Srinagar, 08 सितंबर (हि.स.)। जम्मू-कश्मीर के कुलगाम जिले के गुद्दर वन क्षेत्र में चल रही मुठभेड़ में एक आतंकवादी मारा गया है, जबकि एक सैन्य अधिकारी घायल हो गया।

गुद्दर जंगल में एक संयुक्त तलाशी अभियान शुरू किया गया

सेना ने एक्स पर एक पोस्ट में कहा कि पुलिस से मिली एक विशिष्ट खुफिया जानकारी के आधार पर गुद्दर जंगल में एक संयुक्त तलाशी अभियान शुरू किया गया। सतर्क सैनिकों ने संदिग्ध गतिविधि देखी और चुनौती दिए जाने पर आतंकवादियों ने गोलीबारी शुरू कर दी। इसके बाद भीषण गोलीबारी हो गई। पोस्ट के अनुसार, इस दौरान एक आतंकवादी मारा गया और एक जूनियर कमीशन अधिकारी घायल हो गया है। अभियान अभी जारी है।

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जोधपुर में संघ की समन्वय बैठक में एकता और समाज निर्माण पर रहा फोकस

जोधपुर:  जोधपुर में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की तीन दिवसीय अखिल भारतीय समन्वय बैठक का आज आखिरी दिन है। विविध संगठनों के राष्ट्रीय अध्यक्षों और संगठन मंत्रियों की उपस्थिति में हुई इस बैठक का समापन सरसंघचालक मोहन भागवत के उद्बोधन से होगा।

बैठक में पंजाब में मतांतरण और नशे की समस्या पर चिंता व्यक्त की गई। बंगाल में घुसपैठ और कानून-व्यवस्था की स्थिति को गंभीर चुनौती बताया गया। मणिपुर में शांति प्रयासों और जनजातीय क्षेत्रों में नक्सली प्रभाव कम होने को सकारात्मक संकेत माना गया। साथ ही, संघ के शताब्दी वर्ष से जुड़े कार्यक्रमों और समाज परिवर्तन से जुड़े संघ की ओर से दिए गए पंच परिवर्तन विषयक योजनाओं पर विचार हुआ।

बैठक के बारे में संघ के अखिल भारतीय प्रचार प्रमुख सुनील आंबेकर ने आज पत्रकारों को जानकारी दी। उन्होंने बताया कि संघ और उससे जुड़े संगठन समाज में एकता और सहयोग की भावना को मजबूत करने के लिए सतत प्रयास कर रहे हैं। महिला सहभागिता, शिक्षा का भारतीयकरण, सामाजिक चुनौतियाँ और राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़े मुद्दे चर्चा के मुख्य बैठक के केंद्र में रहे।

महिला समन्वय के विषय पर उन्होंने बताया कि विविध संगठन महिलाओं को नेतृत्व और भागीदारी के अधिक अवसर दे रहे हैं। ऑपरेशन सिंदूर के दौरान देशभर में 887 कार्यक्रम आयोजित हुए, जिन्हें विविध क्षेत्र में कार्यरत महिलाओं ने आयोजित किया। बैठक में क्रीड़ा भारती ने खेल जगत की महिलाओं से जुड़े मुद्दों पर अध्ययन प्रस्तुत किया।

आंबेकर ने शिक्षा के क्षेत्र में राष्ट्रीय शिक्षा नीति को सकारात्मक कदम बताया। उन्होंने कहा कि देशभर मे शिक्षा से जुड़े हुए विभिन्न संगठन इसे जमीन पर उतरने के लिए सहयोग देने से जुड़े प्रयास कर रहे हैं।

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भारी बारिश के कारण जम्मू-श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग का उद्घाटन रुका; वैष्णो देवी यात्रा स्थगित

जम्मू: भारी बारिश के कारण भूस्खलन प्रभावित जम्मू-श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग पर यातायात बहाल करने के भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के प्रयासों में फिर से बाधा आई जो रविवार को लगातार छठे दिन भी बंद रहा।

