नई दिल्ली: अग्निपथ योजना के देशव्यापी विरोध के बीच रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने दूसरी बार रविवार सुबह समीक्षा बैठक की। अपने आवास पर तीनों सेनाओं के प्रमुखों और डीएमए के अतिरिक्त सचिव के साथ अग्निवीर भर्ती योजना की समीक्षा की गई है।

अग्निपथ योजना पर आज हुई समीक्षा बैठक के बाद सैन्य मामलों के विभाग (एमडीए) के अतिरिक्त सचिव लेफ्टिनेंट जनरल अनिल पुरी आज दोपहर 2 बजे साउथ ब्लॉक में अग्निवीर भर्ती योजना के मुद्दे पर संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करेंगे। इसके अलावा तीनों सेना प्रमुखों की अलग से 2.10 बजे प्रेसवार्ता रखी गई है। इन मीडिया कॉन्फ्रेंस में योजना को लेकर कुछ बड़ा ऐलान होने की संभावना जताई जा रही है।

रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने शनिवार को जम्मू-कश्मीर के दो दिवसीय दौरे से लौटते ही तीनों सेना प्रमुखों के साथ बैठक की थी। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने आवश्यक पात्रता मानदंडों को पूरा करने वाले अग्निवीरों के लिए रक्षा मंत्रालय में नौकरी की रिक्तियों के 10% को आरक्षित करने के प्रस्ताव को स्वीकृति प्रदान कर दी है। यह 10% आरक्षण भारतीय तटरक्षक बल, रक्षा असैन्य पदों और सभी 16 रक्षा सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों में लागू किया जाएगा।

रक्षा मंत्री ने कहा कि अग्निपथ योजना सैनिकों के लिए भर्ती प्रक्रिया में क्रांतिकारी बदलाव लाएगी। उन्होंने यह भी कहा कि योजना के तहत भर्ती होने वाले कर्मियों को दिए जाने वाले प्रशिक्षण की गुणवत्ता से कोई समझौता नहीं किया जाएगा। अग्निवीर योजना को लेकर भ्रांतियां पैदा की जा रही हैं। इस योजना के अंतर्गत हमारी सरकार ने सबसे राय-परामर्श किया है। पूर्व सैनिकों के साथ भी चर्चा करने के बाद इस योजना को लागू करने का निर्णय लिया गया है।

इस बीच अग्निपथ योजना में अग्निवीरों की भर्ती के लिए वायुसेना ने आज अपनी वेबसाइट पर विस्तृत विवरण जारी कर दिया है। अग्निवीरों को साल में 30 दिन छुट्टी मिलेगी और मेडिकल लीव अलग है। इन चार सालों में ड्यूटी के दौरान मृत्यु होने पर परिवार को 1 करोड़ रुपये परिवार को दिए जाएंगे। वायु सेना प्रमुख एयर चीफ मार्शल वीआर चौधरी ने इसी गाइडलाइंस के मुताबिक 24 जून से वायु सेना में ”अग्निवीरों” की भर्ती प्रक्रिया शुरू करने का ऐलान किया है।

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Patna: जय प्रकाश नारायण हवाईअड्डा पटना में रविवार 12 बजे के करीब स्पाइस जेट की फ्लाइट संख्या एसजी-725 के इंजन में आग लग गई। विमान पटना से दिल्ली जा रहा था। आग लगने के बाद फ्लाइट की सुरक्षित लैंडिंग कराई गई है। आग लगने से इंजन से धुआं निकलने लगा। इसके बाद अफरातफरी का माहौल बन गया।

फ्लाइट यात्रियों से भरी हुई थी। फ्लाइट को सुरक्षित लैंड करा लिया गया है। सभी यात्रियों को सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया है। किसी के हताहत होने की कोई सूचना नहीं है। मौके पर एंबुलेंस पहुंच गई है। जांच के बाद ही स्पष्ट हो सकेगा कि किस वजह से इंजन में आग लगी है।

जिलाधिकारी चंद्रशेखर सिंह ने मीडिया को बताया कि पक्षी के टकराने (बर्ड हिटिंग) की वजह से इंजन में आग लगी होगी। अभी जांच की जा रही है।

