मेदिनीनगर: ज़िले के हैदरनगर थाना क्षेत्र अंतर्गत हुए सड़क हादसे में छह लोग घायल हो गए, जिसमें एक की हालत गंभीर बनी हुई है।

बताया गया है कि काजिनगर गांव से रविवार को एक हुंडई कार में सवार छह लोग कोसियारा जा रहे थे। इस बीच कार हैदरनगर जपला मुख्य पथ के चौकड़ी मोड़ के समीप असंतुलित होकर खाई में पलट गई। हादसे में रीता देवी पत्नी रामराज मेहता, कुंती देवी पत्नी हीरा मेहता, चालक राहुल कुमार पुत्र लालमोहन मेहता, अंकित कुमार पुत्र यमुना मेहता, नेहा कुमारी पुत्र यमुना मेहता व अन्य एक बच्चा घायल हो गया है।

इस घटना की जानकारी मिलते ही परिजन व आसपास के लोग पहुँचकर सभी घायलों को हैदरनगर प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र ले गए। अस्पताल में ईलाज के क्रम में कुंती देवी नामक महिला की स्थिति गंभीर बताते हुए चिकित्सकों ने उसे मेदिनीनगर पलामू मेडिकल कॉलेज रेफर कर दिया। इस घटना की जानकारी मिलते ही हैदरनगर पुलिस बल पहुँचकर दुर्घटनाग्रस्त कार को अपने कब्जे में कर छानबीन शुरू कर दी है।

 

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नई दिल्ली: देशभर में कोरोना वायरस के मामलों में होते इजाफे के बीच कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने पार्टी कार्यकर्ताओं से लोगों की सहायता करने की अपील की है। उन्होंने रविवार को सभी कांग्रेस कार्यकर्ताओं से राजनैतिक काम छोड़कर सिर्फ जन सहायता की अपील की। इस दौरान उन्होंने केंद्र सरकार का सिस्टम फेल होने पर तंज कसते हुए कहा कि संकट के इस समय में देश को जिम्मेदार नागरिकों की जरूरत है और कांग्रेस कार्यकर्ताओं को देशवासियों की मदद करनी चाहिए। 
कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने रविवार को ट्वीट कर कहा, ‘सिस्टम फेल है इसलिए ये जनहित की बात करना जरूरी है। इस संकट में देश को जिम्मेदार नागरिकों की जरूरत है। अपने कांग्रेस साथियों से मेरा अनुरोध है कि सारे राजनीतिक काम छोड़कर सिर्फ़ जन सहायता करें, हर तरह से देशवासियों का दुख दूर करें। कांग्रेस परिवार का यही धर्म है।’
राहुल गांधी ने इससे पहले कोरोना समस्या को राजनीति से इतर रखते हुए मानवीय कर्तव्यों की वरीयता दी थी। जब उन्होंने बीते 18 अप्रैल को बंगाल चुनाव में प्रस्तावित अपनी सभी रैलियों को रद्द कर दिया था। राहुल ने ट्वीट कर कहा था, ‘कोविड की स्थिति को देखते हुए मैं पश्चिम बंगाल में अपनी सभी सार्वजनिक रैलियों को स्थगित कर रहा हूं। मैं सभी राजनीतिक नेताओं को सलाह दूंगा कि मौजूदा परिस्थितियों में बड़ी सार्वजनिक रैलियों के आयोजन के परिणामों पर गहराई से विचार करें।’

 

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नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कोरोना काल में एम्बुलेंस ड्राइवरों और लैब तकनीशियनों के प्रयासों की सराहना करते हुए कहा कि कोविड-19 के खिलाफ भारत की लड़ाई ऐसे लोगों के प्रयासों के बिना अधूरी होगी।

प्रधानमंत्री मोदी ने रविवार को अपने मासिक रेडियो कार्यक्रम मन की बात में कहा, डॉक्टरों और नर्सिंग स्टाफ के साथ-साथ इस समय लैब-तकनीशियन और एम्बुलेंस ड्राइवर जैसे फ्रंटलाइन वर्कर्स भी भगवान की तरह ही काम कर रहे हैं। जब कोई एम्बुलेंस किसी मरीज तक पहुंचती हैं तो उन्हें एम्बुलेंस ड्राइवर देवदूत जैसा ही लगता है। इन सबकी सेवाओं के बारे में, इनके अनुभव के बारे में, देश को जरूर जानना चाहिए।