अधिकारियों ने बताया कि त्रिकुटा पहाड़ियों पर स्थित माता वैष्णो देवी मंदिर की तीर्थयात्रा भी लगातार 13वें दिन स्थगित रही जबकि सीमा सड़क संगठन (बीआरओ) ने कठुआ जिले में बसोहली-बानी मार्ग पर क्षतिग्रस्त हिस्से को बाईपास करके यातायात बहाल कर दिया।

यातायात विभाग के एक अधिकारी ने कहा जम्मू-श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग अभी भी वाहनों की आवाजाही के लिए बंद है। मरम्मत का काम चल रहा है। उन्होंने लोगों को सलाह दी कि मरम्मत का काम पूरा होने तक इस मुख्य मार्ग से यात्रा न करें। रामबन सेक्टर में भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचएआई) के परियोजना प्रबंधक शुभम ने बताया कि भारी बारिश के कारण आज सुबह उधमपुर जिले के थरद में पहाड़ी के नीचे दबे 250 मीटर लंबे हिस्से को साफ करने के काम में फिर से बाधा आई।

राजमार्ग की जल्द मरम्मत सुनिश्चित करने के प्रयासों के तहत विशाल चट्टानों को गिराने के लिए विस्फोटकों का इस्तेमाल किया गया। बारिश के बावजूद हमारे लोग और मशीनें काम पर हैं लेकिन काम धीमी गति से चल रहा है।

कश्मीर को देश के बाकी हिस्सों से जोड़ने वाला एकमात्र बारहमासी राजमार्ग 2 सितंबर को यातायात रोक दिया गया था लगभग एक हफ्ते से फंसे वाहनों को निकालने के लिए आंशिक रूप से यातायात बहाल होने के केवल दो दिन बाद फिर से बंद हो गया।

अधिकारी ने बताया कि थार्ड में चार लेन वाले राजमार्ग खंड को छोड़कर जो पूरी तरह से एक हिलती हुई पहाड़ी के नीचे दब गया है बाकी राजमार्ग को दो-तरफ़ा यातायात के लिए साफ़ कर दिया गया है।

राजमार्ग के लगभग एक पखवाड़े तक लंबे समय तक बंद रहने से सैकड़ों वाहन जिनमें ज़्यादातर बागवानी उत्पाद और आवश्यक वस्तुएँ ले जा रहे ट्रक थे दोनों तरफ़ फँसे रहे।

मौसम विभाग के एक प्रवक्ता ने जम्मू-कश्मीर में कई जगहों पर हल्की बारिश या गरज के साथ छींटे पड़ने की भविष्यवाणी की है। साथ ही 7 और 8 सितंबर को देर रात या सुबह के समय जम्मू संभाग के कुछ जिलों में मध्यम बारिश या गरज के साथ छींटे पड़ने की संभावना है।

इस बीच, बीआरओ ने कठुआ ज़िले में बसोहली-बानी मार्ग पर यातायात बहाल कर दिया है जिससे फंसे हुए लोगों को राहत मिली है।

लगातार बारिश के कारण बसोहली से बानी तक सड़क का एक हिस्सा बह गया था जिससे बसोहली से 47 किलोमीटर दूर टिकरी मोड़ पर सड़क में एक बड़ा गैप बन गया था। सड़क के क्षतिग्रस्त हिस्से को पार करने के लिए पूरी तरह से नई संरचना बनानी पड़ी। यह काम खतरनाक मौसम और दुर्गम इलाके में सोचे-समझे जोखिम उठाते हुए लोगों और मशीनों के साथ किया गया। यह बात रक्षा पीआरओ जम्मू ने एक्स पर एक पोस्ट में कही। उन्होंने कहा कि संपर्क बहाल कर दिया गया है जिससे कठुआ के बसोहली से डोडा जिले के भद्रवाह तक संपर्क स्थापित हो गया है।

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केंद्र सरकार फेस्टिव सीजन से पहले अपने कर्मचारियों और पेंशनभोगियों को एक और तोहफा देने की तैयारी में

DELHI: जीएसटी दरों में सुधार के बाद अब केंद्र सरकार फेस्टिव सीजन से पहले अपने कर्मचारियों और पेंशनभोगियों को एक और तोहफा देने की तैयारी में है। माना जा रहा है कि केंद्र सरकार जल्द ही महंगाई भत्ते में बढ़ोतरी का ऐलान कर सकती है।

