Patna, 13 अगस्त (हि.स.)। बिहार में मुख्य विपक्षी दल, राष्ट्रीय जनता दल (राजद) आगामी विधानसभा चुनाव का बहिष्कार कर सकता है। इसका निर्णय बिहार की जनता से और विचार-विमर्श करने बाद लिया जाएगा। राजद के नेता और विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने बुधवार को एक पत्रकार वार्ता में इसकी जीनकारी दी।

गंभीरता से विचार करेंगे कि विधानसभा चुनाव में हिस्सा लेना है या नहीं : तेजस्वी यादव

तेजस्वी यादव ने पटना में पोलो रोड स्थित अपने आवास पर पत्रकार वार्ता में कहा कि उनकी पार्टी बिहार विधानसभा चुनाव का बहिष्कार कर सकती हैं। 17 अगस्त से वे राहुल गांधी के साथ ‘वोट अधिकार यात्रा’ में शामिल होंगे, जिसके दौरान लोगों से मिलकर इस मुद्दे पर चर्चा करेंगे। यात्रा के बाद वे और उनकी पार्टी के नेता इस बात पर गंभीरता से विचार करेंगे कि विधानसभा चुनाव में हिस्सा लेना है या नहीं।

तेजस्वी यादव ने कहा,” जब चुनाव आयोग पहले से ही सब कुछ तय कर चुका है, तो इस पर भी गौर किया जा सकता है कि हम चुनाव में हिस्सा न लें।” उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा के इशारे पर चुनाव आयोग की ओर से मतदाता सूची में बड़े पैमाने पर गड़बड़ियां की जा रही हैं।

तेजस्वी यादव ने दावा किया कि मुजफ्फरपुर की मेयर और भाजपा की वरिष्ठ नेता निर्मला देवी का नाम दो अलग-अलग मतदाता सूची में दर्ज है। उन्होंने कहा कि एक ही विधानसभा क्षेत्र में उनके दो-दो ईपीक कार्ड बने हुए हैं और दोनों में उम्र भी अलग-अलग दर्ज है। यही नहीं, निर्मला देवी के दो देवरों के नाम भी दो-दो स्थानों पर दर्ज हैं और उनके पास भी अलग-अलग ईपीक आईडी हैं।

तेजस्वी ने आरोप लगाया कि भाजपा के संगठन मंत्री भिखू भाई दलसानिया का नाम भी बिहार की मतदाता सूची में दर्ज है, जबकि वे मूल रूप से गुजरात के हैं। आखिरी बार उन्होंने गुजरात में वोट दिया, वहां से नाम कटवाया और अब बिहार में वोट देंगे। संभव है कि चुनाव के बाद यहां से भी नाम कटवा कर फिर गुजरात में वोट दें।

अपनी हार देख विपक्ष चुनाव बहिष्कार की बात कर रहा विपक्ष : विजय सिन्हा

बिहार के उपमुख्यमंत्री विजय सिन्हा ने तेजस्वी यादव के आरोपों पर तंज कसते हुए कहा कि अगर उन्हें लोकतंत्र पर भरोसा होता तो वे चुनाव बहिष्कार की बात नहीं करते। अपनी हार तय मानकर ये लोग चुनावी मैदान से भागने की कोशिश कर रहे हैं।

उपमुख्यमंत्री सिन्हा ने कहा कि जो लोग संविधान पर भरोसा नहीं रखते, उनके खिलाफ भी कार्रवाई होनी चाहिए। उन्होंने आरोप लगाया कि विपक्ष केवल बेबुनियाद आरोप लगाकर राजनीति कर रहा है और नियम-कानून की परवाह नहीं करता।

भाजपा के प्रदेश महामंत्री भीखू भाई दलसानिया का नाम बिहार के वोटर लिस्ट में जुड़ने के सवाल पर विजय सिन्हा ने कहा कि अब “एक राष्ट्र, एक चुनाव” की बात चल रही है। अगर कोई व्यक्ति किसी जगह पर सालों से रह रहा है, तो उसे उस जगह पर वोट डालने का अधिकार है। यह कानून के दायरे में है।
तेजस्वी यादव की ओर से उम्र को लेकर लगाए गए आरोप पर विजय सिन्हा ने कहा, ” मैं उन्हें नोटिस भेजूंगा। वे अपनी डिग्री दिखाएं और बताएं कि उसमें उनकी उम्र क्या दर्ज है? “।

0Shares

Bihar: मंगलवार को बिहार के उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी ने एक खास पोर्टल शुरू किया, जिसके जरिए अब राज्य में कॉरपोरेट सामाजिक दायित्व (CSR) के तहत मिलने और खर्च होने वाले पैसों की पूरी जानकारी सबको मिलेगी।

पूरे देश में हर साल सीएसआर के तहत 50 हजार करोड़ रुपये से ज्यादा खर्च होते हैं

सम्राट चौधरी ने बताया कि यह पोर्टल सरकार, कंपनियों, एनजीओ और आम लोगों के बीच एक मजबूत पुल का काम करेगा। उन्होंने उम्मीद जताई कि आने वाले समय में बिहार को सीएसआर के तहत 3 से 5 हजार करोड़ रुपये तक मिल सकते हैं।

अभी पूरे देश में हर साल सीएसआर के तहत 50 हजार करोड़ रुपये से ज्यादा खर्च होते हैं, लेकिन बिहार में यह रकम 300 करोड़ रुपये से भी कम है। सरकार चाहती है कि यह रकम बढ़े और सही तरीके से राज्य और समाज के कामों में इस्तेमाल हो।