प्रधानमंत्री ने एम्बुलेंस ड्राइवर प्रेम वर्मा से बातचीत करते हुए कहा, “प्रेम वर्मा अपने काम को, अपने कर्तव्य को, पूरे प्रेम और लगन से करते हैं।” उन्होंने कहा, प्रेम वर्मा और इन जैसे हजारों लोग आज अपना जीवन दांव पर लगाकर लोगों की सेवा कर रहे हैं। कोरोना के खिलाफ़ इस लड़ाई में जितने भी जीवन बच रहे हैं उसमें एम्बुलेंस ड्राइवरों  का भी बहुत बड़ा योगदान है।

प्रेम वर्मा ने कहा, मैं कैट्स एम्बुलेंस में ड्राइवर के पद पर हूं। हमें जैसे ही कॉल आती है, हम पेशेंट के पास जाते हैं। दो साल से लगातार काम कर रहे हैं। किट, ग्लव्स, मास्क पहनकर हम उन्हें अस्पताल तक पहुंचाते हैं।

पीएम द्वारा पूछे जाने पर प्रेम ने बताया कि वह कोरोना की दोनों वैक्सीन लगवा चुके हैं। उन्होंने सभी लोगों को डोज लगवाने की सलाह दी। उन्होंने कहा कि मां बार-बार उन पर नौकरी छोड़ने का दबाव बनाती हैं लेकिन वह उन्हें समझाते हैं कि नौकरी छोड़ दूंगा तो पेशेंट को कौन छोड़ने जाएगा। अभी सभी नौकरी छोड़ रहे हैं और मैं नौकरी नहीं छोड़ूंगा।

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New Delhi: कोरोना महामारी के दौरान ऑक्सीजन की कमी को देखते हुए देशभर में पीएम केयर फंड से जिला मुख्यालयों स्थित सरकारी अस्पतालों में 551 ऑक्सीजन उत्पादन प्लांट लगाए जायेंगे.

प्रधानमंत्री ने निर्देश दिया है कि जल्द से जल्द इन प्लांटों में उत्पादन शुरू होना चाहिए. इससे जिला स्तर पर ऑक्सीजन उपलब्धता को मजूबती मिलेगी. इससे जुड़ी सभी खरीद स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय के माध्यम से होगी.

इस साल की शुरुआत में भी पीएम केयर फंड के माध्यम से 162 समर्पित प्रेशर स्विंग एडसार्पशन मेडिकल ऑक्सीजन उत्पादन प्लांट की स्थापना के लिए 201.08 करोड़ रुपये की मंजूरी दी गई थी. सरकार का कहना है कि इन प्लांटों से जिला स्तर पर अस्पतालों की दैनिक ऑक्सीजन जरूरतों को पूरा किया जा सकेगा. इससे तरल मेडिकल ऑक्सीजन उत्पादन क्षमता में भी इजाफा होगा. इससे लम्बे समय में कोविड व अन्य मरीजों को निर्बाध ऑक्सीजन आपूर्ति होगी.

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नई दिल्ली: राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ ने कोरोना महामारी के बढ़ते प्रकोप को देखते हुए समाज के सभी वर्गों से अपील की है कि वे अपने सेवा कार्यों के माध्यम से समस्या के निवारण के लिए पूरी तत्परता के साथ हर संभव प्रयास करें.

संघ ने सभी लोगों से अनुरोध किया है कि वे कोरोना महामारी की गाइडलाइन का पूरी तरह पालन करें और स्वयं व परिवार का बचाव करें. जबतक अत्यधिक आवश्यकता न हो, घर से बाहर न निकलें.

राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सरकार्यवाह दत्तात्रेय होसबोले ने शनिवार को एक बयान में कहा कि कोविड की विकराल होती परिस्थितियों को देखते हुए यह भी सम्भव है कि समाज विघातक एवं भारत विरोधी शक्तियां इस गंभीर परिस्थिति का लाभ उठाकर देश में नकारात्मकता एवं अविश्वास का वातावरण खड़ा कर सकती हैं. देशवासियों को अपने सकारात्मक प्रयासों के साथ इन शक्तियों के षड्यंत्रों के प्रति भी सजग रहना होगा.

आपदा में संत्रस्त सभी देशवासियों के प्रति राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की ओर से संवेदनाएं व्यक्त करते हुए उन्होंने समाज से आगे आने की अपील की.

उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ स्वयंसेवकों सहित समाज के सभी सामाजिक एवं धार्मिक संगठनों, सेवा संस्थाओं, उद्योगों  एवं व्यावसायिक संस्थानों आदि क्षेत्रों के बंधुओं से विनम्रतापूर्वक अनुरोध करता है कि समस्या के निराकरण हेतु तत्परता एवं सेवाभाव से जुट कर किसी भी प्रकार के अभाव को दूर करने का हर संभव प्रयास करें.

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जोशीमठ (चमोली): भारत-चीन सीमा पर ग्लेशियर की चपेट मे आए 384 मजदूरों को सेना ने सुरक्षित बचा लिया है. इस आपदा में आठ मजदूरों की मौत हो गई. उनके शव बरामद हो गए हैं.

शुक्रवार रात से सेना का राहत-बचाव अभियान जारी है. मुख्यमंत्री और आपदा प्रबंधन मंत्री ने प्रभावित क्षेत्र का हवाई निरीक्षण किया. ग्लेशियर टूटने से शुक्रवार शाम बीआरओ के कैंप में रह रहे करीब 400 मजदूर चपेट मे आ गए. सूचना मिलते ही सेना ने मोर्चा संभाला. देररात तक सेना की वहां तैनात महार रेजीमेंट के जवानों ने करीब 150 लोगों को सुरक्षित निकाला. शनिवार सुबह तक सेना  384 मजदूरों को सुरक्षित निकाल चुकी है. अब तक आठ शव बरामद किए जा चुके हैं. इस बीच मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत, आपदा प्रबंन्धन मंत्री डा. धन सिंह रावत और बदरीनाथ के विधायक महेन्द्र भट्ट ने  सुमना क्षेत्र का हवाई सर्वेक्षण किया. सेना के हेलीपेड पर मुख्यमंत्री ने मीडिया को बताया कि सेना और जिला प्रशासन का राहत-बचाव अभियान जारी है. सेना न पूरी रात बर्फ की परवाह किए बिना सैकडों मजदूरों को बचा लिया है.

उल्लेखनीय है कि इस इलाके में बीआरओ सीमावर्ती अग्रिम चौकियों तक सड़क का निर्माण करवा रहा है. यहां झारखंड और अन्य प्रदेशों के मजदूर काम कर रहे हैं. इस बीच लगातार चार दिन से हो रही बर्फबारी के बीच ग्लेशियर के टूटने से यह हादसा हो गया. घायल छह मजदूरों का सेना के चिकित्सक उपचार कर रहे हैं। उन्हें सेना के हेलीकॉप्टर से  हायर सेंटर पंहुचाने की व्यवस्था की जा रही है.

जिला प्रशासन और बीआरओ के आला अधिकारी मौके के लिए रवाना हो चुके हैं. सुराई थोटा से कुछ दूर भापकुंड से सुमना तक सड़क बर्फ से अटी है. इस कारण सेना के वाहन भी टायरों पर चैन लगाकर ही आगे जा पा रहे हैं.

हिदुस्थान समाचार

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नई दिल्ली: राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने शनिवार को राष्ट्रपति भवन में जस्टिस एन.वी. रमना को भारत के मुख्य न्यायाधीश के रूप में शपथ दिलाई.

राष्ट्रपति कोविंद ने बीते 06 अप्रैल को जस्टिस रमना की नियुक्ति को मंजूरी दी थी.