सूत्रों के मुताबिक, दशहरा और दिवाली से पहले DA में 3% की बढ़ोतरी की घोषणा संभव है, जिससे यह 55% से बढ़कर 58% हो जाएगा। इस बढ़ोतरी को जुलाई 2025 से लागू माना जाएगा, और इसके तहत कर्मचारियों को जुलाई, अगस्त और सितंबर के तीन महीने का एरियर भी अक्टूबर की सैलरी और पेंशन के साथ मिल सकता है।

जानकारी के अनुसार, सरकार अक्टूबर के पहले सप्ताह में डीए बढ़ोतरी का औपचारिक ऐलान कर सकती है, ताकि त्योहारों के मौसम में 1.2 करोड़ से अधिक कर्मचारियों और पेंशनभोगियों को राहत मिल सके। सरकार हर साल दो बार — 1 जनवरी और 1 जुलाई से महंगाई भत्ते में संशोधन करती है, और इसका ऐलान फरवरी-मार्च और सितंबर-अक्टूबर में किया जाता है।

डीए हाइक की गणना इंडस्ट्रियल वर्कर्स के लिए बनाए गए उपभोक्ता मूल्य सूचकांक के आधार पर की जाती है, जिसे लेबर ब्यूरो हर महीने जारी करता है। इस बार, जुलाई 2024 से जुलाई 2025 के बीच CPI-IW का औसत 146.3 रहा है, जिसके आधार पर 7वें वेतन आयोग के फॉर्मूले से DA में 3% की बढ़ोतरी की गणना की गई है।

इसी के साथ, कर्मचारी लंबे समय से 8वें वेतन आयोग के गठन का इंतजार कर रहे हैं। उम्मीद है कि सरकार दिवाली से पहले इस संबंध में भी कोई घोषणा कर सकती है।

 

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New Delhi, 7 सितंबर (हि.स.)। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी 9 सितंबर को बाढ़ प्रभावित पंजाब का दौरा करेंगे।इस दौरान वे बाढ़ प्रभावित इलाके के लोगों से बातचीत कर हालात के बारे में जानेंगे।भाजपा की पंजाब इकाई की तरफ से सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर इसकी जानकारी दी गई है।

बाढ़ प्रभावित लोगों और किसानों से सीधे मुलाकात कर उनका दुख साझा करेंगे प्रधानमंत्री

पार्टी की तरफ से एक्स पोस्ट में बताया गया है कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी 9 सिंतबर को पंजाब के गुरुदासपुर आ रहे हैं। वे बाढ़ प्रभावित लोगों और किसानों से सीधे मुलाकात कर उनका दुख साझा करेंगे और पीड़ितों की मदद के लिए कदम उठाएंगे।

इससे पहले गुरुवार को केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज चौहान ने अमृतसर जिले के बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का दौरा किया था। उन्होंने यह भी कहा था कि बाढ़ प्रभावित इलाकों के आकलन के लिए दो केंद्रीय दल भी पंजाब दौरे हैं जो केंद्र को अपनी रिपोर्ट सौंपेंगे।
उल्लेखनीय है कि पंजाब के ज्यादातर जिले इन दिनों बाढ़ की चपेट में हैं। इससे राज्य के लोगों को भारी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। इससे हो रहे व्यापक नुकसान को देखते हुए केंद्रीय आर्थिक मदद की मांग लगातार हो रही है।

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New Delhi, 06 सितंबर (हि.स.)। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड जे. ट्रंप के सकारात्मक रुख को सराहा है। उन्होंने एक्स पोस्ट पर आज कहा कि राष्ट्रपति ट्रंप की भावना और दोनों देशों के संबंधों का सकारात्मक मूल्यांकन प्रशंसनीय है।

प्रधानमंत्री मोदी ने एक्स पर लिखा

”राष्ट्रपति ट्रंप की भावनाओं और संबंधों के सकारात्मक मूल्यांकन की वह दिल से सराहना और उनका पूर्ण समर्थन करते हैं। भारत और अमेरिका के बीच एक अत्यंत सकारात्मक और दूरदर्शी व्यापक एवं वैश्विक रणनीतिक साझेदारी है।”