पटना के एसएसपी मानवजीत सिंह ढिल्लो ने बताया कि विमान के उड़ान भरते ही उसके एक इंजन से धुआं उठता हुआ दिखाई दिया। इसके बाद विमान की एयरपोर्ट पर सुरक्षित लैंडिंग करवाई गई। विमान में सवार सभी यात्री सुरक्षित हैं। विमान के इंजन में आग किस वजह से लगी इसका पता अभी नहीं चल पाया है।

उन्होंने कहा कि एयरपोर्ट के बाहर एंबुलेंस तैनात कर दी गई है। अगर जरूरत पड़ी तो तुरंत मेडिकल ट्रीटमेंट दिया जा सके। विमान में आग को बुझाने की कोशिश जारी है। एयरपोर्ट पर अतिरिक्त फायर ब्रिगेड की गाड़ियां भी बुलाई गई हैं।

विमान हादसे पर DGCA का बयान आया है. पक्षी के टकराने से विमान का इंजन-1 बंद हुआ था. जांच के लिए DGCA ने उच्च स्तरीय टीम गठित किया है.

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जम्मू: जम्मू-श्रीनगर हाईवे स्थित जम्मू जिले के झज्झर कोटली में बुधवार को एक बस से पुलिस ने विस्फोटक बरामद किया है।
पुलिस के एक प्रवक्ता ने बताया कि नियमित नाके पर तलाशी के दौरान झज्झर कोटली में सार्वजनिक परिवहन बस से जिलेटिन की छड़ के रूप में विस्फोटक बरामद किया गया। विस्फोटक पैकेट में बंद किया गया था।
उन्होंने बताया कि विस्फोटक बरामद होते ही बम निरोधक दस्ते (बीडीएस) को बुलाया गया और विस्फोटकों को नियंत्रित तंत्र के माध्यम से निष्क्रिय कर दिया गया।
थाना जज्जर कोटली में संबंधित धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है और आगे की जांच जारी है। जम्मू पुलिस के सतर्क जवानों ने आतंकियों की एक बड़ी साजिश को नाकाम करते एक बड़े हमले को टाल दिया है।

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बांकुड़ा: जिले के बिष्णुपुर महकमा अंतर्गत कोतुलपुर में एक डंपर ने सड़क किनारे खड़ी लॉरी को टक्कर मार दी। हादसे में चार लोगों की मौत हो गई, जबकि तीन अन्य गंभीर रूप से घायल हो गए। इस घटना में लारी में सवार 13 गायों की भी मौत हो गईं।

बताया गया कि बुधवार तड़के कोतुलपुर थाना अंतर्गत रायबाघिनी मोड़ इलाके में यांत्रिक खराबी के कारण गायों से लदी एक लॉरी सड़क के किनारे खड़ी थी और मरम्मत का काम चल रहा था। उसी समय बिष्णुपुर से आ रहे बालू लदे डंपर ने लॉरी को टक्कर मार दी। डंपर की टक्कर से गायों से लदी लॉरी पलट गई। हादसे में तीन लोगों की मौत मौके पर ही हो गई जबकि एक अन्य ने अस्पताल में दम तोड़ दिया। इसके साथ ही लारी मैं मौजूद 13 गायों की भी मौके पर ही मौत हो गई। इस घटना में सड़क किनारे स्थित एक मकान बुरी तरह क्षतिग्रस्त हुआ है।

पुलिस के अनुसार मृतकों की पहचान घाटकपुकुर निवासी फिरोज लश्कर, शुकुर लश्कर और झंटू मुल्ला के रूप में हुई है। एक अन्य व्यक्ति की पहचान नहीं हो पाई है। यह तीनों लॉरी में सवार थे। पुलिस का अनुमान है कि चौथा व्यक्ति डंपर चालक हो सकता है। शवों को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया है। तीनों मृतकों के रिश्तेदार खैरुल अली मुल्ला ने बताया कि फिरोज लश्कर, शुकुर लश्कर और झंटू मुल्ला मेरे मामा हैं।पुलिस के अनुसार गायों से लदी लॉरी पुरुलिया के बलरामपुर से दक्षिण 24 परगना के घटकपुकुर इलाके की ओर जा रही थी।