इसमें हर कंपनी का होगा हिसाब 

वित्त विभाग ने इस पोर्टल को बनाया है। इसमें हर कंपनी का हिसाब होगा। किसने कितने पैसे दिए, वह पैसा कहां और कैसे खर्च हो रहा है, और काम की प्रगति कितनी है। पहले यह जानकारी समय पर और खुलकर सामने नहीं आती थी, लेकिन अब कोई भी इसे देख सकेगा।

कार्यक्रम में वित्त विभाग के प्रधान सचिव आनंद किशोर ने पोर्टल की खूबियां बताईं। इस मौके पर विभाग के विशेष सचिव मुकेश कुमार लाल, रचना पाटिल, महावीर शर्मा, एनटीपीसी के जीएम अनिल कुमार चावला, इंडसइंड बैंक की रीजनल मैनेजर आराधना गिरि समेत कई अधिकारी और कॉरपोरेट जगत के लोग मौजूद थे।

कौन देता है सीएसआर का पैसा?

कानून के मुताबिक, अगर किसी कंपनी की सालाना शुद्ध संपत्ति 500 करोड़ रुपये या उससे ज्यादा हो, सालाना कारोबार 1000 करोड़ रुपये या उससे ज्यादा हो, या सालाना शुद्ध मुनाफा 5 करोड़ रुपये से ऊपर हो, तो उसे सीएसआर पर खर्च करना जरूरी है। कंपनी को पिछले तीन साल के औसत मुनाफे का कम से कम 2% इस काम में लगाना होता है।

0Shares

Patna, 12 अगस्त (हि.स.)। बिहार में शिक्षकों के स्थानांतरण (ट्रांसफर) और इससे संबंधित अन्य सभी तरह के शिकायतों का निपटारा अब जिला स्तर पर ही होगा। इसके लिए जिला पदाधिकारी (डीएम) की अध्यक्षता में एक 8 सदस्यीय कमेटी बनाई गई है।

शिक्षा विभाग ने सभी जिलों में जिला स्थापना समिति गठित करने का आदेश जारी किया है

शिक्षा विभाग ने इसे लेकर मंगलवार को बड़ा फैसला लेते हुए सभी जिलों में जिला स्थापना समिति गठित करने का आदेश जारी किया है। शिक्षा विभाग के संयुक्त सचिव ने मंगलवार को इससे संबंधित पत्र जारी किया है। इस समिति में जिला पदाधिकारी (डीएम) अध्यक्ष होंगे। जबकि, उप विकास आयुक्त, अपर जिला दण्डाधिकारी, जिला कार्यक्रम पदाधिकारी (स्थापना), डीएम के स्तर से मनोनीत अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति श्रेणी का एक पदाधिकारी, डीएम के स्तर से मनोनीत एक वरीय महिला उप समाहर्ता (नहीं होने की स्थिति में कोई अन्य महिला पदाधिकारी) और जिला पदाधिकारी के स्तर से मनोनीत अल्पसंख्यक श्रेणी का एक पदाधिकारी सदस्य के तौर पर होंगे।


जिला शिक्षा पदाधिकारी (डीईओ) इसके सदस्य सचिव होंगे।

इस जिला स्थापना समिति को जिला के भीतर शिक्षकों के स्थानांतरण, अंतर-जिला स्थानांतरण के लिए अनुशंसा, स्थानांतरण संबंधी शिकायतों के निपटारे और स्वीकृत रिक्त पदों की सीमा तक प्रतिनियुक्ति का अधिकार होगा। यह व्यवस्था तत्काल प्रभाव से लागू कर दी गई है। ‎

0Shares

Patna, 12 अगस्त (हि.स.)। बिहार में नीतीश कुमार की सरकार ने ग्रामीण इलाकों में भूमि संबंधी मामलों को सरल और तेज बनाने के लिए मुखिया और सरपंचों को भी मृत्यु प्रमाण पत्र जारी करने का अधिकार दिया है। यह बदलाव विशेष तौर पर राजस्व महाअभियान को देखते हुए किया गया है, ताकि पुराने मामलों में नामांतरण और उत्तराधिकार की प्रक्रिया में तेजी आ सके।

इस फैसले से पुराने लंबित भूमि विवाद और नामांतरण के मामलों का निपटारा तेजी से हो सकेगा

बिहार में भूमि राजस्व विभाग के अपर मुख्य सचिव दीपक कुमार सिंह ने सभी जिला समाहर्ताओं को पत्र भेजकर इस नई व्यवस्था की जानकारी दी है। 10 अगस्त को पटना स्थित राजस्व सर्वे प्रशिक्षण संस्थान में पंचायत प्रतिनिधियों के संघों के साथ हुई बैठक में यह सुझाव आया था कि जिन मामलों में रैयत या जमाबंदीदार की मृत्यु वर्षों पहले हो चुकी है और प्रमाण पत्र उपलब्ध नहीं है, वहां प्रक्रिया को आसान बनाया जाए।

राज्य सरकार के इस निर्णय के बाद अब ऐसे मामलों में उत्तराधिकारी द्वारा सफेद कागज पर स्व-घोषणा पत्र देकर पंचायत के मुखिया या सरपंच से हस्ताक्षर कराकर अभिप्रमाणित कराना पर्याप्त होगा। इसके अलावा, अगर वंशावली में किसी सदस्य के नाम के साथ ‘मृत’ दर्ज है, तो उसे भी मान्य प्रमाण माना जाएगा। सरकार का मानना है कि इस फैसले से पुराने लंबित भूमि विवाद और नामांतरण के मामलों का निपटारा तेजी से हो सकेगा।

