सारण और वैशाली दोनो को मिला तोहफा, गंडक नदी के दोनो किनारों पर बनेंगे राष्ट्रीय उच्च पथ

सारण और वैशाली दोनो को मिला तोहफा, गंडक नदी के दोनो किनारों पर बनेंगे राष्ट्रीय उच्च पथ

Chhapra: गंडक नदी के पूर्व और पश्चिम राष्ट्रीय उच्च पथ का निर्माण कर राज्य के विकास में महत्वपूर्ण भागीदारी निभाने वाले सड़क का निर्माण किया जाना था। पूर्वी किनारे में पहले से सड़क की व्यवस्था है भी जिसे राष्ट्रीय उच्च पथ के रूप में उन्नत करने का विचार राज्य सरकार की तरफ से केंद्र सरकार को भेजा गया था। इसी तरह सारण सांसद सह भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता राजीव प्रताप रुडी ने गंडक नदी के पश्चिम के पीछड़े इलाके में विकास की भरपूर संभावना को देखा। इसके मद्देनजर उन्होंने गंडक नदी के किनारे-किनारे पश्चिम में एक एनएच बनाने का प्रस्ताव केंद्र को दिया था। इसकी सहमती बनी और गंडक के पश्चिम में 1864 करोड़ रूपये की लागत से 116 किलोमीटर की लंबाई वाली सड़क का डीपीआर बनाने का निर्देश भी भारत सरकार द्वारा दे दिया गया। अब गंडक के पूर्वी किनारे में भी 2050 करोड़ रूपये की लागत से 115 किलोमीटर के राष्ट्रीय उच्च पथ के निर्माण की स्वीकृति प्राप्त हो गयी है। इन दोनो पथों के निर्माण की मंजूरी देने के लिए सांसद रुडी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, मुख्यमंत्री नीतीश कुमार, केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी को धन्यवाद देते हुए कहा कि वर्ष 2011 से लंबित एक पुरानी सड़क और पश्चिमी किनारें पर एक नई सड़क, दोनो पथों के निर्माण से राज्य में विकास का एक नया आयाम स्थापित होगा और राज्य की प्रगति में ये एक मिल का पत्थर साबित होंगी।

गंडक नदी के पूरब और पश्चिम दोनो सड़कें राज्य के विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभायेंगी। गंडक के पश्चिम में सोनपुर, तरैयां पानापुर और पूरब में सोनपुर-वैशाली सेे दोनो सड़कें अरेराज होते हुए नेपाल की अंतरराष्ट्रीय सीमा तक जा रही है। यही नहीं गंडक नदी के पूरब किनारे वाली सड़क जहां बुद्धा सर्किट का महत्वपूर्ण हिस्सा होगी वहीं गंडक नदी के पश्चिम किनारे वाली सड़क श्रीराम जानकी पथ का भी महत्वपूर्ण हिस्सा बनेगी। इन दोनो पथों का साथ-साथ प्रस्ताव और डीपीआर तैयार हो रहा था जिसपर सांसद रुडी ने कहा कि हाल के दिनों में कुछ मीडिया समुहों ने इस तरह की भ्रामक खबरें लगाई थी कि राज्य सरकार के दिये गये प्रस्ताव के संरेखण को मेरे द्वारा मोड़ा जा रहा है। परन्तु ऐसी कोई बात नहीं है, इन दोनो प्रस्तावों पर पहले ही निर्णय लिया जा चुका था। 

इन दोनों सड़कों के निर्माण के बीच गंगा नदी पर जेपी सेतु के समानांतर एक नया फोरलेन पुल का भी निर्माण किया जायेगा जो इन दोनो सड़कों को राज्य की राजधानी पटना से जोड़ेगा। इससे राजधानी पटना से अरेराज जाने वाले यात्रियों को अब विकल्प के रूप में दो पथ मिलेंगे। इन पथो के निर्माण से सारणवासियों को सबसे अधिक फायदा होगा। न केवल व्यापार के क्षेत्र में बल्कि शैक्षणिक और पर्यटन के क्षेत्र में सारण को लाभ होगा और सारण ही नहीं समीपवर्ती जिला के लोग भी विकास के कई मुकाम हासिल करेंगे।  अब ये दोनो प्रस्ताव स्वीकृत हो गये है।

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