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने भारत-अमेरिका के रिश्ते को बहुत खास संबंध बताया

इससे पहले प्रसारित एक खबर के अनुसार, अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने भारत-अमेरिका के रिश्ते को बहुत खास संबंध बताया। उन्होंने खुलकर कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी उनके हमेशा दोस्त रहेंगे। उन्होंने भरोसा दिलाया कि भारत और अमेरिका के रिश्तों को लेकर किसी को भी चिंता करने की जरूरत नहीं है।

प्रधानमंत्री मोदी के कुछ कदम पसंद नहीं आ रहे हैं: ट्रंप 

हालांकि, ट्रंप ने यह भी कहा कि उन्हें इस वक्त प्रधानमंत्री मोदी के कुछ कदम पसंद नहीं आ रहे हैं। इसके बावजूद दोनों देशों के रिश्तों में कोई दरार नहीं है। उन्होंने यह भी कहा कि वह भारत के साथ रिश्तों को फिर से मजबूत करने के लिए हमेशा तैयार हैं। ट्रंप ने कहा कि मोदी एक महान प्रधानमंत्री हैं। बस इस वक्त जो वो कर रहे हैं वह मुझे पसंद नहीं, लेकिन भारत-अमेरिका का रिश्ता बहुत खास है। इसमें चिंता की कोई बात नहीं।

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Patna: बिहार में चुनावी माहौल के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने विपक्ष पर तीखा हमला बोला है। विगत दिनों वोटर अधिकार यात्रा के दौरान दरभंगा की एक सभा में मंच से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और उनकी माँ को कहे गए अपशब्द पर प्रधानमंत्री ने अपनी चुप्पी तोड़ी है। बिहार सरकार के एक कार्यक्रम के दौरान अपने सम्बोधन में  उन्होंने अपनी मां के संघर्षों का ज़िक्र करते हुए कहा कि अगर उनकी मां एक दिन भी आराम कर लेतीं, तो बच्चों को दुख झेलना पड़ता। मोदी ने कहा कि उनकी मां ने कभी अपने लिए नई साड़ी तक नहीं खरीदी और एक-एक पैसा जोड़कर अपने बच्चों की पढ़ाई और कपड़ों का इंतज़ाम किया।

मां का स्थान देवी-देवताओं से भी ऊपर: नरेंद्र मोदी

प्रधानमंत्री ने कहा कि “मैं अपनी मां की बात कर रहा हूं, लेकिन देश की करोड़ों मांएं ऐसी ही तपस्या करती हैं। एक गरीब मां जीवनभर अपने बच्चों को शिक्षा और ऊंचे संस्कार देती है। इसी वजह से मां का स्थान देवी-देवताओं से भी ऊपर माना जाता है।”

मोदी ने कांग्रेस पर हमला बोलते हुए कहा कि नामदार कभी गरीब मां की तपस्या और उसके बेटे की पीड़ा को नहीं समझ सकते। उन्होंने कहा कि कांग्रेस को यह कभी बर्दाश्त नहीं हुआ कि कोई पिछड़ा या अति पिछड़ा आगे बढ़े। मोदी ने आरोप लगाया कि कांग्रेस नेताओं की गालियों की सूची बहुत लंबी है।

गरीब मां की तपस्या को शाही खानदान नहीं समझ सकता

उन्होंने आगे कहा कि केवल मेरी मां को नहीं गाली दी गई है साथियों, एक गरीब मां की तपस्या और उसके बेटे की पीड़ा को शाही खानदानों में पैदा हुए युवराज कभी समझ ही नहीं सकते।

प्रधानमंत्री ने कहा, “मुझे कभी कीड़ा कहा जाता है, कभी जहर वाला सांप बोला जाता है। अब तो मेरी मां, जिनका राजनीति से कोई लेना-देना नहीं था, उन्हें भी मंच से गाली दी गई। यह मानसिकता सिर्फ मां को नहीं, बहनों और महिलाओं को भी गाली देती है। यह सोच महिलाओं को कमजोरी मानती है और शोषण की वस्तु समझती है।”