इस मौके पर उपराष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू, प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला और केंद्रीय कानून मंत्री रवि शंकर प्रसाद भी राष्ट्रपति भवन में मौजूद रहे.

इसके साथ ही वह देश के 48वें मुख्य न्यायाधीश बन गये. उन्होंने पूर्व चीफ जस्टिस एसए बोबडे का स्थान लिया है. बोबडे का कार्यकाल 23 अप्रैल को समाप्त हुआ था.

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-एक डोज की वीराफिन जायडस कैडिला कंपनी ने बनाई

नई दिल्ली: कोरोना के कोहराम के बीच राहत भरी खबर है। कोरोना के इलाज में कारगर पाई गई एंटीवायरल दवा वीराफिन को आपात इस्तेमाल के लिए भारतीय औषधि महानियंत्रक (डीसीजीआई) ने मंजूरी दे दी है। जायडस कैडिला की वीराफिन को वयस्क कोरोना मरीजों को दिया जा सकेगा। वीराफिन एक डोज की दवा है, जो कम गंभीर वाले कोरोना के मरीजों को देने से उसके शरीर के वायरस लोड को कम देता है, जिससे मरीज जल्दी ही स्वस्थ हो जाते हैं।

जायडस कंपनी के मुताबिक वीराफिन को मंजूरी मिलने से कोरोना संक्रमण से लड़ने में मदद मिलेगी। यह दवा कोरोना के मरीजों में वायरल लोड यानि वायरस की संख्या को कम करने में कारगर सिद्ध हुई। इसके तीसरे चरण के ट्रायल में कोरोना पॉजिटिव लोगों के सेहत में जल्दी ही सुधार देखा गया। कुछ मरीज एक सप्ताह के अंदर ही ठीक हो गए।

Input: Hindusthan Samachar

 

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-छोटे शहरों पर ध्यान देने की जरूरत, ऑक्सीजन आपूर्ति के लिए सभी संभव प्रयास हो रहे हैं

-कालाबाजारी पर लगाएं रोक और लोगों को करें जागरूक, घबराकर न करें खरीद

नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शुक्रवार को 11 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेश के मुख्यमंत्रियों के साथ कोरोना महामारी से उपजी परिस्थितियों को लेकर चर्चा की। यह राज्य महामारी की विभीषिका से सबसे ज्यादा प्रभावित हैं।

कोरोना महामारी धीरे-धीरे छोटे शहरों को भी अपनी चपेट में ले रही है। इस ओर ध्यान दिलाते हुए प्रधानमंत्री ने मुख्यमंत्रियों से साथ मिलकर एक रणनीति पर काम करने की पहली लहर के दौरान अपनाई गई नीति को फिर से अपनाने पर जोर दिया।

प्रधानमंत्री ने राज्यों को पूर्ण मदद देने का आश्वासन दिया और कहा कि स्वास्थ्य मंत्रालय समन्वय बनाते हुए परिस्थिति पर करीबी नजर रखे हुए हैं और समय-समय पर जरूरी परामर्श राज्यों को दे रहा है।

ऑक्सीजन आपूर्ति के मुद्दे पर राज्य से मिले फीडबैक पर प्रधानमंत्री ने मुख्यमंत्रियों को आशान्वित किया। उन्होंने कहा कि ऑक्सीजन आपूर्ति को जारी रखने के प्रयास जारी हैं। इस संबंध में सभी संबंधित विभाग और मंत्रालय मिलकर काम कर रहे हैं। साथ ही उद्योगों को दी जाने वाली ऑक्सीजन को तुरंत मेडिकल उपयोग के लिए भेजा जा रहा है।

बैठक में प्रधानमंत्री ने ऑक्सीजन से जुड़े विषयों को लेकर भी राज्यों के साथ चर्चा की। एक तरफ उन्होंने राज्यों से इसकी कालाबाजारी पर रोक लगाने को कहा। वहीं दूसरी ओर उन्होंने केंद्र से मिलने वाली ऑक्सीजन को त्वरित अस्पतालों तक पहुंचाने के लिए समन्वय समिति बनाने का आग्रह किया। उन्होंने बताया कि इस संबंध में उन्होंने गुरुवार को ऑक्सीजन उत्पादन में बढ़ोतरी के मुद्दे पर बैठक भी की है।