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हरिद्वार: विश्व हिन्दू परिषद (विहिप) की केन्द्रीय मार्गदर्शक मंडल की बैठक के दूसरे दिन रविवार को चार प्रस्ताव पारित किए गए। इस दौरान कुटुंब प्रबोधन, समान नागरिक संहिता, धर्मांतरण, लव जिहाद, कश्मीर टारगेट किलिंग और काशी में ज्ञानवापी और मथुरा में कृष्ण जन्म भूमि सहित कई विषयों पर चर्चा हुई।

सत्र की अध्यक्षता करते हुए जगद्गुरु शंकराचार्य स्वामी वासुदेवानंद सरस्वती ने कहा कि विश्व हिन्दू परिषद की यह बैठक संत समाज के विचारों का मंथन है, जिससे अमृतरूपी विचार निकलेंगे और सम्पूर्ण विश्व में सार्थक संदेश जाएगा। देश भर में जुम्मे की नमाज के बाद होने वाले दंगों पर आक्रोश प्रकट करते हुए कहा कि यह विधर्मियों की सोची समझी साजिश है। इसको रोकने के लिए केन्द्र सरकार सख्त और प्रभावी कानून बनाए।

कृष्णानंद महाराज ने पंजाब के वर्तमान हालात पर चिंता व्यक्त करते हुए कहा कि पंजाब 1984 के आतंकवाद के भीषण दौर को दोहराने के कगार पर है। आज सिख गुरुओं की शिक्षा पर चलने की आवश्यकता है। मध्यप्रदेश के संग्राम महाराज ने कहा हिन्दू धर्म ग्रंथों का विस्तार हिमालय से भी ऊंचा है। केंद्रीय मार्गदर्शक मण्डल की दो दिवसीय बैठकें के दोनों सत्रों में उपस्थित रहे देश के शीर्ष संतों और धर्माचार्यों ने समान नागरिकता कानून को उत्तराखंड राज्य में लागू करने की प्रतिबद्धता पर उत्तराखंड सरकार का धन्यवाद करते हुए हिन्दू साम्राज्य दिनोत्सव की सभी को शुभकामनाओं के साथ छत्रपति शिवाजी महाराज के जीवन चरित्र को आत्मसात करने का संदेश दिया। देश की वर्तमान परिस्थितियों पर गहन चिन्तन मंथन करने के पश्चात सर्वसम्मति से 4 विषयों को महत्वपूर्ण मानते हुए निम्नलिखित प्रस्ताव को पारित किया गया। ये हैं-

1. कुटुम्ब प्रबोधन के माध्यम से समाज में पारिवारिक आत्मीयता और देश के प्रति जिम्मेदारी का भाव जागृत करने के उद्देश्य से कार्य करने की आवश्यकता है।

2. देश में निर्बाध चल रहे अवैध धर्मान्तरण पर तत्काल रोक लगाने के लिए कठोर कानून बनना चाहिए।

3. देश में समान नागरिक कानून को व्यापक विचार-विमर्श के पश्चात सर्वसम्मति के आधार पर कानून लागू करना चाहिए।

4. देश के सभी मठ-मंदिरों को सरकारी नियंत्रण से बाहर किया जाए।

बैठक में निर्मल पीठाधीश्वर श्रीमहंत ज्ञानदेव सिंह, निरंजन पीठाधीश्वर स्वामी कैलाशानंद गिरि, युग पुरुष स्वामी परमानंद महाराज, श्रीमहंत रवीन्द्रपुरी महाराज, म.म.स्वामी प्रेमानंद, महामंडलेश्वर स्वामी जनार्दन हरी महाराज-महाराष्ट्र, स्वामी ललितानंद, महंत रामकृष्ण दास, म.म.स्वामी जितेंद्रदास-कानपुर, स्वामी निजानंद- गुजरात, स्वामी रामदास-हिमाचल, स्वामी आत्मानंद पुरी-गुजरात, स्वामी चिदंबरानंद, आचार्य महामंडलेश्वर विशोकानंद भारती, स्वामी श्यामानंद-चंडीगढ़, महंत ज्ञानानंद महाराज, साध्वी प्राची, म.म.रूपेन्द्रप्रकाश महाराज, स्वामी परमानंद सरस्वती-ओडिशा सहित देश भर से 178 शीर्ष संतों और 34 साध्वी धर्माचार्यों ने प्रतिभाग किया।