प्रधानमंत्री मोदी ने जनता का आभार जताते हुए कहा कि देश ने नामदारों को नहीं, बल्कि एक गरीब मां के बेटे को आशीर्वाद देकर प्रधान सेवक बनाया।

 

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New Delhi, 1 सितंबर (हि.स.)। अफगानिस्तान में रविवार देर रात आए भूकंप में 800 से ज्यादा लोगों की जान चले जाने पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने दुख जताया है। उन्होंने कहा कि अफगानिस्तान में आई इस आपदा में जान-माल की हानि से अत्यंत दुखी हूं।

इस कठिन समय में भारत शोक संतप्त परिवारों के साथ खड़ा है: प्रधानमंत्री मोदी

प्रधानमंत्री ने सोशल मीडिया प्लेटफार्म एक्स पोस्ट में कहा कि इस कठिन समय में भारत शोक संतप्त परिवारों के साथ खड़ा है और घायलो के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना करता है। भारत अफगानिस्तान के प्रभावित लोगों को हर संभव मानवीय सहायता और राहत प्रदान करने के लिए तत्पर है। भारत पहले भी प्राकृतिक आपदाओं के समय अंतरराष्ट्रीय सहयोग में आगे रहा है और इस बार भी वह पीछे नहीं रहेगा।

रविवार देर रात 6.0 तीव्रता का भूकंप दर्ज किया गया

उल्लेखनीय है कि अफगानिस्तान के पूर्वी हिस्से में पाकिस्तान सीमा के पास रविवार देर रात 6.0 तीव्रता का भूकंप दर्ज किया गया। इसने भारी तबाही मचाई। तालिबान सरकार के अनुसार 800 से अधिक लोग मारे गए हैं, ज्यादातर सुदूर कुनार प्रांत में हैं। अमेरिकी भूवैज्ञानिक सर्वेक्षण के मुताबिक, भूकंप का केंद्र जलालाबाद से 27 किमी पूर्व और जमीन से 8 किमी गहराई पर था। लगभग 20 मिनट बाद उसी प्रांत में 4.5 तीव्रता का दूसरा भूकंप भी आया।

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नई दिल्ली, 01 सितंबर (हि.स.)। उच्चतम न्यायालय के जस्टिस सूर्यकांत की अध्यक्षता वाली बेंच ने सोमवार को बिहार में विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) के दौरान पैरा लीगल वालंटियर्स को ड्राफ्ट वोटर लिस्ट पर दावा-आपत्ति दर्ज करने में मतदाताओं की मदद करने का आदेश दिया है। सुनवाई के दौरान निर्वाचन आयोग ने उच्चतम न्यायालय को बताया कि ड्राफ्ट सूची को लेकर दावे और आपत्ति कभी भी दाखिल की जा सकती है। इसके लिए कोई डेडलाइन नहीं है।

सुनवाई के दौरान कोर्ट ने कहा कि सारा मामला भरोसे की कमी का है। इस मामले में आरजेडी और एआईएमआईएम ने याचिका दायर कर बिहार में विशेष गहन पुनरीक्षण के लिए दावा और आपत्ति दाखिल करने की समय सीमा बढ़ाने की मांग की थी। इस मामले पर 22 अगस्त को सुनवाई करते हुए उच्चतम न्यायालय ने निर्देश दिया था कि बिहार में मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण के बाद जिनका नाम वोटर लिस्ट से छूट गया है वो ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं और इसके लिए फिजिकल जाकर फॉर्म भरना जरुरी नहीं है। जस्टिस सूर्यकांत की अध्यक्षता वाली बेंच ने साफ किया था कि वोटर लिस्ट के लिए निर्वाचन आयोग ने जिन 11 दस्तावेज का जिक्र किया है, उनमें से कोई एक या केवल आधार कार्ड से फॉर्म भरा जा सकता है।