प्रधानमंत्री मोदी ने बताया कि ऑक्सीजन की निर्बाध आपूर्ति के लिए रेलवे ऑक्सीजन एक्सप्रेस चला रहा है, दूसरी ओर कार्य को गति देने के लिए एयर फोर्स ऑक्सीजन के खाली सिलेंडरों को उत्पादन स्थल तक पहुंचा रहे हैं।

बैठक में प्रधानमंत्री ने जांच पर ध्यान केंद्रित करने पर भी जोर दिया। उन्होंने कहा कि संसाधनों को बढ़ाने के साथ-साथ व्यापक तौर पर जांच होनी चाहिए ताकि लोगों को जल्द से जल्द स्वास्थ्य सुविधाएं मिल सकें।

वैक्सीनेशन कार्यक्रम की गति को लेकर मोदी ने कहा कि भारत दुनिया में सबसे तेज गति से टीकाकरण कार्यक्रम चला रहा है। 1 मई से 18 से ऊपर वालों को भी टीका लगाया जाएगा। राज्यों से अनुरोध है कि वह मिशन मोड पर वैक्सीनेशन कार्यक्रम चलाएं।

अस्पतालों में हो रहे हादसों पर दुख जताते हुए प्रधानमंत्री ने इनकी सुरक्षा पर भी विशेष ध्यान देने का आग्रह किया। उन्होंने कहा कि अस्पतालों के प्रशासनिक कर्मियों को सुरक्षा मानदंडों के प्रति जागरूक किया जाना चाहिए।

दवाओं की कालाबाजारी पर रोक लगाने के साथ ही प्रधानमंत्री ने राज्य से कहा कि वह लोगों को घबराहट में खरीदारी करने से रोकने के लिए जागरूकता अभियान चलाएं।

बैठक में पहले डॉ. वीके पॉल ने कोविड पर एक प्रस्तुति दी। इसमें संक्रमणों के नए उछाल का मुकाबला करने के लिए की जा रही तैयारियों पर प्रकाश डाला गया। डॉ. पॉल ने चिकित्सा सुविधाओं को बढ़ाने और रोगियों के लक्षित उपचार के लिए रोडमैप भी प्रस्तुत किया। उन्होंने सभी को चिकित्सा बुनियादी ढांचे, आपूर्ति बढ़ाने, नैदानिक ​​प्रबंधन, कंटेनमेंट, टीकाकरण और सामुदायिक सहभागिता के बारे में जानकारी दी।

राज्यों के मुख्यमंत्रियों ने वर्तमान लहर में संबंधित राज्य सरकारों द्वारा उठाए जा रहे कदमों के बारे में प्रधानमंत्री को जानकारी दी। उन्होंने यह भी कहा कि पीएम द्वारा दिए गए निर्देश और एनआईटीआई द्वारा प्रस्तुत किए गए रोड मैप से उन्हें बेहतर तरीके से अपनी प्रतिक्रिया देने में मदद मिलेगी।

 

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नई दिल्ली: प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्रियों की बैठक के दौरान दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की ओर से चर्चा को सार्वजनिक किए जाने पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने उन्हें नसीहत देते हुए दो-टूक शब्दों में कहा, “हमारी जो परंपरा है और जो प्रोटोकॉल हैं, यह उसके बहुत खिलाफ हो रहा है।” प्रधानमंत्री की इस टिप्पणी पर मुख्यमंत्री केजरीवाल पानी पानी हो गए। उन्होंने क्षमा मांगते हुए आगे से ऐसी चूक न होने की बात कही।

शुक्रवार को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी राज्यों के मुख्यमंत्रियों के साथ कोरोना के तेज प्रसार और उसकी रोकथाम के लिए उठाए जा रहे कदमों की राज्यवार समीक्षा बैठक कर रहे थे। वर्चुअल माध्यम से हो रही इस बैठक के बीच दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने प्रधानमंत्री मोदी से सवाल करते हुए कहा, “दिल्ली में ऑक्सीजन की भारी कमी है। अगर यहां ऑक्सीजन पैदा करने वाला प्लांट नहीं है तो क्या दिल्ली के लोगों को ऑक्सीजन नहीं मिलेगी? कृपया सुझाव दें कि सेंट्रल गवर्नमेंट में मुझे किससे बात करनी चाहिए, जब दिल्ली के लिए ऑक्सीजन टैंकर को दूसरे राज्य में रोका जाता है ?”