बैठक का संचालन विहिप के केन्द्रीय मंत्री अशोक तिवारी ने किया। इसमें पधारे संतजनों का स्वागत विश्व हिन्दू परिषद के संरक्षक दिनेश चन्द्र, केन्द्रीय उपाध्यक्ष एवं राम मंदिर तीर्थ क्षेत्र के महामंत्री चंपत राय, केन्द्रीय संगठन महामंत्री विनायकराव देशपांडे, केन्द्रीय महामंत्री मिलिंद परांडे, केन्द्रीय उपाध्यक्ष ओमप्रकाश सिंघल, केन्द्रीय मंत्री धर्मनारायण, राजेंद्र सिंह पंकज, राज बिहारी, केंद्रीय मंत्री एवं प्रांत अध्यक्ष उत्तराखंड रविदेव आनंद ने किया।

इस अवसर पर प्रमुख रूप से प्रांत संगठन मंत्री उत्तराखंड अजय कुमार, क्षेत्र सेवा प्रमुख भारत गगन अग्रवाल, प्रांत संयोजक बजरंग दल अनुज वालिया, विभाग अध्यक्ष बलराम कपूर, जिला अध्यक्ष नितिन गौतम, जिला मंत्री भूपेंद्र सैनी, जिला उपाध्यक्ष प्रभाकर कश्यप, मयंक चौहान, अमित मुल्तानिया आदि उपस्थित रहे।

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नई दिल्ली: तिहाड़ जेल में बंद 200 करोड़ रुपये की ठगी का कैदी सुकेश चंद्रशेखर अपनी पत्नी लीना पॉल से मिलने की जिद में लगातार भूख हड़ताल कर रहा है। वह प्रत्येक सप्ताह अपनी पत्नी लीना मारिया पॉल से मिलने की मांग कर रहा है। वहीं उसकी इस मांग को जेल प्रशासन नाजायज बताते हुए कोर्ट को इसकी सूचना दे चुका है। भूख हड़ताल के चलते सुकेश कमजोर हो चुका है और उसे जेल के अस्पताल में भर्ती किया गया है।

तिहाड़ जेल के डीजी संदीप गोयल ने बताया कि फोर्टिस के पूर्व प्रमोटर्स शिवेंद्र सिंह की पत्नी अदिति सिंह से सुकेश चंद्रशेखर ने करीब 200 करोड़ रुपये की ठगी की थी। इसके चलते उसे दिल्ली पुलिस की आर्थिक अपराध शाखा ने गिरफ्तार किया था। इस गिरफ्तारी के बाद से उसे तिहाड़ जेल में रखा गया है। उस पर पुलिस ने मकोका के तहत मामला दर्ज किया हुआ है।

उसे बीते चार महीने से तिहाड़ जेल संख्या एक में बंद रखा गया था। फिलहाल नौ जून को उसे वहां से जेल संख्या- 3 में शिफ्ट कर दिया गया है। वहीं इस जालसाजी में उसका साथ देने वाली उसकी पत्नी लीना पॉल जेल संख्या 6 में बंद है।

डीजी ने बताया कि सुकेश चंद्रशेखर बीते 23 अप्रैल से भूख हड़ताल कर रहा है। उस समय से लेकर अभी तक उसने बीच में दो से तीन बार ही खाना खाया है, लेकिन यह सच है कि अब वह खाना नहीं खा रहा है। उन्होंने बताया कि जेल में बंद कैदी को 15 दिन में एक बार उसकी पत्नी से मिलवाया जाता है।

सुकेश को प्रत्येक महीने में दो बार उसकी पत्नी से मिलवाया जाता है, लेकिन सुकेश की मांग है कि उसे प्रत्येक सप्ताह लीना से मिलवाया जाए। यह जेल नियमों के खिलाफ है और उसकी यह मांग नहीं मानी जा सकती। उसके द्वारा की जा रही भूख हड़ताल की जानकारी कोर्ट को भी दी गई है।