राज्य सरकार ने इससे पहले भी जन्म और मृत्यु प्रमाण पत्र की प्रक्रिया में बदलाव करते हुए एक साल से अधिक पुराने मामलों के लिए प्रखण्ड विकास पदाधिकारी (बीडीओ) और नगर निकायों के कार्यपालक पदाधिकारियों को अधिकार दिया था, ताकि आवेदन लंबित न रहें।

यह कदम गांव से लेकर शहर तक प्रशासनिक प्रक्रियाओं को सरल और सुलभ बनाने की दिशा में नीतीश सरकार का एक और महत्वपूर्ण फैसला माना जा रहा है।

0Shares

Patna, 12 अगस्त (हि.स.)। बिहार में लगातार हाे रही भारी बारिश और नेपाल से छाेड़े गये पानी से बिहार के कई जिले बाढ़ की चपेट में है।कई जिलाें के ज्यादातर पंचायताें में बाढ़ के पानी ने लाेगाें का जीना दुभर कर दिया है।

लाेग उंचे जगहाें पर स्थान लेने काे मजबूर हाे गये है। वहीं सरकार की ओर से दी जा रही सहायता कहीं पहुंच रही है ताे कही नहीं। भारी बारिश और बाढ़ ने पटना, भागलपुर, बेगूसराय समेत सात जिलों को टापू बना दिया है। गंगा, कोसी, बागमती, बूढ़ी गंडक, पुनपुन, घाघरा, सोन, कमला, अधवारा और कनकाई नदियां खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं, जिससे करीब 18 लाख लोग प्रभावित हैं और कई लोगों की मौत हो चुकी है।

पटना सहित दक्षिण बिहार के 19 जिलों में मध्यम बारिश की चेतावनी

भारत मौसम विज्ञान विभाग ने 12 अगस्त के लिए उत्तर बिहार के आठ जिलों सुपौल, अररिया, किशनगंज, पूर्णिया, कटिहार, मधेपुरा, सहरसा और मधुबनी में बहुत भारी बारिश के लिए ऑरेंज अलर्ट और सीतामढ़ी, शिवहर, पूर्वी चंपारण, पश्चिमी चंपारण समेत 11 अन्य जिलों में येलो अलर्ट जारी किया है। पटना सहित दक्षिण बिहार के 19 जिलों में भी हल्की से मध्यम बारिश की चेतावनी है।

इस बीच पटना में मंगलवार को 11:30 बजे के बाद मध्यम बारिश शुरू हाे गयी है।विभाग की ओर से इसे लेकर पहले ही अलर्ट किया गया था। माैसम विभाग ने आज पटना ओं हल्की से मध्यम बारिश की संभावना जतायी थी। विभाग ने दोपहर में 25-30 किमी/घंटा की हवाएं चलने और अधिकतम तापमान 31°C और न्यूनतम 26°C रहने का अनुमान बताया है।

गांधी घाट पर 50.20 मीटर खतरे के निशान से ऊपर बह रही है गंगा नदी 

राजधानी पटना में गंगा नदी की स्थिति की बात करे ताे दीघा घाट पर 51.62 मीटर और गांधी घाट पर 50.20 मीटर खतरे के निशान से ऊपर बह रही है। भागलपुर में सुल्तानगंज के पास गंगा का पानी एनएच-80 तक पहुंच गया, जिससे सड़क यातायात बंद है। नवगछिया में 15 करोड़ रुपये की लागत से बना रिंग बांध का 70% हिस्सा बह गया, जिससे गोपालपुर प्रखंड में बाढ़ की स्थिति और गंभीर हो गई है।

बेगूसराय में बाढ़ के कारण 137 स्कूल और आंगनबाड़ी केंद्र 14 अगस्त तक बंद हैं। भागलपुर, बक्सर, मुंगेर, वैशाली, खगड़िया और बेगूसराय में बाढ़ का पानी घरों और खेतों में घुस गया है, जिससे फसलों को भारी नुकसान हुआ है।

आपदा प्रबंधन विभाग और एनडीआरएफ की 14 टीमें राहत कार्यों में जुटी हैं, जिनमें दरभंगा, सुपौल, मोतिहारी और नालंदा में टीमें तैनात हैं। पटना में 35 नावें और भागलपुर में राहत शिविर, सामुदायिक रसोई और चिकित्सा शिविर सक्रिय हैं। बक्सर में गंगा के जलस्तर में मामूली कमी आई है, लेकिन पुनपुन नदी का स्तर बढ़ रहा है, जिसके लिए प्रशासन अलर्ट है।

0Shares

Patna, 12 अगस्त (हि.स.)। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने मंगलवार को 125 यूनिट मुफ्त बिजली योजना के लाभुकों से संवाद किया। इस संवाद कार्यक्रम के माध्यम से 16 लाख विद्युत उपभोक्ता जुड़े। मुख्यमंत्री ने सभी उपभोक्ताओं से सीधे संवाद किया तथा उनकी राय जानी।

सभी घरेलू उपभोक्ताओं को अब प्रति माह 125 यूनिट तक बिजली मुफ्त देने का निर्णय लिया है: मुख्यमंत्री 