केजरीवाल ने आगे कहा, “ऑक्सीजन की कमी काफी ज्यादा है, सरकार को देश के ऑक्सीजन प्लांट को कंट्रोल में लेकर सेना को सौंप देना चाहिए ताकि सभी राज्यों को ऑक्सीजन तुरंत मिल पाए।” केजरीवाल की यह बात बैठक से इतर टीवी चैनलों पर भी प्रसारित हो गई ।

केजरीवाल के इस आचरण को गंभीरता से लेते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने उन्हें बीच बैठक में टोकते हुए कहा, “हमारी जो परंपरा और प्रोटोकॉल हैं, यह उसके बहुत खिलाफ हो रहा है कि कोई मुख्यमंत्री ऐसी इन-हाउस मीटिंग को लाइव टेलीकॉस्ट करे। यह उचित नहीं है। हमें हमेशा संयम पालन करना चाहिए।” प्रधानमंत्री की इस तल्ख टिप्पणी पर क्षमा मांगते हुए केजरीवाल ने कहा, “ठीक है सर, इसका ध्यान रखेंगे आगे से ।”

केजरीवाल ने अपनी गलती का एहसास करते हुए आगे कहा, “अगर सर, मेरी तरफ से कोई गुस्ताखी हुई है, मैंने कुछ कठोर बोल दिया। मेरे आचरण में कोई गलती है, तो मैं माफी चाहता हूं।”

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मुंबई: पालघर में कोरोना संकट के बीच एक कोविड-19 अस्पताल में आग लगने से 13 लोगों की जलकर मौत हो गई है। मुंबई से सटे विरार इलाके में विजय वल्लभ कोविड अस्पताल के आईसीयू वार्ड में आग लगी है। जानकारी के मुताबिक आग लगने से 13 लोगों की मौत हो गई है। घायल मरीजों को नजदीकी अस्पतालों में स्थानांतरित किया जा रहा है।

माना जा रहा है कि एसी में शॉर्टसर्किट की वजह से आग लगी थी। आग अस्पताल के सेकेंड फ्लोर पर शुक्रवार तड़के 3 बजे के आसपास लगी थी।

वसई विरार नगर निगम कोरोना कंट्रोल रूम ने इस बात की पुष्टि की है कि विरार इलाके में विजय वल्लभ कोविड अस्पताल के आईसीयू वार्ड में आग लगी है, जिसमें 13 मरीजों की मौत हो गई है।

घटना की जानकारी मिलते ही फायर ब्रिगेड के अलावा पुलिस टीम मौके पर पहुंच गई थी। आग बुझाने की कोशिशें जारी हैं।

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नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी शुक्रवार को पश्चिम बंगाल में चुनावी रैलियों को संबोधित नहीं करेंगे। देश में मौजूदा कोविड-19 स्थिति की समीक्षा के लिए वे उच्च स्तरीय बैठक की अध्यक्षता करेंगे।

प्रधानमंत्री मोदी ने गुरुवार को ट्वीट कर स्वयं यह जानकारी देते हुए कहा कि वह मौजूदा कोविड-19 की स्थिति की समीक्षा के लिए कल एक उच्च-स्तरीय बैठक की अध्यक्षता करेंगे। इसके कारण वह शुक्रवार को पश्चिम बंगाल नहीं जाएंगे।

मोदी ने ट्वीट कर कहा, कल कोविड-19 की मौजूदा स्थिति की समीक्षा के लिए उच्च स्तरीय बैठक की अध्यक्षता की जाएगी करेंगे। उसी के कारण, मैं पश्चिम बंगाल नहीं जाऊंगा।

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