कोर्ट ने इस मामले में बिहार के 12 मान्यता प्राप्त राजनीतिक दलों को निर्देश दिया था कि वे अपने बूथ लेवल एजेंट को निर्देश दें कि वे संबंधित बूथ के लोगों को वोटर लिस्ट में नाम जुड़वाने में मदद करें। इसके साथ ही कोर्ट ने बिहार के उन सभी मान्यता प्राप्त राजनीतिक दलों को भी इस मामले में पक्षकार बनाने का निर्देश दिया था, जिन्होंने अभी तक याचिका दायर नहीं की है।

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New Delhi, 1 सितंबर (हि.स.)। चीन के तियानजिन में शंघाई सहयोग संगठन शिखर सम्मेलन के दौरान प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने मुलाकात की। इस दौरान प्रधानमंत्री ने कहा कि भारत और रूस कठिन से कठिन परिस्थितियों में हमेशा कंधे से कंधे मिलाकर चले हैं। दोनों नेताओं ने यूक्रेन संघर्ष और वैश्विक परिस्थितियों पर चर्चा की तथा ऊर्जा, वित्त और आर्थिक क्षेत्रों में द्विपक्षीय सहयोग को और मजबूत करने पर सहमति जताई।

दोनों नेताओं ने अपने समर्थन की पुष्टि की

प्रधानमंत्री ने इस अवसर पर भारत-रूस संबंधों की गहराई और व्यापकता का उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि कठिन परिस्थितियों में भी दोनों देश हमेशा एक-दूसरे के साथ खड़े रहे हैं। यह करीबी सहयोग न केवल दोनों देशों के लिए, बल्कि वैश्विक शांति, स्थिरता और समृद्धि के लिए भी महत्वपूर्ण है। दोनों नेताओं ने दोनों देशों के बीच विशेष एवं विशेषाधिकार प्राप्त रणनीतिक साझेदारी को और मजबूत करने के लिए अपने समर्थन की पुष्टि की।

विदेश मंत्रालय के अनुसार दोनों नेताओं ने इस अवसर पर द्विपक्षीय, क्षेत्रीय और वैश्विक मुद्दों पर विचार-विमर्श किया। विशेष रूप से, यूक्रेन में जारी संघर्ष और उससे जुड़े नवीनतम घटनाक्रमों पर भी गंभीर चर्चा की गई। प्रधानमंत्री मोदी ने रूसी राष्ट्रपति से कहा, “यूक्रेन में चल रहे संघर्ष के विषय में हम लगातार चर्चा करते रहे हैं। हाल में किए गए शांति के सभी प्रयासों का हम स्वागत करते हैं। हम आशा करते हैं कि सभी पक्ष सकारात्मक ढंग से आगे बढ़ेंगे। संघर्ष को जल्द से जल्द खत्म करने और स्थाई शांति स्थापित करने का रास्ता खोजना होगा। यह पूरी मानवता की पुकार है।”

भारत, रूस के साथ सभी क्षेत्रों में सहयोग को और आगे बढ़ाने के लिए प्रतिबद्ध है : प्रधानमंत्री

मुलाकात के दौरान दोनों नेताओं ने आर्थिक, वित्तीय और ऊर्जा क्षेत्रों में सहयोग की समीक्षा की। उन्होंने इन क्षेत्रों में निरंतर प्रगति पर संतोष व्यक्त किया और आगे भी साझेदारी को नई ऊंचाइयों तक ले जाने की प्रतिबद्धता जताई। दोनों पक्षों ने विशेष एवं विशेषाधिकार प्राप्त रणनीतिक साझेदारी को और गहरा करने की आवश्यकता को दोहराया।

प्रधानमंत्री ने अपने वार्ता के दौरान अपने शुरुआती वक्तव्य में कहा कि दिसंबर में भारत में होने वाले 23वें वार्षिक शिखर सम्मेलन में राष्ट्रपति पुतिन का स्वागत करने के लिए भारत उत्सुक है। उन्होंने अपने संबोधन में राष्ट्रपति पुतिन का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि उनके सहयोग और मित्रता ने भारत-रूस संबंधों को नई दिशा दी है। उन्होंने यह भी दोहराया कि भारत, रूस के साथ सभी क्षेत्रों में सहयोग को और आगे बढ़ाने के लिए प्रतिबद्ध है।

