाह दी है। साथ ही पर्याप्त पानी पीने और एहतियात बरतने के निर्देश दिये हैं।

रविवार को भागलपुर, वाल्मीकिनगर, सबौर, मोतिहारी, शेखपुरा, जमुई, भोजपुर, बांका में हीट वेव (लू) का प्रभाव बना रहा। जबकि पूर्णिया, फारबिसगंज, खगड़िया और कटिहार भीषण लू की चपेट में रहे। पटना समेत प्रदेश के 20 जिलों के अधिकतम तापमान में बढ़ोतरी हुई है।

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पटना, 4 जून (हि.स.)। बालासोर ट्रेन एक्सीडेंट को लेकर बिहार के उप मुख्यमंत्री तेजस्वी यादव ने केन्द्र सरकार पर हमला बोला है। उन्होंने कहा है कि इस ट्रेन हादसे ने केन्द्र सरकार के सभी दावों की पोल खोल दी है। पटना में रविवार को आयोजित एक कार्यक्रम में शामिल होने पहुंचे तेजस्वी यादव ने बालासोर ट्रेन एक्सीडेंट के लिए जिम्मेदार केंद्र सरकार और रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव को ठहराते हुए हादसे में मारे गए लोगों के प्रति संवेदनाएं जतायी।

तेजस्वी यादव ने कहा कि हादसे की जो तस्वीरें सामने आई हैं, वह देखकर कलेजा फटने लगता है। बच्चों, महिलाओं, जवान और बुजुर्ग यात्रियों की मौत हुई है। केंद्र सरकार लगातार यह दावे करती रही है कि उन्होंने रेलवे में सेफ्टी को लेकर बहुत काम किया है लेकिन इस हादसे में यह सारे दावे पूरी तरह से गलत साबित हो गये हैं।

उन्होंने कहा कि हमें इसका बहुत दुख है। इस घटना में लापरवाही हुई है। इसकी जिम्मेवारी तय होनी चाहिए और जल्द से जल्द इसकी जांच होनी चाहिए। उन्होंने कहा इस घटना में बिहार के कई लोग घायल हुए हैं। सारी जानकारी ली जा रही है और इसके बाद बिहार सरकार निर्णय लेगी कि आगे क्या करना है।

तेजस्वी यादव ने बिहार से जुड़े रेल मंत्रियों का जिक्र करते हुए कहा कि रामविलास पासवान रेल मंत्री रहे। लालू और नीतीश भी रेल मंंत्री रह चुके हैं। उस समय इतना प्राइवेटाइजेशन नहीं था। आज रेलवे का प्राइवेटाइजेशन पर इतना जोर है कि बाकी चीजों को दरकिनार कर दिया गया है।

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पटना, 04 जून (हि.स.)। बिहार में खगड़िया जिले के परबता प्रखंड अन्तर्गत अगुवानी-सुल्तानगंज के बीच गंगा नदी पर निर्माणाधीन पुल का तीन पाया रविवार को नदी में समा गया। खगड़िया की तरफ के निर्माणाधीन पुल के अचानक गिरने से अफरा-तफरी मच गयी।

खगड़िया के अगवानी से सुल्तानगंज तक करीब तीन किलोमीटर से ज्यादा लंबी इस पुल को एसपी सिंगला कंपनी बना रही है। उत्तर और दक्षिण बिहार को जोड़ने वाले इस पुल का तीन पाया ध्वस्त हो गया। 1,711 करोड़ रुपये की लागत से बन रहा यह पुल मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के ड्रीम प्रोजेक्ट में शामिल था। स्थानीय लोगों ने बताया कि अगवानी घाट पुल बनाने में घटिया सामग्री का इस्तेमाल किया जा रहा था। यह पुल भ्रष्टाचार की कहानी चीख-चीख कर बयां कर रही है। पुल का स्ट्रक्चर गिरने के दौरान कई लोगों की जान बाल-बाल बच गई है।

वर्ष 2014 में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने इसका शिलान्यास किया था। इसके बाद 2016 में अगुवानी सुल्तानगंज गंगा ब्रिज का निर्माण शुरू हुआ था। इससे पहले जब नितिन नवीन पथ निर्माण मंत्री थे तब यह पुल गिरा था। इस पुल के चालू हो जाने से उत्तर बिहार के कई जिलों की दूरी कम हो जाती। सितंबर 2015 में पुल और एप्रोच पथ का निर्माण कार्य शुरू हुआ था। पूर्व में पुल का निर्माण कार्य नवम्बर 2019 में पूरा करने का डेडलाइन था, जिसे बढ़ाकर जुलाई 2021 किया गया था। अब 2023 के अंत तक पुल के पूरा होने की संभावना व्यक्त की जा रही थी।

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पटना, 3 जून (हि.स.)। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की विपक्षी एकता पर राज्य में महागठबंधन की सरकार में बड़ी भूमिका निभाने वाले राजद सुप्रीमो का बयान आया है। राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव ने शनिवार को यहां कहा कि विपक्षी एकजुटता में नीतीश कुमार को काफी सफलता मिलने वाली है। यह तमाम विपक्षी पार्टियों की मुहिम है।

उल्लेखनीय है कि नीतीश कुमार की ओर से बिहार में 12 जून को विपक्षी एकजुटता की प्रस्तावित बैठक है। इससे पूर्व नीतीश कुमार ने अलग-अलग राज्यों में जाकर कई विपक्ष के नताओं से मुलाकात की और अपने विपक्षी एकता के मुहिम को आगे बढ़ाने की कोशिश की है। अब कयाश लगाई जा रही कि, नीतीश की यह मेहनत रंग ला सकती है। ें

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