डीजी ने बताया कि 23 अप्रैल से भूख हड़ताल कर रहे सुकेश को ड्रिप लगाकर रखा गया है। उसे हाल ही में जेल संख्या 1 से 3 में शिफ्ट किया गया है क्योंकि वहां उसे 4 महीने हो गए थे। उन्होंने बताया कि सुकेश द्वारा की जा रही भूख हड़ताल के चलते उसे दो बार सजा दी जा चुकी है।

एक बार उसकी मुलाकात कैंसिल की गई जबकि एक बार उसके एक सप्ताह तक कैंटीन जाने पर रोक लगा दी गई थी। एक महीने में करीब 10 दिनों तक उसने कुछ भी नहीं खाया। वहीं जेल सूत्रों की माने तो भूख हड़ताल की वजह से सुकेश का वजन कम हो गया है और उसे जेल संख्या तीन के अस्पताल में भर्ती कराया गया है।

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लखनऊ: राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के वरिष्ठ प्रचारक व संस्कार भारती के संरक्षक पद्मश्री बाबा योगेंद्र 98 वर्ष की आयु में आज 10 जून, 2022 को प्रातः 8 बजे निधन हो गया.

बाबा योगेंद्र पिछले कुछ समय से अस्वस्थ थे तथा उनका लखनऊ स्थित राम मनोहर लोहिया अस्पताल में उपचार चल रहा था।

बाबा योगेंद्र कला तथा साहित्य के क्षेत्र में काम करने वाली अखिल भारतीय संस्था संस्कार भारती के संस्थापक थे तथा अनेक वर्षों तक राष्ट्रीय संगठन मंत्री रहे। कला क्षेत्र में आपके योगदान को देखते हुए वर्ष 2018 में भारत सरकार ने पद्म श्री सम्मान से अलंकृत किया था। इसके अतिरिक्त भाऊराव देवरस सेवा सम्मान तथा अहिल्या बाई होलकर राष्ट्रीय पुरस्कार तथा अनेक पुरस्कारों से भी आप सम्मानित हुए थे।

बाबा योगेंद्र का जन्म 7 जनवरी, 1924 को उत्तर प्रदेश के बस्ती जिले में गांधीनगर में हुआ था. बचपन में गांव में ही राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की शाखा में जाने लगे. इसके बाद गोरखपुर में पढ़ाई के दौरान उनका संपर्क संघ के प्रचारक नानाजी देशमुख से हुआ. संघ का प्रशिक्षण प्राप्त करने के बाद वह प्रचारक निकले।

बाबा योगेंद्र गोरखपुर, प्रयाग, बरेली, बदायूं और सीतापुर में प्रचारक रहे. वर्ष 1981 में जब संस्कार भारती संगठन बना, तो बाबा योगेंद्र को उसके अखिल भारतीय संगठन मंत्री का दायित्व सौंपा गया. विश्व को भीमबेटका तथा सरस्वती नदी के मार्ग की जानकारी देने वाले पद्मश्री डॉ विष्णु श्रीधर वाकणकर जी के साथ मिलकर उन्होंने कला साधकों के मन में राष्ट्रीय भावना के जागरण का कार्य लम्बे समय तक किया. उनके मार्गदर्शन में संस्कार भारती आज कला के क्षेत्र में देश की अग्रणी संस्था है।

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नई दिल्ली:  देश के 16वें राष्ट्रपति पद के लिए 18 जुलाई को मतदान होगा और 21 जुलाई को नतीजे आएंगे।

मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार ने चुनाव आयुक्त अनूप चंद्र पांडेय के साथ विज्ञान भवन में आयोजित संवाददाता सम्मेलन में राष्ट्रपति के चुनाव कार्यक्रम की घोषणा की। राष्ट्रपति राम नाथ कोविन्द का कार्यकाल 24 जुलाई को समाप्त होगा। इसी को देखते हुए 16वें राष्ट्रपति पद के लिए 18 जुलाई को देश भर में मतदान होगा। वहीं 21 जुलाई को इसके नतीजे आएंगे।