वहीं दोनों नेताओं की बैठक से जुड़ी कुछ महत्वपूर्ण जानकारियां भी सामने आईं। राष्ट्रपति पुतिन प्रधानमंत्री मोदी के साथ द्विपक्षीय बैठक स्थल तक कार से यात्रा करना चाहते थे। इसके लिए उन्होंने प्रधानमंत्री मोदी का लगभग दस मिनट तक इंतजार किया। उसके बाद दोनों नेता एक ही कार में यात्रा करते हुए आपसी मुद्दों पर चर्चा करते रहे।

दोनों नेताओं ने कार में लगभग 45 मिनट तक बातचीत जारी रखी

द्विपक्षीय बैठक स्थल पर पहुंचने के बाद भी दोनों नेताओं ने कार में लगभग 45 मिनट तक बातचीत जारी रखी। इसके बाद उनकी द्विपक्षीय बैठक हुई, जो एक घंटे से अधिक समय तक चली। इस बैठक में भारत-रूस संबंधों को और बेहतर बनाने पर गहन विचार-विमर्श किया गया।

कार में हुई मुलाकात की प्रधानमंत्री ने तस्वीर भी साझा की। उन्होंने एक्स पर कहा, “एससीओ शिखर सम्मेलन स्थल पर कार्यवाही में भाग लेने के बाद, राष्ट्रपति पुतिन और मैं द्विपक्षीय बैठक स्थल पर साथ-साथ गए। उनके साथ बातचीत हमेशा ज्ञानवर्धक होती है।”

वहीं शिखर सम्मेलन में भाग लेने से पहले भी प्रधानमंत्री मोदी और रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के बीच गर्मजोशी से मुलाकात हुई। दोनों नेताओं ने गले मिलकर मित्रता का परिचय दिया। इस अवसर पर चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग भी मौजूद थे। यह मुलाकात भारत-रूस संबंधों की मजबूती दर्शाती है।

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New Delhi, 01 सितंबर (हि.स.)। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने सोमवार को कहा कि भारत की एससीओ नीति तीन स्तंभों सुरक्षा, संपर्क और अवसर पर आधारित है। उन्होंने कहा कि आतंकवाद मानवता की साझा चुनौती है और इस पर दोहरे मानदंड अस्वीकार्य हैं। वहीं मजबूत संपर्क से विश्वास और विकास बढ़ता है, किंतु इसमें संप्रभुता का सम्मान होना चाहिए। उन्होंने कहा कि एससीओ बहुपक्षवाद और समावेशी विश्व व्यवस्था का मार्गदर्शक बन सकता है। प्रधानमंत्री ने वैश्विक संस्थानों में सुधार की आवश्यकता पर भी बल दिया।

सुरक्षा, शांति और स्थिरता किसी भी देश के विकास का आधार हैं: प्रधानमंत्री मोदी

प्रधानमंत्री मोदी ने उक्त बातें तियानजिन (चीन) में आयोजित 25वें शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) शिखर सम्मेलन के पूर्ण सत्र को संबोधित करते हुए कहीं। प्रधानमंत्री ने कहा कि सुरक्षा, शांति और स्थिरता किसी भी देश के विकास का आधार हैं, लेकिन आतंकवाद, अलगाववाद और अतिवाद इसके बड़े अवरोध हैं। उन्होंने कहा कि आतंकवाद केवल किसी देश की सुरक्षा के लिए ही नहीं बल्कि पूरी मानवता के लिए साझा चुनौती है।

प्रधानमंत्री ने कहा कि भारत चार दशकों से आतंकवाद का दंश झेल रहा है। कितनी ही माताओं ने अपने बच्चे खोए हैं और कितने बच्चे अनाथ हुए हैं। उन्होंने हाल ही में पहलगाम में हुए आतंकी हमले का उल्लेख करते हुए कहा कि यह घटना केवल भारत की आत्मा पर आघात नहीं थी बल्कि मानवता में विश्वास रखने वाले हर देश और हर व्यक्ति को चुनौती थी।