संवाद कार्यक्रम के दौरान मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार ने लगभग सभी घरेलू उपभोक्ताओं को अब प्रति माह 125 यूनिट तक बिजली मुफ्त देने का निर्णय लिया है। इसे राज्यभर में लागू भी कर दिया गया है। उन्होंने कहा कि वर्ष 2005 से पहले राज्य में बिजली का काफी बुरा हाल था। राजधानी पटना में भी 7-8 घंटे से ज्यादा बिजली नहीं रहती थी। 24 नवम्बर, 2005 को राज्य में हमलोगों की सरकार बनने के बाद बिजली के क्षेत्र में सुधार के लिए बड़े पैमाने पर काम किया गया।

मुख्यमंत्री ने कहा कि ऊर्जा विभाग का बजट बढ़ाया गया तथा बिजली की आपूर्ति बढ़ायी गयी। इसके बाद राज्य के सभी गांवों एवं टोलों में बिजली पहुंचाई गयी। वर्ष 2015 में सात निश्चय योजना के अन्तर्गत ‘हर घर बिजली’ निश्चय की शुरूआत कर हर घर को बिजली देने का काम निर्धारित समय से दो माह पूर्व अक्टूबर, 2018 में पूरा कर लिया गया। इसके बाद जो भी नए घर या टोले बने हैं, उन सभी को बिजली पहुंचा दी गयी है।

सरकार द्वारा सौर ऊर्जा (सोलर इनर्जी ) को भी बढ़ावा दिया जा रहा है

मुख्यमंत्री ने कहा कि हमलोग शुरू से ही सभी लोगों को सस्ती दरों पर बिजली उपलब्ध कराते रहे हैं। बिजली खरीदने में सरकार का काफी ज्यादा पैसा खर्च होता है। लेकिन लोगों को लागत से काफी कम दर पर देना पड़ता रहा है। उन्होंने कहा कि लोगों के हित में हमने यह तय कर दिया है कि जुलाई माह के बिल से ही राज्य के लगभग सभी घरेलू उपभोक्ताओं को अब प्रति माह 125 यूनिट तक बिजली मुफ्त दी जायेगी। इसे लागू कर दिया गया है तथा इससे राज्य के 1 करोड़ 89 लाख घरेलू उपभोक्ताओं को लाभ हो रहा है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार द्वारा सौर ऊर्जा (सोलर इनर्जी ) को भी बढ़ावा दिया जा रहा है। सभी सरकारी भवनों की छतों पर सौर ऊर्जा (सोलर) संयंत्र लगाये गये हैं। अब यह भी तय किया गया है कि सभी इच्छुक घरेलू उपभोक्ताओं को राज्य सरकार द्वारा सौर ऊर्जा का लाभ दिया जाएगा।

आज के कार्यक्रम में लगभग 16 लाख लोग शामिल

उन्होंने कहा कि आज पूरे राज्य में अनेक जगहों पर संवाद कार्यक्रम आयोजित किया गया है। आज के कार्यक्रम में लगभग 16 लाख लोग शामिल हैं। साथ ही इस कार्यक्रम में सभी जिलों के प्रभारी मंत्री एवं अन्य सम्मानित जनप्रतिनिधिगण भी उपस्थित रहे हैं। इस कार्यक्रम में कुछ घरेलू उपभोक्ताओं ने अपनी बात भी कही है।

मुख्यमंत्री ने कहा, ” ऊर्जा तथा योजना एवं विकास मंत्री बिजेन्द्र प्रसाद यादव शुरू से ही सब काम देख रहे हैं। मैं इस कार्यक्रम के आयोजन के लिये ऊर्जा विभाग और ऊर्जा मंत्री बिजेन्द्र प्रसाद यादव को धन्यवाद देता हूं।”

उन्होंने कहा कि मुझे पूरी उम्मीद है कि इस नई पहल से बिजली उपभोक्ताओं को काफी राहत मिली है। राज्य सरकार इसी तरह से राज्यवासियों के हित में लगातार काम करती रहेगी। आज के इस कार्यक्रम से जुड़े हुए सभी बिजली उपभोक्ताओं को धन्यवाद देता हूं।

मुख्यमंत्री ने अपने सरकारी आवास 1, अणे मार्ग स्थित ‘संकल्प’ से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से राज्य के विद्युत उपभोक्ताओं के साथ आयोजित संवाद कार्यक्रम में हिस्सा लिया। आज के कार्यक्रम में सभी जिलों के विद्युत उपभोक्ता जुड़े हुए थे। सुपौल, नालंदा, मुजफ्फरपुर एवं गयाजी जिले की महिला उपभोक्ताओं ने मुख्यमंत्री के साथ संवाद भी किया।

0Shares

पटना, 11 अगस्त (हि.स.)। चुनाव आयोग द्वारा बीते 01 अगस्त को बिहार में विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) के पहले चरण (गणना चरण) के सफल समापन के उपरांत प्रारूप मतदाता सूची का प्रकाशन कर दिया गया है। साथ ही इसकी सूची सभी मान्यता प्राप्त राजनीतिक दलों को भी सौंपी गई थी।