उन्होंने बताया कि देश के 776 सांसद और 4033 विधायक राष्ट्रपति पद के लिए मतदान कर सकते हैं। इन्हें पार्टियां किसी उम्मीदवार को वोट करने के लिए बाध्य नहीं कर सकती। वोट प्राथमिकता के आधार पर होगा।

राष्ट्रपति पद के लिए केवल दिल्ली में ही नामांकन होगा। वहीं मतदान संसद और राज्य विधानसभाओं में होगा।

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नई दिल्ली: ट्विटर सहित सोशल मीडिया पर अलग-अलग लोगों द्वारा भारतीय जनता पार्टी से निलंबित प्रवक्ता नूपुर शर्मा को धमकी देने वाले मामले में अब दिल्ली पुलिस की इंटेलीजेंस फ्यूजन एंड स्ट्रेटजिक ऑपरेशन (आईएफएसओ) यूनिट ने भी मामला दर्ज किया है।

पुलिस के अनुसार, बीते दिनों अनेक लोगों ने दो अलग-अलग समुदायों के लिए आपत्तिजनक पोस्ट सोशल मीडिया पर डाली। इसके अलावा आपत्तिजनक टिप्पणी भी की गई। इसे लेकर दोनों पक्षों के लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई। इसके अलावा भाजपा की निलंबित नेता नूपुर शर्मा एवं अन्य के खिलाफ भी एक और एफआईआर दर्ज की गई है।

आईएफएसओ यूनिट के डीसीपी केपीएस मल्होत्रा के मुताबिक बीते दिनों कुछ लोगों द्वारा एक-दूसरे समुदाय के बारे में आपत्तिजनक ट्वीट किए गए थे। इसके अलावा सोशल मीडिया पर भी आपत्तिजनक बातें लिखी गई थीं। इस तरह के कई मामलों पर संज्ञान लेते हुए स्पेशल सेल ने बुधवार को आठ लोगों के खिलाफ एक एफआईआर दर्ज की है। इस एफआईआर में भाजपा से निकाले गए नेता नवीन कुमार जिंदल, लेखिका सबा नकवी, हिन्दू महासभा से पूजा शकुन पांडेय, राजस्थान से मौलाना मुफ्ती नदीम और पीस पार्टी के प्रवक्ता शादाब चौहान के नाम शामिल हैं। इन पर लोगों की भावनाओं को आहत करने का आरोप है।

वहीं, एक अन्य एफआईआर में सोशल मीडिया का इस्तेमाल करने वाले कुछ लोगों के खिलाफ मामला दर्ज हुआ है। इसमें भाजपा से निष्कासित नेता नूपुर शर्मा को भी आरोपित बनाया गया है।

सूत्रों की मानें तो कुछ दिनों पहले आईएफएसओ ने नूपुर शर्मा की शिकायत पर एफआईआर दर्ज की थी। इसके अलावा नूपुर को मिल रही धमकियों के चलते उन्हें दिल्ली पुलिस की तरफ से सुरक्षा भी मुहैया करवाई गई है।

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बारातियों को गर्मी ना लगे इसके लिए किए खास इंतेजाम, बारात के ऊपर लगा दी टेंट रास्ते भर नाचते गए बाराती

Surat: गर्मी के दिनों में गर्मी से निजात पाने के नित्य नए नए इनोवेशन सामने आते है. लेकिन यह इनोवेशन अब बारातियों की लिए भी होने लगा है. विगत दिनों एक बराता में बारातियों के लिए कूलर के साथ साथ चलने का वीडियो वायरल हुआ. बारात भी चर्चित हो गई. बारातियों को नाचने में परेशानी ना हो इसके लिए बारातियों के साथ साथ कूलर ले जाया गया. नया इनोवेशन सूरत का है जहां बारातियों के लिए रास्ते में साथ साथ धूप और गर्मी से बचाव के लिए टेंट का समियाना चल रहा था. लोग अचंभित जरूर थे लेकिन बारातियों को राहत मिलती रही.