उन्होंने सवाल उठाया कि क्या कुछ देशों द्वारा आतंकवाद का खुलेआम समर्थन स्वीकार्य हो सकता है? उन्होंने स्पष्ट कहा कि आतंकवाद पर किसी भी प्रकार के दोहरे मानदंड स्वीकार्य नहीं होंगे। मानवता के हित में सभी को एक स्वर में आतंकवाद का हर रूप और हर रंग में विरोध करना होगा।

मजबूत संपर्क से केवल व्यापार ही नहीं बल्कि विश्वास और विकास के द्वार भी खुलते हैं: प्रधानमंत्री मोदी

प्रधानमंत्री ने वैश्विक संस्थानों में सुधार की आवश्यकता पर भी बल दिया। उन्होंने कहा कि एससीओ सदस्य इस दिशा में आपसी सहयोग बढ़ा सकते हैं। सुझाव देते हुए उन्होंने कहा कि संयुक्त राष्ट्र की अस्सीवीं वर्षगांठ पर सभी सदस्य देश मिलकर सुधार का आह्वान कर सकते हैं। इसी संदर्भ में प्रधानमंत्री ने कहा कि वैश्विक दक्षिण की आकांक्षाओं को पुराने ढांचों में कैद रखना आने वाली पीढ़ियों के साथ अन्याय होगा।

प्रधानमंत्री ने कहा कि भारत का मत है कि मजबूत संपर्क से केवल व्यापार ही नहीं बल्कि विश्वास और विकास के द्वार भी खुलते हैं। इसी सोच के साथ भारत चाबहार बंदरगाह और अंतरराष्ट्रीय उत्तर-दक्षिण परिवहन गलियारे जैसे उपक्रमों पर काम कर रहा है, जिससे अफगानिस्तान और मध्य एशिया के साथ संपर्क बढ़ सके।

हर संपर्क प्रयास में संप्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता का सम्मान होना चाहिए: प्रधानमंत्री मोदी

उन्होंने इस संदर्भ में इस बात पर बल दिया कि हर संपर्क प्रयास में संप्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता का सम्मान होना चाहिए, जो एससीओ चार्टर के मूल सिद्धांतों में भी निहित है।

प्रधानमंत्री ने अवसर को सहयोग और सुधार की संभावना बताया। उन्होंने जन संबंधों को सुदृढ़ बनाने के लिए सुझाव दिया कि एससीओ के अंतर्गत एक सभ्यतागत संवाद मंच बनाया जाए, जिससे प्राचीन सभ्यताओं, कला, साहित्य और परंपराओं को वैश्विक मंच पर साझा किया जा सके।

भारत का विकास मंत्र देते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि देश ‘सुधार, प्रदर्शन और रूपांतरण’ के मूलमंत्र पर आगे बढ़ रहा है। कोविड-19 हो या वैश्विक आर्थिक अस्थिरता, भारत ने हर चुनौती को अवसर में बदलने का प्रयास किया है। उन्होंने कहा कि भारत लगातार व्यापक सुधारों पर काम कर रहा है, जिससे विकास और अंतरराष्ट्रीय सहयोग के नए अवसर खुल रहे हैं। उन्होंने सभी को भारत की विकास यात्रा से जुड़ने का आमंत्रण दिया।

प्रधानमंत्री ने कहा कि भारत सभी साझेदारों के साथ समन्वय और सहयोग से आगे बढ़ रहा है। उन्होंने एससीओ के अगले अध्यक्ष, किर्गिज़स्तान के राष्ट्रपति और अपने मित्र राष्ट्रपति जापारोव को शुभकामनाएं दीं।

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New Delhi, 01 सितंबर (हि.स.)। शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) शिखर सम्मेलन में भाग लेने से पहले प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के बीच गर्मजोशी से मुलाकात हुई। दोनों नेताओं ने गले मिलकर मित्रता का परिचय दिया। इस अवसर पर चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग भी मौजूद थे। यह मुलाकात भारत-रूस संबंधों की मजबूती दर्शाती है।

प्रधानमंत्री मोदी की आज रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के साथ शिखर वार्ता के इतर मुलाकात है जिसमें करीब 45 मिनट दोनों नेता आपसी और क्षेत्रीय हित के विषय पर चर्चा करेंगे।

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