ईसीआई को अबतक किसी राजनीतिक दलों द्वारा नहीं प्राप्त हुई आपत्ति

भारतीय चुनाव आयोग (ईसीआई) ने अपने दैनिक बुलेटिन में कहा कि 1 अगस्त से 11 अगस्त (सोमवार) तक, सभी राजनीतिक पार्टियों द्वारा नियुक्त किसी भी बूथ-स्तरीय एजेंट (बीएलए) ने दावे और आपत्ति प्रक्रिया में चुनाव अधिकारियों से संपर्क नहीं किया है। वहीं सीधे निर्वाचकों के माध्यम से दावे-आपत्तियों की सख्या 10,570 है ,जिनमें से 127 का निस्तारण कर दिया गया है। इसी तरह 18 वर्ष पूर्ण करने वाले और इससे अधिक आयु वर्ग के नए मतदाताओं से प्राप्त फार्म की कुल संख्या 54,432 प्राप्त हुई है।

मतदाता सूची के पुनरीक्षण के बाद जो ड्राफ्ट बिहार के मान्यता प्राप्त राजनीतिक दलों को दिया गया है, उनमें बहुजन समाजा पार्टी (बासपा), आम आदमी पार्टी (आआप), भारतीय जनता पार्टी (भाजपा), कॉम्यूनिष्ट पार्टी ऑफ इंडिया (मार्क्ससिस्ट), भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस, जनता दल यूनाइटेड (जदयू), राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी , लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास), राष्ट्रीय लोक समता पार्टी ,भारतीय पार्टी ऑफ इंडिया, (मार्क्सिस्ट-लेनिनिस्ट) (लिबरेशन) और नेशनल पिपुल्स पार्टी प्रमुख है।

राजनीतिक दलों के जिलाध्याक्षों ने कहा-मिलकर करेंगे काम

इस बाबत भाकपा-माले के पूर्वी चंपारण जिला सचिव प्रभुदेव यादव ने बातचीत में कहा कि मतदाता सूची का जो पुनरीक्षण के बाद ड्राफ्ट हमें प्राप्त हुआ है, उसके आधार पर हम मिलकर काम करेंगे। एक भी मतदाता का नाम नहीं छूटे यह हमारी कोशिश रहेगी।

इस बाबत गोपालगंज जिला कांग्रेस के अध्यक्ष ओम प्रकाश गर्ग ने बातचीत में बताया कि गोपालगंज जिले की मतदाता सूची हमें प्राप्त हुई है। मतदाता सूची का ड्राफ्ट जो हमें प्राप्त हुआ है, उसमें हमें कटे नाम और जो नाम मतदाता सूची में नहीं मिली है, उसके लिए हम संबंधित बीएलओ के साथ बैठकर नाम कटा है, या नहीं है, इस एक माह के समय में दवा-आपत्ति के माध्यम से उनका नाम जोड़वाने का प्रयास करेंगे।

भागलपुर जिला कांग्रेस अध्यक्ष परवेज जमाल ने बताया कि हमें पुनरीक्षण मतदाता के ड्राफ्ट की सूची जिलेभर की प्राप्त हुयी है। हम इसको लेकर बीएलओ के साथ मिलकर काम करेंगे। हमें उम्मीद है काम अच्छा ही होगा।

0Shares

Patna 11 अगस्त (हि.स.)। बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने सोमवार को पटना के पश्चिमी क्षेत्र के लिए 766.73 करोड़ रुपये की लागत वाली पथ निर्माण विभाग की 6 योजनाओं का शिलान्यास किया। उन्होंने संबंधित विभाग के अधिकारियों को इन योजनाओं का काम जल्द पूरा करने का निर्देश दिया है।

6 योजनाओं का शिलान्यास किया गया है

मुख्यमंत्री ने सबसे पहले अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) गोलंबर पर आयोजित कार्यक्रम में प्रगति यात्रा के दौरान पटना जिलान्तर्गत की गई घोषणाओं से संबंधित 138.5 करोड़ रुपये लागत की एम्स गोलंबर-जानीपुर-पैनापुर नेव (जंक्शन ऑफ बिहटा सरमेरा पटना रिंग रोड)(कुल लंबाई 10.5 किमी) पथ के 2 लेन चौड़ीकरण एवं मजबूतीकरण कार्य का शिलान्यास किया। साथ ही 73.06 करोड़ की लागत से नौबतपुर-मसौढ़ी पथ के 17वें किलोमीटर में नौबतपुर लख में फ्लाईओवर (लंबाई 1.015 किमी) निर्माण कार्य का भी शिलान्यास किया।

इसके पश्चात् कोथवां, रुपसपुर नहर पर आयोजित कार्यक्रम स्थल से मुख्यमंत्री ने 71.48 करोड़ रुपये की लागत की पटना जिलान्तर्गत खगौल नेहरु पथ का अशोक राजपथ-रुपसपुर नहर पथ तक फोर लेन (कुल लंबाई 6.9 किमी) चौड़ीकरण एवं मजबूतीकरण कार्य का शिलान्यास किया। इसके पश्चात् मुख्यमंत्री ने नेहरु पथ पर पाटली पथ के नीचे आयोजित कार्यक्रम स्थल से 143.86 करोड़ रुपये की लागत से दीघा-एम्स पाटली पथ को दानापुर की तरफ नेहरु पथ से संपर्कता प्रदान करने के निर्माण कार्य का शिलान्यास किया।

गोला रोड के चौड़ीकरण से पश्चिमी पटना के नए विकसित क्षेत्र के निवासियों को आवागमन में सुविधा होगी