शादी-ब्‍याह के आयोजनों तपती दोपहरी भी आड़े नहीं आ रही. लोग गर्मी से राहत पाने के लिए हर तौर-तरीके आजमा रहे हैं. दूल्‍हे समेत उसके सगे-संबंधी पीले रंग की ‘चलती छत’ के नीचे नजर आ रहे हैं, जिससे उन्हें धूप नहीं लग रही और नाच-गान के साथ बारात निकल रही है.

सड़क के किनारे बारात आगे बढ़ रही है और बारात में शामिल लोग पीले रंग के पंडाल के अंदर नाच रहे हैं. चौंकाने वाली बात यह है कि पंडाल भी मूव‍िंग है. कुछ लोग उसे दूल्‍हे और बारात के उूपर से आगे बढ़ा रहे हैं.

यानी, जैसे-जैसे पंडाल आगे बढ़ रहा है, नीचे मौजूद बाराती भी नाचते-गाते आगे की तरफ जा रहे हैं. जिस इलाके से होकर ये बारात निकली, देखने वाले लोग ताज्‍जुब करने लगे.

बारातियों को ढोल की थाप पर नाचते हुए देखा जा सकता है, जबकि दूल्हे को घोड़े पर बैठाया गया है. एक तरह से चलती छत के नीचे रहकर बाराती तपती गर्मी से बचे हैं मजे की बात यह है कि, नाच-गा भी रहे हैं. इस वीडियो को इंडियन एयरफोर्स के रिटायर्ड एयरमार्शल एव‍िएटर अनिल चौपड़ा ने अपने टि्वटर अकाउंट पर शेयर किया है. जिसे अब तक 3 लाख से ज्‍यादा बार देखा जा चुका है.

पीले रंग के पंडाल के बारात निकलते समय सड़क पर से अन्‍य वाहन भी निकल रहे हैं. इस दौरान कई वाहन चालक इस बारात को देखते हैं, देखना भी बनता है क्‍योंकि ऐसे बारात निकलते हुए शायद पहली बार देखा गया है. रिटायर्ड एयर मार्शल अनिल चोपड़ा ने इस वीडियो के बारे में लिखा, ‘सन शेड और सुरक्षित घेरे में चलने वाली बारात. यह इनोवेशन लोगों को भा गया.

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नई दिल्ली: आतंकी संगठन अलकायदा ने ईश निंदा संबंधित टिप्पणियों को लेकर दिल्ली, मुंबई, उत्तर प्रदेश और गुजरात में आत्मघाती बम हमलों की धमकी दी है।

अलकायदा ने 6 जून की दिनांक वाले अपने कथित पत्र में धमकी दी है कि वह टेलीविजन बहस के दौरान इस्लाम के बारे में ईशनिंदा संबंधी टिप्पणियों का बदला लेगा। आतंकी संगठन ने कहा कि जिन लोगों ने पैगंबर के बारे में अपशब्दों का प्रयोग किया है हम उन्हें मार डालेंगे।

अलकायदा की भारतीय उपमहाद्वीप संबंधी शाखा ने पत्र में कहा, “हम अपने और अपने बच्चों के शरीर पर विस्फोटक बांधकर पैगंबर का अपमान करने वाले लोगों को उड़ा देंगे।”

पत्र में कहा गया है कि भारत में आजकल हिंदू आतंकवादियों का बोलबाला है। भगवा आतंकवादियों को अब हमलों के लिए तैयार रहना चाहिए। वे अपने घरों अथवा सैनिक छावनियों में सुरक्षित नहीं रह पाएंगे।

उल्लेखनीय है कि ज्ञानवापी प्रकरण में टेलीविजन बहस के दौरान भारतीय जनता पार्टी की निलंबित राष्ट्रीय प्रवक्ता नूपुर शर्मा की टिप्पणियों को लेकर मुस्लिम देशों में व्यापक प्रतिक्रिया हुई थी।

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नई दिल्ली: ज्ञानवापी मस्जिद मामला और पूजास्थल अधिनियम के खिलाफ दायर याचिकाओं पर जमीयत उलेमा-ए-हिंद के अध्यक्ष मौलाना अरशद मदनी ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की है। इस मामले पर गर्मी के अवकाश के बाद सुनवाई की उम्मीद है।

