Chhapra: धनतेरस को लेकर शहर से गांव तक के बाजार सज चुके है. दुकान पर आने वाले ग्राहकों के लिए रंगबिरंगी रौशनी के साथ खरीददारी पर आकर्षक छूट के साथ उपहार भी रखे गए है.

कोरोना काल के बार हुई मंदी के बाद धनतेरस पर बाजारों में रौनक है. जिससे बाजार में उछाल पर रहने के आसार दिख रहे है. हालांकि इस कोरोना की आर्थिक मंदी के कारण बड़ी बड़ी खरीदारियों में कमी आंकी जा रही है. एक अनुमान के मुताबिक विगत वर्ष के अनुपात में इस वर्ष बाजार में कम बिक्री होने के आसार है. दुकानदारों द्वारा भी आर्थिक स्थिति को देखकर लिमिट में ही समानों को बाहर से मंगाया गया है.

धनतेरस पर स्वर्ण बाज़ार, बर्तन बाजार, इलेक्ट्रॉनिक्स मार्केट के साथ साथ मोबाइल दुकान पूरी तरह से सजे है. धनतेरस पर बर्तनों के साथ साथ स्वर्ण आभूषणों की खरीददारी की परंपरा है. ऐसे में विगत कुछ वर्षों से झाड़ू की खरीददारी पर भी लोगो ने ज्यादा जोड़ दिया है.

विगत वर्षों की बात करे तो छपरा के शहरी एवं ग्रामीण इलाकों में सिर्फ 50 लाख से अधिक के झाड़ू का कारोबार धनतेरस पर हुआ था. वही स्वर्ण एवं बर्तन बाजार में 10 करोड़ से अधिक के सामानों की बिक्री हुई थी. इसके अलावे 5 करोड़ के करीब मोबाइल और अन्य इलेक्ट्रॉनिक्स समानों की बिक्री हुई थी. लेकिन इसबार कोरोना का असर बाजारों में देखने को मिलेगा.

  • दलित बस्ती की सैकड़ो महिलाओं ने अवैध शराब की बिक्री के विरुद्ध थाने पहुंच दिया रोषपूर्ण धरना.
  • अवैध बिक्री खुले आम जारी शराब माफियाओं में पुलिस प्रशासन का कोई खौफ नही.
  • शराब के कारण बस्ती मे अक्सर तनाव व हिसा का वातावरण बन चूका है.

Chhapra/Doriganj: मुफ्फसिल थानाक्षेत्र के घेघटा बवाली चौक स्थित दलित बस्ती की सैकड़ो महिलाओं ने गाँव में अवैध शराब की बिक्री के विरुद्ध सोमवार को थाने पहुंच रोषपूर्ण धरना प्रदर्शन किया एवं कार्रवाई की माँग की.

महिलाओं का कहना था कि शराबंदी के बावजूद भी बस्ती मे शराब की अवैध बिक्री खुले आम जारी शराब माफियाओं में पुलिस प्रशासन का कोई खौफ नही. दिन के उजाले में भी नशेड़ियो का जमावड़ा व अड्डेबाजी आम हो गई है. जहाँ आए दिन नशेड़ियो के कारण बस्ती की महिलाओं का अब घर से निकलना दूभर हो गया है.

प्रदर्शन कर रही महिलाओं के मुताबिक शराब माफिआ अब बस्ती के लोगो को शिकायत करने पर खुली चुनौती भी दे रहे है.  शराब के धंधेबाजो का हौसला बुलंद होता जा रहा है पिछली बार जब विरोध प्रदर्शन किया गया था तो पुलिस ने कोई ठोस कार्रवाई नही की थी. जिसके कारण आए दिन अब बस्ती के हालात और बद से बदत्तर होते जा रहे है. बावजूद पुलिस प्रशासन के द्वारा कोई ठोस कारवाई नही की जा रही है.

बस्ती की महिलाओं ने बताया कि शराब के कारण बस्ती मे अक्सर तनाव व हिसा का वातावरण बन चूका है. घर के नौजवान बच्चे भी इसके लत के आदि होते जा रहे है. बस्ती के हर घर का महौल तनावपूर्ण होता जा रहा है. जिससे आजिज हम महिलाओं को थाने पर पहुंच प्रदर्शन के लिए बाध्य होना पड़ा.

वही प्रदर्शन का नेतृत्व कर रहे घेघटा गाँव निवासी मणीकान्त सिह ने बताया कि इससे पूर्व कई बार धरना प्रदर्शन किए जा चूके है. पुलिस पदाधिकारियो को इस संबंध ज्ञापन भी मेरे द्वारा दिया गया है. बावजूद इसपर कड़ाई से इस पर अब तक कोई संज्ञान नही लिया जाना हमारी लोक तंत्र की आस्था को और कमजोर करता जा रहा है. अगर कार्रवाई नही की जाती है तो हमलोगो को अब पुलिस अधिक्षक सारण के समक्ष धरना व प्रदर्शन के लिए बाध्य होना पड़ेगा. इसकी शिकायत हम वहाँ करेगे.

इस संबंध मे थानाध्यक्ष ने बताया की ग्रामीणों की शिकायत पर छापेमारी की गयी है. लेकिन मौके से कुछ भी प्राप्त नही हुआ है.