नेहरु पथ पर पाटली पथ के नीचे आयोजित कार्यक्रम स्थल से ही 318.51 करोड़ रुपये की लागत से पटना जिलान्तर्गत रुपसपुर नहर से सगुना मोड़ तक नेहरु पथ (कुल लंबाई 2.7 किमी) के दोनों तरफ भूमिगत नाला के साथ पथ के निर्माण एवं चौड़ीकरण कार्य का भी मुख्यमंत्री ने शिलान्यास किया। नेहरु पथ पर पाटली पथ के नीचे आयोजित कार्यक्रम स्थल से ही मुख्यमंत्री ने 21.35 करोड़ रुपये की लागत से नेहरु पथ से गोला रोड (कुल लंबाई 2.20 किमी) पथ के चौड़ीकरण एवं मजबूतीकरण कार्य का शिलान्यास किया।

कार्यक्रम के दौरान मुख्यमंत्री ने कहा कि बहुत खुशी की बात है कि प्रगति यात्रा के दौरान पटना जिला के लिए की गई घोषणाओं से संबंधित पटना शहरी (पश्चिमी क्षेत्र) के अंतर्गत पथ निर्माण विभाग की 6 योजनाओं का शिलान्यास किया गया है। इन योजनाओं पर शीघ्र काम शुरु कर तेजी से पूर्ण करें।

उन्होंने कहा कि इन योजनाओं के क्रियान्वयन से पटना शहरी (पश्चिमी क्षेत्र) में आम लोगों के लिए यातायात काफी बेहतर होगा तथा जाम की समस्या में कमी आएगी। साथ ही नेहरु पथ से पाटली पथ होते हुए जेपी सेतु तथा एम्स तक पुहंचना आसान होगा। गोला रोड के चौड़ीकरण से पश्चिमी पटना के नए विकसित क्षेत्र के निवासियों को आवागमन में सुविधा होगी।

0Shares

Muzaffarpur, 11 अगस्त (हि.स.)। शहीद खुदीराम बोस के 118वें शहादत दिवस पर सोमवार अहले सुबह शहीद खुदीराम बोस सेंट्रल जेल परिसर देशभक्ति की भावना से गूंज उठा। जेल रंगीन बल्बों से सजा था, हुमाद की भीनी खुशबू फैली थी और बैकग्राउंड में धीमी आवाज में वही गीत बज रहा था “एक बार विदाई दे मां घूरे आसी, हांसी हांसी परबो फांसी, देखबे जोगोत वासी”, जिसे गाते हुए खुदीराम ने फांसी का फंदा चूमा था।

सुबह करीब 3 बजे से ही जेल गेट पर लोग आने लगे थे। कब गेट खुले और अंदर प्रवेश मिले, हर कोई बेसब्री से इंतजार कर रहा था। तिरहुत प्रक्षेत्र के कमिश्नर, मुजफ्फरपुर के डीएम सुब्रत कुमार सेन, एसएसपी सुशील कुमार , एसडीपीओ टाउन सुरेश कुमार, एसडियो पूर्वी, मिठनपुरा थानाध्यक्ष समेत कई अधिकारी समय पर पहुंचे। हाथ पर मुहर लगाने के बाद सभी को जेल में प्रवेश कराया गया।

101 रखी लेकर पहुंचे परिजन

मेदिनापुर से पहुंचे लोगों ने इस आयोजन को विशेष बना दिया। वे शहीद के गांव की माटी, 101 राखी और काली मंदिर का प्रसाद लेकर आए थे। फांसी स्थल पर माटी में दो पौधे लगाए गए और प्रसाद अर्पित किया गया। इसी जगह पर 11 अगस्त 1908 को सुबह 3:50 बजे खुदीराम बोस को फांसी दी गई थी। ठीक उसी समय उपस्थित लोगों और अधिकारियों ने उन्हें सलामी दी और पुष्पांजलि अर्पित की।

सेंट्रल जेल के रिकॉर्ड के अनुसार, फांसी से पहले खुदीराम का गीत सुनकर सभी बंदियों को आभास हो गया था कि उन्हें बलिदान के लिए ले जाया जा रहा है। इसके बाद पूरा परिसर वंदे मातरम् के नारों से गूंज उठा था। श्रद्धांजलि के बाद सभी लोग उस ऐतिहासिक सेल में पहुंचे, जहां खुदीराम को रखा गया था।

डीएम सुब्रत सेन का कहना है कि “18 वर्ष से कम उम्र में खुदीराम ने हंसते-हंसते फांसी का वरण कर युवाओं के लिए अमर प्रेरणा का उदाहरण पेश किया। ऐसे सैकड़ों बलिदानों से ही देश आजाद हुआ है। हमें भी देश की एकता और अखंडता के लिए उनसे सीख लेनी चाहिए।”

0Shares

पटना, 11 अगस्त (हि.स.)। पहाड़ों और बिहार के मैदानी इलाकों में लगातार हो रही मूसलाधार बारिश की वजह से गंगा समेत बिहार की सभी प्रमुख नदियां खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं। इसकी वजह से गंगा किनारे बसे पटना, भागलपुर, मुंगेर, बेगूसराय, खगड़िया और कटिहार में बाढ़ की स्थित की नाजुक बनी हुई है।

बिहार में बाढ़ से अब तक 19 लोगों की मौत हो गई। सबसे ज्यादा बेगूसराय में 08 लोगों की मौत हुई है। मृतकों में बेगूसराय के 8, भागलपुर, सीवान और भोजपुर, खगड़िया में दो-दो तथा मुंगेर, वैशाली व कटिहार के एक-एक शामिल हैं।