गौरतलब है कि ज्ञानवापी मस्जिद का मामला वाराणसी जिला न्यायालय में लंबित है, जबकि सुप्रीम कोर्ट में एक से अधिक ऐसी याचिकाएं दायर की गई हैं, जिनमें न्यायालय को पूजा स्थल अधिनियम (प्लेसेज ऑफ वर्शिप एक्ट) को असंवैधानिक घोषित करने के लिए कहा गया है। वर्ष 2020 में पूजा स्थल अधिनियम को रद्द करने की मांग करते हुए सुप्रीम कोर्ट में दो याचिकाएं दायर की गईं थीं, जिसमें से एक याचिका को न्यायालय ने क़ुबूल करते हुए केंद्र सरकार को नोटिस जारी किया था। यह याचिका भारतीय जनता पार्टी के अश्विनी कुमार उपाध्याय एडवोकेट ने दायर की थी, जिसका नंबर सिविल रिट याचिका 1246/2020 है।

उक्त याचिका का विरोध करने के लिए जमीयत उलेमा-ए-हिंद ने एडवोकेट-ऑन-रिकॉर्ड एजाज मकबूल के जरिए सुप्रीम कोर्ट में एक याचिका दायर की है जिस पर गर्मी के अवकाश के बाद सुनवाई होने की उम्मीद है। जमीयत उलेमा-ए-हिंद के अध्यक्ष मौलाना अरशद मदनी के निर्देश पर इस हस्तक्षेप याचिका में लिखा गया है कि जमीयत उलेमा-ए-हिंद बाबरी मस्जिद राम जन्मभूमि विवाद मामले में एक प्रमुख पक्षकार थी। इसमें प्लेस ऑफ वर्शिप एक्ट की धारा 4 को स्वीकार कर लिया गया है और इस कानून की संवैधानिक स्थिति को सर्वोच्च न्यायालय ने भी मान्यता दी है। इसलिए अब इस क़ानून को चुनौती देकर एक बार फिर देश की शांति भंग करने का प्रयास किया जा रहा है।

याचिका में आगे कहा गया है कि पूजा स्थल अधिनियम 1991 को लागू करने के दो उद्देश्य थे। पहला उद्देश्य था किसी भी धार्मिक स्थल के परिवर्तन को रोकना और दूसरा उद्देश्य पूजा स्थलों को उसी हालत में रखना था, जिस स्थिति या रूप में वे 1947 में थे। इन दोनों उद्देश्यों को बाबरी मस्जिद राम जन्मभूमि विवाद मामले के फैसले में अदालत ने बरकरार रखा गया था। याचिका में कहा गया है कि प्लेसेज आफ वर्शिप एक्ट भारत के संविधान की मूल संरचना को मजबूत करता है। इसका उल्लेख बाबरी मस्जिद मामले के फैसले में किया गया है। (पैराग्राफ 99, पृष्ठ 250) और इस क़ानून की रक्षा करना धर्मनिरपेक्ष देश की जिम्मेदारी है।

बाबरी मस्जिद मामले के फैसले में पांच न्यायाधीशों की संवैधानिक पीठ ने पूजा स्थल अधिनियम का विस्तृत विश्लेषण किया है, जिसके अनुसार यह कानून भारत के संविधान की नींव को मजबूत करने के साथ-साथ इसकी रक्षा भी करता है और इसकी धारा 4 पूजा स्थलों के रूपांतरण पर रोक लगाती है। यह कानून बनाकर सरकार ने सभी धर्मों के लोगों के पूजा स्थलों की रक्षा करने की संवैधानिक जिम्मेदारी ली है।

इस सम्बंध में जमीयत उलेमा-ए-हिंद की कानूनी सहायता समिति के प्रमुख गुलजार आजमी ने कहा कि 18 सितंबर, 1991 को पूजा स्थल अधिनियम पारित किया गया था, जिसके अनुसार 15 अगस्त, 1947 को मिली स्वतंत्रता के समय धार्मिक स्थलों की जो स्थिति थी, उनको बदला नहीं जा सकता। केवल बाबरी मस्जिद विवाद को इस कानून से बाहर रखा गया, क्योंकि मामला पहले से ही विभिन्न अदालतों में लंबित था।

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