राज्य में 10 लाख से ज्यादा लोग बाढ़ से प्रभावित हैं। स्थिति से निपटने के लिए एनडीआरएफ की 9वीं बटालियन की 14 टीमों को अलर्ट पर रखा गया है। दरभंगा, सुपौल, मोतिहारी और नालंदा में टीमें तैनात हैं।

मौसम विभाग ने बिहार के 19 जिलों में यलो अलर्ट जारी करते हुए तेज बारिश, आंधी और बिजली गिरने की चेतावनी दी है। पिछले 24 घंटों में कटिहार में 140 मिमी, नालंदा में 70 मिमी और पटना में 57 मिमी बारिश दर्ज की गई है। आपदा प्रबंधन विभाग और एनडीआरएफ की 14 टीमें राहत-बचाव में जुटी हैं, लेकिन मौसम का रुख अगले 48 घंटे और मुश्किलें बढ़ा सकता है।

रविवार देर रात पटना, सुपौल, बांका और लखीसराय में मध्यम बारिश रिकॉर्ड की गई, जबकि सोमवार सुबह से सीतामढ़ी, दरभंगा, मधुबनी, सुपौल, अररिया, किशनगंज, पूर्णिया और कटिहार में मूसलाधार बारिश हो रही है। कटिहार में पिछले 24 घंटों में 140 मिमी बारिश दर्ज हुई है, जबकि नालंदा में 70 मिमी, शेखपुरा और बांका में 65 मिमी और पटना में 57 मिमी बारिश रिकॉर्ड की गई।

राजधानी पटना में सोमवार को दिनभर बादल छाए रहेंगे और हल्की से मध्यम बारिश होने की संभावना है. अधिकतम तापमान 32 सेंटीग्रेड और न्यूनतम 26 सेंटीग्रेड रहने का अनुमान है। हवा की रफ्तार 12-18 किमी प्रति घंटा और उमस बनी रहेगी। बारिश के बाद मौसम में हल्की ठंडक आ सकती है।

0Shares

Patna, 10 अगस्त (हि.स.)। बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने रविवार को अपने आवास में आयोजित एक कार्यक्रम के दौरान सामाजिक सुरक्षा पेंशन योजना के अन्तर्गत 1 करोड़ 12 लाख से अधिक पेंशनधारियों के खाते में 1247.34 करोड़ रुपये की राशि डीबीटी के माध्यम से हस्तांतरित किया। सामाजिक सुरक्षा पेंशन योजना के लाभार्थियों को जुलाई माह की 1100 रुपये की पेंशन राशि उनके खाते में अंतरित की गई है।

प्रत्येक माह की 10 तारीख को सभी लाभुकों के खाते में पेंशन की राशि भेजने का निर्देश

मुख्यमंत्री ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि यह बहुत खुशी की बात है कि सामाजिक सुरक्षा पेंशन योजना के तहत सभी वृद्धजनों, दिव्यांगजनों एवं विधवा महिलाओं को आज 1100 (ग्यारह सौ) रुपये जुलाई माह की पेंशन की राशि उनके बैंक खाते में अंतरित की गई है। प्रत्येक माह की 10 तारीख को सभी लाभुकों के खाते में पेंशन की राशि भेजने का निर्देश मेरी ओर से पहले ही दिया गया है। समय पर पेंशन की राशि लाभुकों के खाते में पहुंचने से उन्हें सहूलियत होगी। कोई भी योग्य सामाजिक पेंशनधारी छूटे नहीं, इसका विशेष ख्याल रखा जा रहा है। जो भी सामाजिक पेंशनधारी छूटे हुये हैं, उनको भी इसका शीघ्र लाभ दिलाने का निर्देश उन्होंने संबंधित विभाग के अधिकारियों को दिया।

पेंशन की राशि 400 रुपये से बढ़ाकर 1100 रुपये प्रतिमाह कर दी गयी है

मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार द्वारा जून माह से सामाजिक सुरक्षा पेंशन योजना के तहत वृद्धजनों, दिव्यांगजनों एवं विधवा महिलाओं को हर माह मिलने वाली पेंशन की राशि 400 रुपये से बढ़ाकर 1100 रुपये प्रतिमाह कर दी गयी है। इस निर्णय के आलोक में 11 जुलाई, 2025 को मेरे द्वारा कुल 1 करोड़ 11 लाख लाभुकों को 11-11 (ग्यारह-ग्यारह )सौ रुपये प्रति लाभुक की दर से जून माह की राशि उनके बैंक खाते में सीधे भेज दी गयी। इस काम में राज्य सरकार के द्वारा कुल 1 हजार 2 सौ 27 करोड़ रुपये की राशि खर्च की गयी।

विगत एक माह में लगभग 1 लाख नये लाभुक पेंशन योजना के तहत जोड़े गये हैं: मुख्यमंत्री नीतीश कुमार

मुख्यमंत्री ने कहा कि समाज कल्याण विभाग के अधिकारियों ने बताया है कि विगत एक माह में लगभग 1 लाख नये लाभुक पेंशन योजना के तहत जोड़े गये हैं। इस प्रकार जुलाई माह में लगभग 1 करोड़ 12 लाख लाभुकों को 11-11 सौ रुपये की दर से पेंशन की राशि उनके खाते में मेजी जायेगी। इस काम में राज्य सरकार के द्वारा कुल 1 हजार 2 सौ 47 करोड़ रुपये की राशि खर्च की जा रही है। उन्होंने कहा कि 24 नवंबर, 2005 को सरकार में आने के बाद से हमलोगों ने राज्य के विकास के लिए लगातार काम किया है। हमने शुरू से ही सभी वर्गों के उत्थान के लिए कई योजनाएं चलाई है। समाज के कमजोर तबकों के हित के लिए हमलोग निरंतर काम कर रहे हैं।

बिहार में 06 सामाजिक सुरक्षा पेंशन योजनाएं क्रियान्वित की जा रही है

उल्लेखनीय है कि बिहार में 06 सामाजिक सुरक्षा पेंशन योजनाएं क्रियान्वित की जा रही है, जिसमें 03 केन्द्र सरकार द्वारा तथा 03 पेंशन योजनाएं राज्य सरकार द्वारा संचालित की जा रही हैं। राष्ट्रीय सामाजिक सहायता कार्यक्रम के अन्तर्गत राष्ट्रीय पेंशन योजना में इन्दिरा गांधी राष्ट्रीय वृद्धावस्था पेंशन योजना, इन्दिरा गांधी राष्ट्रीय विधवा पेंशन योजना और इन्दिरा गांधी राष्ट्रीय निःशक्तता पेंशन योजना शामिल हैं, जबकि राज्य पेंशन योजना में लक्ष्मीबाई सामाजिक सुरक्षा पेंशन योजना, बिहार निःशक्तता पेंशन योजना और मुख्यमंत्री वृद्धजन पेंशन योजना शामिल है।

0Shares

Patna, 09 अगस्त (हि.स.)। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार 12 अगस्त को 125 यूनिट बिजली फ्री पर उपभोक्ताओं से सीधा संवाद करेंगे। वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से मुख्यमंत्री उपभोक्ताओं से सीधा बातचीत करेंगे। इस आयोजन को सफल बनाने के लिए प्रत्येक विद्युत आपूर्ति प्रशाखा में 4 संवाद स्थल निर्धारित किए गए हैं। साथ ही जिला स्तर पर भी विद्युत आपूर्ति प्रमंडल में भी संवाद स्थलों का चयन किया गया है।

बिजली की खपत में 125 यूनिट घटा कर बिजली बिल का भुगतान करना होगा

नीतीश सरकार ने घरेलू विद्युत उपभोक्ताओं को 125 यूनिट प्रतिमाह फ्री बिजली देने का फैसला लिया है। जिसका सीधा लाभ उपभोक्ताओं को मिल रहा है। जिनकी बिजली खपत 125 से कम है उन्हें बिजली मुफ्त मिलेगी। लेकिन जिन उपभोक्ताओं का बिजली खपत ज्यादा है उन्हें बिजली की खपत में 125 यूनिट घटा कर बिजली बिल का भुगतान करना होगा। इससे बिजली उपभोक्ताओं को हर महीने 700 रुपये तक की बचत होगी।

ग्रामीण उपभोक्ता को भी 500 सौ से ज्यादा का फायदा होगा।

मुख्यमंत्री के इस कार्यक्रम के संबंध में बिजली कंपनी की ओर से जानकारी दी गयी है। इस संवाद कार्यक्रम का मुख्य उद्धेश्य बिजली उपभोक्ता से संवाद करना है। इस स्कीम से वो कितने खुश हैं इस बात का पता लग सके। बिजली कंपनी के मुख्यालय के अधिकारियों के अनुसार, मुफ्त बिजली सुविधा को लागू करने के लिए स्मार्ट मीटर के सर्वर में आवश्यक बदलाव किए गए हैं, जिनका ट्रायल आज किया जा रहा है। सर्वर के सफल संचालन की पुष्टि के बाद उपभोक्ताओं के जुलाई महीने के बिल में 125 यूनिट की राशि स्वतः क्रेडिट की जाएगी। इसी प्रकार पोस्टपेड उपभोक्ताओं के बिल में भी 125 यूनिट का चार्ज घटाकर शेष राशि का ही भुगतान करना होगा।

दक्षिण बिहार पावर डिस्ट्रीब्यूशन कंपनी लिमिटेड (एसबीपीडीसीएल) के राजस्व महाप्रबंधक अरविंद कुमार ने बताया कि सभी उपभोक्ताओं की बिलिंग तिथि अलग-अलग होती है। जिस दिन किसी उपभोक्ता का बिल बनेगा, उस दिन से उसे जुलाई की खपत पर 125 यूनिट की छूट का लाभ मिलेगा। स्मार्ट मीटर वाले उपभोक्ताओं को उनके खाते में बैलेंस क्रेडिट किया जाएगा, जबकि पोस्टपेड उपभोक्ताओं के बिल में सीधे 125 यूनिट का मूल्य घटा दिया जाएगा।

यूनिट के हिसाब से यह होगा दर का ढांचा

नए दर ढांचे के अनुसार, 125 यूनिट तक बिल 0 रुपये रहेगा। कुटीर ज्योति उपभोक्ताओं को 2.45 प्रति यूनिट,शहरी घरेलू (श्रेणी-1 और 2) उपभोक्ताओं को 5.52 प्रति यूनिट,शहरी घरेलू (श्रेणी-3) उपभोक्ताओं को 5.42 प्रति यूनिट और कुछ उपभोक्ता वर्ग जैसे ग्रामीण और शहरी घरेलू-3 की एकल स्लैब व्यवस्था है, इसलिए उन्हें केवल उनकी श्रेणी के अनुसार प्रति यूनिट भुगतान करना होगा।

0Shares